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Mukhtar Ambulance Case: मुख्तार अंसारी ने बैरक में लगे सीसीटीवी के फुटेज सुरक्षित कराने की लगाई गुहार, जानें वजह

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Published : May 26, 2023, 8:16 PM IST

बांदा जेल में बंद मुख्तार अंसारी की बाराबंकी की अदालत में वीडियो कांफ्रेंसिग के जरिए पेशी हुई. इस पेशी के बाद उनके अधिवक्ता ने बांदा जेल में बीती 19 मई के फुटेज को सुरक्षित रखने की अर्जी दी है.

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वकील रणधीर सिंह सुमन ने दी जानकारी.

बाराबंकी: बांदा जेल में बंद मुख्तार अंसारी ने अपने वकील के जरिये बाराबंकी की अदालत में अर्जी दी है. मुख्तार ने बांदा जेल में अपनी बैरक में लगे सीसीटीवी कैमरे के 19 मई के फुटेज को सुरक्षित कराने की गुहार लगाई है. कोर्ट ने इस प्रार्थना पत्र पर बांदा जेल से रिपोर्ट तलब की है. मामले की अगली सुनवाई 30 मई को होगी.

बाराबंकी एमपी एमएलए कोर्ट नंबर-19 में मुख्तार अंसारी का एंबुलेंस का मामला चल रहा है. शुक्रवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये मुख्तार अंसारी की पेशी हुई. मामले में मुख्तार अंसारी के वकील रणधीर सिंह सुमन ने मुख्तार अंसारी की ओर से कोर्ट में एक प्रार्थना पत्र दिया. प्रार्थना पत्र में बांदा जेल में मुख्तार अंसारी की बैरक में लगे सीसीटीवी कैमरे के बीती 19 मई के फुटेज को सुरक्षित रखे जाने की गुहार लगाई गई है.

मुख्तार अंसारी का आरोप है कि बीती 19 मई को कुछ लोग उसकी बैरक में घुस आए थे. इस दौरान उसकी तलाशी ली गई. उसके बाद तमाम सारे दस्तावेज, मुकदमों के कागजात, रूलिंग्स और दूसरे जरूरी कागजात उठा ले गए. लिहाजा सीसीटीवी फुटेज से सच्चाई सामने आ जायेगी. कोर्ट ने इस प्रार्थना पत्र पर बांदा जेल से 30 मई तक रिपोर्ट तलब की है. मामले की अगली सुनवाई 30 को की जाएगी.


बता दें कि 31 मार्च 2021 को बाराबंकी की एक एंबुलेंस उस समय चर्चा में आई थी. जब पंजाब के रोपण जेल से मोहाली कोर्ट जाने में इसका प्रयोग मुख्तार अंसारी ने किया था. इस एंबुलेंस पर बाराबंकी जिले का नंबर था. इसके बाद बाराबंकी परिवहन विभाग में हड़कंप मच गया था.

पुलिस की छानबीन में पता चला कि फर्जी दस्तावेज के सहारे वर्ष 2013 में यह एंबुलेंस बाराबंकी एआरटीओ कार्यालय से पंजीकृत कराई गई थी. बाराबंकी संभागीय परिवहन विभाग इस एंबुलेंस की जांच पड़ताल की. जिसमें जानकारी निकल कर सामने आई कि इसका रिन्यूअल ही नहीं कराया गया था. जिसके बाद और कागजात खंगाले गए तो यह एंबुलेंस डॉ. अलका राय की फर्जी वोटर आईडी से पंजीकृत पाई गई. इस मामले में मऊ जिले की डॉ. अलका राय, डॉ. शेषनाथ राय, राजनाथ यादव, मुजाहिद समेत कई के खिलाफ नगर कोतवाली में 2 अप्रैल 2021 को अपराध संख्या 369/21 पर धारा 419, 420,467, 468,471,120बी, 177, 506 आईपीसी और 7 क्रिमिनल लाॅ एमेंडमेंट ऐक्ट के तहत एआरटीओ प्रशासन द्वारा मुकदमा लिखाया गया था.

पुलिस की जांच में मुख्तार की संलिप्तता पाए जाने पर उनके खिलाफ धाराएं बढ़ाई गई थी. विवेचना के दौरान मामले में 12 आरोपी सामने आए. जिसमें मुख्तार अंसारी, डॉ. शेषनाथ राय, राजनाथ यादव, मोहम्मद जाफरी उर्फ शाहिद, आनंद यादव, मुहम्मद सुहैब मुजाहिद, अफरोज खां, जफर उर्फ चंदा, सुरेंद्र शर्मा, सलीम, मोहम्मद शाहिद और फिरोज कुरैशी के नाम सामने आए. पुलिस ने इन सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया था. जबकि मुख्तार अंसारी बांदा जेल में बंद हैं. मामले में विवेचक द्वारा चार्जशीट न्यायालय में दाखिल की जा चुकी है. इस मामले में गैंगेस्टर की भी कार्यवाही की गई है. गैंगेस्टर का मुकदमा अपर सत्र न्यायाधीश के कोर्ट नंबर 4 में विचाराधीन है. जबकि एंबुलेंस प्रकरण का मामला एसीजेएम कोर्ट नंबर 19 में चल रहा है.

