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बरेलीः डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए नए कानून का मसौदा तैयार

सावधान! अब तक जो लोग हॉस्पिटल, क्लीनिक या नर्सिंग होम में तोड़फोड़ करते थे या डॉक्टरों की पिटाई करते थे आने वाले टाइम में अब उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई हो सकती है. स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा सोमवार को जारी नए कानून के मसौदे में यह प्रावधान किए गए हैं.

डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए नए कानून का मसौदा तैयार.
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Published : Sep 3, 2019, 7:00 PM IST

बरेलीः द हेल्थ केयर सर्विस पर्सनल एंड क्लीनिक स्टैब्लिशमेंट नामक समझौते के मुताबिक डॉक्टर, नर्स ,पैरामेडिक स्टाफ और एएनएम सभी को कानून के तहत सुरक्षा मिलेगी. अगर कोई व्यक्ति चिकित्सकों से मारपीट करता है या पैथोलॉजी नर्सिंग होम में तोड़फोड़ करता है तो उसके खिलाफ पांच साल तक की जेल और पांच लाख तक का जुर्माना देना पड़ सकता है.

डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए नए कानून का मसौदा तैयार.


उपर्युक्त कानून के मसौदे को तैयार करके स्वास्थ्य मंत्रालय ने 30 दिनों के लिए लोगों से इस कानून के प्रति आपत्ति और सुझाव मांगे हैं. इस कानून को लागू होते ही कानूनी कार्रवाई होना चालू हो जाएगी. डॉक्टर, नर्स ,पैरामेडिक स्टाफ और एएनएम इन सभी से मारपीट करना गैर जमानती अपराध होगा. दोषी साबित होने पर छः माह से पांच साल तक की सजा और पचास हजार से लेकर पांच लाख तक का जुर्माना हो सकता है. अस्पताल के संपत्ति का नुकसान करने पर बाजार मूल्य का दोगुना हर्जाना देना होगा.

इसे भी पढ़ेंः- बरेली: स्मार्ट सिटी लिस्ट में रैंक खराब होने पर बोले कमिश्नर- जल्द दिखाई देगा असर


बरेली के नामचीन हॉस्पिटल के डॉक्टर विनोद पागरानी इस कानून को लागू करने की मांग कर रहे हैं. उनका कहना है इसका सबसे बड़ा फायदा मरीज को होगा, क्योंकि डॉक्टर गंभीर मरीज को भर्ती करने से डरता है अभी तक गंभीर मरीजों को भर्ती करने से चिकित्सक बचते हैं. चिकित्सक को डर रहता है कि मरीज को बचा न सके तो उसके साथ आए हुए परिजन तोड़फोड़ करेंगे या डॉक्टर के साथ मारपीट करेंगे. इसलिए वह गंभीर मरीजों को बाहर रेफर कर देता है जिससे अधिकांश मरीजों की मौत रास्ते में ही हो जाती है.

बरेलीः द हेल्थ केयर सर्विस पर्सनल एंड क्लीनिक स्टैब्लिशमेंट नामक समझौते के मुताबिक डॉक्टर, नर्स ,पैरामेडिक स्टाफ और एएनएम सभी को कानून के तहत सुरक्षा मिलेगी. अगर कोई व्यक्ति चिकित्सकों से मारपीट करता है या पैथोलॉजी नर्सिंग होम में तोड़फोड़ करता है तो उसके खिलाफ पांच साल तक की जेल और पांच लाख तक का जुर्माना देना पड़ सकता है.

डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए नए कानून का मसौदा तैयार.


उपर्युक्त कानून के मसौदे को तैयार करके स्वास्थ्य मंत्रालय ने 30 दिनों के लिए लोगों से इस कानून के प्रति आपत्ति और सुझाव मांगे हैं. इस कानून को लागू होते ही कानूनी कार्रवाई होना चालू हो जाएगी. डॉक्टर, नर्स ,पैरामेडिक स्टाफ और एएनएम इन सभी से मारपीट करना गैर जमानती अपराध होगा. दोषी साबित होने पर छः माह से पांच साल तक की सजा और पचास हजार से लेकर पांच लाख तक का जुर्माना हो सकता है. अस्पताल के संपत्ति का नुकसान करने पर बाजार मूल्य का दोगुना हर्जाना देना होगा.

