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बाराबंकी: धान खरीदी की बढ़ रही तारीख से किसान परेशान

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Published : Oct 23, 2020, 2:38 PM IST

बाराबंकी जिला प्रशासन धान खरीद को लेकर किसानों को निराश कर रहा है. किसानों का कहना है कि धान खरीद के लिए प्रशासन ने पहले नवंबर माह की तारीख दी थी, लेकिन अब इसे बढ़ाकर फरवरी माह कर दिया गया. जिसके चलते उन्हें परेशानी हो रही है.

किसानों से बातचीत.
किसानों से बातचीत.

बाराबंकी: जिला प्रशासन ने धान खरीद को लेकर इस बार 58 केंद्र स्थापित किए हैं, लेकिन तौल के लिए मिलने वाली तारीख किसानों को निराश कर रही है. दो दिन पहले तक किसानों को धान तौल के लिए नवंबर की तारीखें दी जा रही थीं. वहीं अब किसानों को फरवरी माह का टोकन दिया जा रहा है. इतनी लंबी तारीख मिलने से किसान परेशान हैं. उनका कहना है कि पैसे नहीं मिले तो वे अन्य फसल नहीं बो सकेंगे.

किसानों से बातचीत.

दरअसल, धान बेचने के लिए अब ऑनलाइन टोकन प्रक्रिया खत्म हो चुकी है. वहीं ऑफलाइन मिल रहे टोकन पर किसानों ने केंद्र प्रभारियों पर धांधली का आरोप लगाया है. आरोपों के मुताबिक, अपने चहेतों को धान तौल के लिए नजदीकी तारीख दी जा रही है, जबकि तमाम किसानों को फरवरी माह में तौल कराने की तारीखें मिल रही हैं. किसानों का कहना है कि अभी तक नवंबर की तरीख थी, लेकिन अब फरवरी माह को धान तौल के लिए निर्धारित किया गया है.

अधिकारियों का कहना है कि धान खरीद में पारदर्शिता को लेकर शासन बहुत गंभीर है. किसी केंद्र पर अगर अनियमितता पाई गई तो जिम्मेदार केंद्र प्रभारी पर कार्रवाई कर मुकदमा दर्ज हो सकता है. पिछली बार जिले को एक लाख 10 हजार मीट्रिक टन धान खरीदने का लक्ष्य मिला था, जबकि लक्ष्य से ज्यादा यानी एक लाख 45 हजार मीट्रिक टन धान की खरीद हुई थी. साथ ही पिछले वर्ष धान खरीद के लिए कुल 52 केंद्र बनाए गए थे. वहीं इस बार 58 क्रय केंद्रों के साथ एक लाख 30 हजार मीट्रिक टन का लक्ष्य मिला है. आठ एजेंसियों के तहत क्रय केंद्र होंगे.

एजेंसियांक्रय केंद्र
खाद्य विभाग16
पीसीएफ17
यूपी एग्रो01
यूपी कर्मचारी कल्याण निगम04
एफसीआई 01
मंडी समिति02
यूपीसीयू 09
यूपीएसएस 05
तहसीलक्रय केंद्र
नवाबगंज18
फतेहपुर 02
रामनगर 09
सिरौली गौसपुर 08
रामसनेही घाट 10
हैदरगढ़ 11

बाराबंकी: जिला प्रशासन ने धान खरीद को लेकर इस बार 58 केंद्र स्थापित किए हैं, लेकिन तौल के लिए मिलने वाली तारीख किसानों को निराश कर रही है. दो दिन पहले तक किसानों को धान तौल के लिए नवंबर की तारीखें दी जा रही थीं. वहीं अब किसानों को फरवरी माह का टोकन दिया जा रहा है. इतनी लंबी तारीख मिलने से किसान परेशान हैं. उनका कहना है कि पैसे नहीं मिले तो वे अन्य फसल नहीं बो सकेंगे.

किसानों से बातचीत.

दरअसल, धान बेचने के लिए अब ऑनलाइन टोकन प्रक्रिया खत्म हो चुकी है. वहीं ऑफलाइन मिल रहे टोकन पर किसानों ने केंद्र प्रभारियों पर धांधली का आरोप लगाया है. आरोपों के मुताबिक, अपने चहेतों को धान तौल के लिए नजदीकी तारीख दी जा रही है, जबकि तमाम किसानों को फरवरी माह में तौल कराने की तारीखें मिल रही हैं. किसानों का कहना है कि अभी तक नवंबर की तरीख थी, लेकिन अब फरवरी माह को धान तौल के लिए निर्धारित किया गया है.

अधिकारियों का कहना है कि धान खरीद में पारदर्शिता को लेकर शासन बहुत गंभीर है. किसी केंद्र पर अगर अनियमितता पाई गई तो जिम्मेदार केंद्र प्रभारी पर कार्रवाई कर मुकदमा दर्ज हो सकता है. पिछली बार जिले को एक लाख 10 हजार मीट्रिक टन धान खरीदने का लक्ष्य मिला था, जबकि लक्ष्य से ज्यादा यानी एक लाख 45 हजार मीट्रिक टन धान की खरीद हुई थी. साथ ही पिछले वर्ष धान खरीद के लिए कुल 52 केंद्र बनाए गए थे. वहीं इस बार 58 क्रय केंद्रों के साथ एक लाख 30 हजार मीट्रिक टन का लक्ष्य मिला है. आठ एजेंसियों के तहत क्रय केंद्र होंगे.

एजेंसियांक्रय केंद्र
खाद्य विभाग16
पीसीएफ17
यूपी एग्रो01
यूपी कर्मचारी कल्याण निगम04
एफसीआई 01
मंडी समिति02
यूपीसीयू 09
यूपीएसएस 05
तहसीलक्रय केंद्र
नवाबगंज18
फतेहपुर 02
रामनगर 09
सिरौली गौसपुर 08
रामसनेही घाट 10
हैदरगढ़ 11
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