बलिया : जिले में लोकसभा चुनाव में ड्यूटी करने वाले मतदान कार्मिक और होमगार्डों के लिए बैलेट पेपर से मतदान करने की व्यवस्था की गई थी, लेकिन जिले के करीब 1000 से अधिक होमगार्ड लोकतंत्र के इस पर्व में अपनी भागीदारी नहीं निभा पाए. इसको लेकर होमगार्डों ने कलेक्ट्रेट में जमकर हंगामा किया. होमगार्डों ने मतदान न कर पाने को लेकर चुनाव आयोग से जांच करने की मांग की है.
- बलिया में 19 मई को लोकसभा चुनावों के लिए मतदान की तिथि निर्धारित है.
- मतदान कार्मिकों को 8 से 16 मई तक शहर के टीडी कॉलेज में बने 7 पोलिंग बूथों पर बैलेट पेपर द्वारा अपने मताधिकार का प्रयोग करना था.
- जिले के करीब 1060 होमगार्ड मतदान की प्रक्रिया से वंचित रह गए.
- होमगार्डों को जब इस बात की जानकारी हुई तो उन्होंने अपने विभाग के आला अधिकारियों से बात की.
- वहां से कोई संतुष्टि भरा उत्तर प्राप्त न होने पर सभी होमगार्ड कलेक्ट्रेट परिसर पहुंचे और जमकर हंगामा किया.
- जनपद के होमगार्डों ने चुनाव आयोग से मांग की है कि बलिया के होमगार्डों को मतदान देने से क्यों रोका गया, इसकी जांच की जानी चाहिए.
हम लोगों को वोट देने से वंचित कर दिया गया. इसकी सूचना देने हम लोग जिलाधिकारी कार्यालय आए हैं. लगभग 2 महीने पहले हम लोगों से फॉर्म भरवाए गए थे और जिला कमांडेंट महोदय के कार्यालय में दे दिए गए थे. हम लोग समय से कार्यालय पहुंचे. हम लोगों के अधिकारी ने हमें ड्यूटी पैसे के साथ ड्यूटी कार्ड भी दे दिया. जब हम लोगों ने वोट के लिए पूछा तो उन्होंने कहा कि यहां पर वोटिंग की कोई व्यवस्था नहीं है. इस बात को लेकर होमगार्डों में खासा गुस्सा है.
शिवसागर पांडे, होमगार्ड
वहीं इस पूरे मामले में जिला कमांडेंट होमगार्ड अनिल कुमार यादव मीडिया के सामने कुछ भी कहने से बचते नजर आए. उन्होंने सिर्फ इतना कहा कि हम लोगों ने सभी का फॉर्म भरकर भेज दिया था. अब क्या वजह हुई कि यह लोग वोट नहीं दे पाए. यह नोडल अधिकारी ही बता सकते हैं.