इसे भी पढ़ेंः- बरेली: स्मार्ट सिटी लिस्ट में रैंक खराब होने पर बोले कमिश्नर- जल्द दिखाई देगा असर


बरेली के नामचीन हॉस्पिटल के डॉक्टर विनोद पागरानी इस कानून को लागू करने की मांग कर रहे हैं. उनका कहना है इसका सबसे बड़ा फायदा मरीज को होगा, क्योंकि डॉक्टर गंभीर मरीज को भर्ती करने से डरता है अभी तक गंभीर मरीजों को भर्ती करने से चिकित्सक बचते हैं. चिकित्सक को डर रहता है कि मरीज को बचा न सके तो उसके साथ आए हुए परिजन तोड़फोड़ करेंगे या डॉक्टर के साथ मारपीट करेंगे. इसलिए वह गंभीर मरीजों को बाहर रेफर कर देता है जिससे अधिकांश मरीजों की मौत रास्ते में ही हो जाती है.

Intro:सावधान हो जाइए अब तक जो लोग हॉस्पिटल क्लीनिक या नर्सिंग होम में तोड़फोड़ करते थे डॉक्टरों की पिटाई करते थे आने वाले टाइम में अब उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई हो सकती है क्योंकि स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा सोमवार को जारी नए कानून के मसौदे में यह प्रावधान किए गए हैं अगर कोई व्यक्ति चिकित्सकों से मारपीट करता है या पैथोलॉजी नर्सिंग होम में तोड़फोड़ करता है तो उसके खिलाफ 5 साल तक की जेल साथ ही साथ 500000 तक का जुर्माना देना पड़ सकता है ।इस कानून के मसौदे को तैयार करके स्वास्थ्य मंत्रालय ने 30 दिनों के लिए लोगों से इस कानून के प्रति आपत्ति और सुझाव मांगे है। इस कानून को लागू होते ही। कानूनी कार्रवाई होना चालू हो जाएगी।


Body:द हेल्थ केयर सर्विस पर्सनल एंड क्लीनिक स्टैब्लिशमेंट नामक समझौते के मुताबिक डॉक्टर, नर्स ,पैरामेडिक स्टाफ और एएनएम सभी को कानून के तहत सुरक्षा मिलेगी। इन से मारपीट करने पर गैर जमानती अपराध होगा। दोषी साबित होने पर 6 माह से 5 साल तक की सजा और 50000 से लेकर 500000 तक का जुर्माना देना होगा संपत्ति का नुकसान करने पर बाजार मूल्य का दुगना हर्जाना देना होगा।
बाइट:- डॉ विनोद पागरानी
बही बरेली के नामचीन हॉस्पिटल के डॉक्टर विनोद पागरानी जी ने इस कानून को लागू करने की मांग करी है।उनका कहना है इसका सबसे बड़ा फायदा मरीज को होगा क्योंकि डॉक्टर भी गंभीर मरीज को भर्ती करने से डरता है उसको डर रहता है कहीं मरीज को बचा न सके तो उसके संग आए हुए परिजन कही तोड़फोड़ करें या डॉक्टर के साथ मारपीट करें। इसलिए वह गंभीर रूप से पीड़ित मरीजों को हॉस्पिटल में लेने से मना कर देता है और बाहर के लिए रेफर कर देता है जिससे अधिकांश मरीजों की मौत रास्ते में ही हो जाती है अगर यह कानून लागू हो जाता है तो डॉक्टर गंभीर रूप से मरीजों को भर्ती कर सकेगा और उसको यह विश्वास होगा कि सरकार उसकी सुरक्षा कर रही है और उसके लिए कानून है जिससे वह उसका स्टाफ और हॉस्पिटल सुरक्षित रहेगा।


Conclusion:हाल ही में कई घटनाएं ऐसी हुई है जहां पर मरीज के संग आए परिजनों ने डॉक्टरों पर और स्टाफ पर हमला बोल दिया है जिससे डॉक्टरों की मौत इस कारण हो चुकी है साथ ही साथ हॉस्पिटल ओर नर्सिंग होम का भी नुकसान बहुत होता था। कहीं ना कहीं डॉक्टर भी घबराता था कि अगर हम जिस मरीज का इलाज कर रहे हैं अगर बच ना सका वह तो हमारा क्या होगा पर अगर यह कानून स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा लागू कर दिया जाता है तो डॉक्टर दे दिल मे जो डर है। इससे डाक्टरों को भी राहत मिलेगी जिससे डॉक्टर पूर्ण रूप से गंभीर मरीजों का इलाज कर सकेगा।
रंजीत शर्मा
9536666643
बरेली।


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