बस्ती: मंडल के 105 कर्मचारियों में से 46 कर्मचारियों को जबरन सेवानिवृत्त किया जा रहा है. इन सभी कर्मचारियों पर दबाव बनाकर स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति लेने के लिए कहा गया. वहीं कर्मचारियों ने प्रबंधन की नीतियों के चलते वीआरएस के लिए आवेदन कर दिया है.
डीओटी (डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकॉम) के सहायक महाप्रबंधक, मुख्य लेखाधिकारी और लेखाधिकारी के साथ 43 अन्य कर्मचारियों ने वीआरएस के लिए आवेदन किया है. इन कर्मचारियों ने प्रबंधन के मौखिक निर्देशों के तहत यह फैसला लिया है.
वीआरएस लेने वाले कर्मचारी ने बताया कि लगातार उच्च स्तर से यह सूचना मिलती रही थी कि सेवानिवृत्ति की आयु 60 से घटाकर 58 किया जा रहा है. अगर सरकार ने सेवानिवृत्ति की उम्र घटा दी तो हमें बिना किसी लाभ के ही सेवानिवृत्त कर दिया जाएगा. वहीं कर्मचारियों को ट्रांसफर किया जा रहा है. इससे तृतीय और चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों को भारत के किसी भी भाग में ट्रांसफर कर दिया जाएगा. इन्हीं चर्चाओं के बीच बीएसएनएल के 80 फीसदी डीओटी के कर्मचारियों ने वीआरएस के लिए आवेदन कर स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति ले ली.
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सेवानिवृत्ति के बाद निगम के कार्यों का संचालन करने के लिए मुख्यालय से जो दिशा-निर्देश मिलेंगे, उसके अनुसार कार्य कराया जाएगा. उम्मीद है कि कैश काउन्टर, लैंडलाइन को ठीक करने, ब्रॉडबैंड का काम करने, एक्सचेंज व बीटीएस की देखभाल के लिए प्राइवेट कर्मचारियों की सेवा ली जाएगी.
विद्यानंद,जीएम, बीएसएनएल50 साल से उपर के कर्मचारियों को वीआरएस लेने के लिए दबाव बनाया जा रहा है. वीआरएस न लेने पर दूर ट्रांसफर करने की बात भी कहीं जा रही है.
मोहन कुमार द्विवेदी ,जेई