बरेली: जिले के करगैना स्थित दुग्ध उत्पादन से जुड़ी सरकारी क्षेत्र की कोऑपरेटिव पराग डेयरी प्लांट तो शुरू हुआ, लेकिन सभी कर्मचारियों को नौकरी पर पुनः नहीं रखा गया. जिस वजह से ऐसे कर्मचारी ड्यूटी की मांग करते हुए लगातार आंदोलित हैं, लेकिन उनका कोई समाधान नहीं हो पा रहा है. अब इन कर्मचारियों ने समाजवादी पार्टी से मदद मांगी है.
बीएसपी शासनकाल में बंद किये गए थे सहकारी दुग्ध के प्लांट
दरअसल, पूर्व में बीएसपी शासनकाल पराग डेयरी के प्लांट बन्द कर दिए गए थे. बाद में अखिलेश यादव जब मुख्यमंत्री बने तो बन्द पड़ी सहकारी डेयरियों को पुनः चालू कराया गया, लेकिन तब से अभी तक भी काफी संख्या में जो कर्मचारी नियुक्त थे उन्हें वापिस ज्वाइन नहीं कराया गया.
भुखमरी के कगार पर हैं कर्मी
शनिवार को सपा जिलाध्यक्ष अगम मौर्य से मिलकर कर्मचारियों ने सहयोग करने व इस मुद्दे को लेकर आवाज उठाने की मांग की. कर्मचारियों का आरोप है कि उनकी आर्थिक स्थिति तो डगमगा ही गई. साथ ही उनका रोजगार भी छूट गया. कर्मचारियों का आरोप है कि उन लोगों ने बार बार ये जानने की कोशिश की कि आखिर जब वो प्रयाग डेयरी में स्थाई कर्मचारी थे, तो फिर उनसे काम क्यों नहीं लिया जाता.
रोजी रोटी के लिए समाजवादी से मांगा सहयोग
समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष से मिलकर ऐसे कर्मचारियों ने एक ज्ञापन देते हुए अपनी इस लड़ाई में सहयोग मांगा है. इस बारे में सपा जिलाध्यक्ष अगम मौर्य का कहना है कि उन्हें जानकारी हुई है कि प्लांट में अस्थाई कर्मचारियों से कार्य लिए जा रहा है, जबकि जो स्थाई कर्मचारी हैं वो दर दर भटकने को मजबूर हैं.
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सपा ने इस मुद्दे को उठाने और न्याय दिलाने का दिया आश्वासन
समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष ने कहा कि जल्द ही एक प्रतिनिधिमंडल सम्बन्धित अधिकारियों से इस बारे में बात करेगा. उसके बाद इस मुद्दे को प्रदेश स्तर पर राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव को अवगत कराते हुए उठाया जाएगा.