यह भी पढे़ं- डॉन अबू सलेम के भतीजे को यूपी पुलिस ने मुंबई से किया गिरफ्तार, अब लाया जा रहा आजमगढ़

वकील रणधीर सिंह सुमन ने दी जानकारी.

बाराबंकी: बांदा जेल में बंद मुख्तार अंसारी ने अपने वकील के जरिये बाराबंकी की अदालत में अर्जी दी है. मुख्तार ने बांदा जेल में अपनी बैरक में लगे सीसीटीवी कैमरे के 19 मई के फुटेज को सुरक्षित कराने की गुहार लगाई है. कोर्ट ने इस प्रार्थना पत्र पर बांदा जेल से रिपोर्ट तलब की है. मामले की अगली सुनवाई 30 मई को होगी.

बाराबंकी एमपी एमएलए कोर्ट नंबर-19 में मुख्तार अंसारी का एंबुलेंस का मामला चल रहा है. शुक्रवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये मुख्तार अंसारी की पेशी हुई. मामले में मुख्तार अंसारी के वकील रणधीर सिंह सुमन ने मुख्तार अंसारी की ओर से कोर्ट में एक प्रार्थना पत्र दिया. प्रार्थना पत्र में बांदा जेल में मुख्तार अंसारी की बैरक में लगे सीसीटीवी कैमरे के बीती 19 मई के फुटेज को सुरक्षित रखे जाने की गुहार लगाई गई है.

मुख्तार अंसारी का आरोप है कि बीती 19 मई को कुछ लोग उसकी बैरक में घुस आए थे. इस दौरान उसकी तलाशी ली गई. उसके बाद तमाम सारे दस्तावेज, मुकदमों के कागजात, रूलिंग्स और दूसरे जरूरी कागजात उठा ले गए. लिहाजा सीसीटीवी फुटेज से सच्चाई सामने आ जायेगी. कोर्ट ने इस प्रार्थना पत्र पर बांदा जेल से 30 मई तक रिपोर्ट तलब की है. मामले की अगली सुनवाई 30 को की जाएगी.


बता दें कि 31 मार्च 2021 को बाराबंकी की एक एंबुलेंस उस समय चर्चा में आई थी. जब पंजाब के रोपण जेल से मोहाली कोर्ट जाने में इसका प्रयोग मुख्तार अंसारी ने किया था. इस एंबुलेंस पर बाराबंकी जिले का नंबर था. इसके बाद बाराबंकी परिवहन विभाग में हड़कंप मच गया था.

पुलिस की छानबीन में पता चला कि फर्जी दस्तावेज के सहारे वर्ष 2013 में यह एंबुलेंस बाराबंकी एआरटीओ कार्यालय से पंजीकृत कराई गई थी. बाराबंकी संभागीय परिवहन विभाग इस एंबुलेंस की जांच पड़ताल की. जिसमें जानकारी निकल कर सामने आई कि इसका रिन्यूअल ही नहीं कराया गया था. जिसके बाद और कागजात खंगाले गए तो यह एंबुलेंस डॉ. अलका राय की फर्जी वोटर आईडी से पंजीकृत पाई गई. इस मामले में मऊ जिले की डॉ. अलका राय, डॉ. शेषनाथ राय, राजनाथ यादव, मुजाहिद समेत कई के खिलाफ नगर कोतवाली में 2 अप्रैल 2021 को अपराध संख्या 369/21 पर धारा 419, 420,467, 468,471,120बी, 177, 506 आईपीसी और 7 क्रिमिनल लाॅ एमेंडमेंट ऐक्ट के तहत एआरटीओ प्रशासन द्वारा मुकदमा लिखाया गया था.

पुलिस की जांच में मुख्तार की संलिप्तता पाए जाने पर उनके खिलाफ धाराएं बढ़ाई गई थी. विवेचना के दौरान मामले में 12 आरोपी सामने आए. जिसमें मुख्तार अंसारी, डॉ. शेषनाथ राय, राजनाथ यादव, मोहम्मद जाफरी उर्फ शाहिद, आनंद यादव, मुहम्मद सुहैब मुजाहिद, अफरोज खां, जफर उर्फ चंदा, सुरेंद्र शर्मा, सलीम, मोहम्मद शाहिद और फिरोज कुरैशी के नाम सामने आए. पुलिस ने इन सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया था. जबकि मुख्तार अंसारी बांदा जेल में बंद हैं. मामले में विवेचक द्वारा चार्जशीट न्यायालय में दाखिल की जा चुकी है. इस मामले में गैंगेस्टर की भी कार्यवाही की गई है. गैंगेस्टर का मुकदमा अपर सत्र न्यायाधीश के कोर्ट नंबर 4 में विचाराधीन है. जबकि एंबुलेंस प्रकरण का मामला एसीजेएम कोर्ट नंबर 19 में चल रहा है.

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