अयोध्याः सैकड़ों वर्षों तक मंदिर-मस्जिद विवाद का दंश झेल चुकी अयोध्या अब नई इबारत लिखने को तैयार है. 2020 का 6 दिसंबर यानी बाबरी विध्वंस का दिन सकुशल बीत गया. यह दिन गम और खुशी की जगह विकास और सौहार्द का संदेश देता गया. आज सरयू तट पर महाआरती रोज की तरह आध्यत्मिकता का अनुभव करती रही, तो राम की पैड़ी सहित अन्य जगहों पर इसी तरह का माहौल दिखा.
विकास और सौहार्द के नाम पर समर्पित करने को संकल्पित
अयोध्या विवाद का फैसला आने के बाद श्रीराम मंदिर निर्माण का कार्य चल रहा है. वहीं, इस बार बाबरी विध्वंस की तिथि 6 दिसंबर पर गम और खुशी का कोई मतलब नहीं रह गया. अब इस दिन को यहां के लोग विकास और सौहार्द के नाम पर समर्पित करने को संकल्पित हैं.
500 वर्ष पूर्व श्री राम जन्मभूमि को लेकर शुरू हुआ
500 वर्ष पूर्व श्रीराम जन्मभूमि को लेकर शुरू हुआ संघर्ष 1949 में कानूनी रूप से सामने आया. 9 नवंबर 2019 को राम मंदिर का फैसला राम लला के पक्ष में आने के बाद अयोध्या सुकून की सांस ले रही है. न तो अयोध्या में अशांति है और न भय. विकास की गाथा लिखते हुए अयोध्या ने एक वर्षों का कार्यकाल पूरा कर लिया है. इस बार 6 दिसंबर सौहार्द और विकास के रूप में संकल्पित रहा.
विकास की खींची जा रही लकीर
अयोध्या में न केवल राम की पैड़ी की सुंदरता लोगों का मन मोह रही है, बल्कि सरयू तट की सुंदरता को लेकर गुप्तार घाट से लेकर नया घाट तक विकास की लकीर खींची जा रही है. प्राचीन सरयू तट से सटी भूमि पर भव्य भजन स्थल बनकर तैयार हैं. अयोध्या शोध संस्थान, अंतरराष्ट्रीय रामकथा संग्रहालय, बस अड्डा और पार्क आदि अयोध्या की सुंदरता में सजीले रंग भर रहे हैं.
करोड़ों राम भक्तों के लिए सज रही अयोध्या
अयोध्या-फैजाबाद का रेलवे स्टेशन विश्व पर्यटन के लिए खुद को तैयार कर रहा है. वहीं, मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम एयरपोर्ट की स्थापना के लिए प्रदेश सरकार तत्पर है. अयोध्या नगर निगम के महापौर ऋषिकेश उपाध्याय कहते हैं कि अयोध्या अब करोड़ों राम भक्तों के लिए सज रही है. देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की देख-रेख में अयोध्या का विश्व स्तर की पर्यटन नगरी के रूप में समुचित विकास करने की तैयारी है.
सभी स्थलों पर पहुंच होगी सुगम
जहां एक ओर सरयू के रमणीय तट श्रद्धालुओं और पर्यटकों को आकर्षित करेंगे, वहीं रामभक्त रामलला से जुड़े सभी स्थलों पर सरलता से पहुंचकर उनकी आध्यात्मिकता का अनुभव कर सकेंगे. भगवान राम की संस्कृति और उनसे जुड़े स्थलों की महत्ता को गहराई से जान सकेंगे.
राम की पैड़ी स्थित रामादल के अध्यक्ष पंडित कल्किराम कहते हैं कि अब गम और खुशी बीते समय की बात हो गई. अयोध्या नई इबारत लिखने को तैयार है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की देख-रेख में अयोध्या में भगवान राम भक्तों से जुड़ी हर प्रकार की सुविधा धार्मिकता को सहेजा संवारा जा रहा है. अब 6 दिसंबर को विकास के रूप में जाना जाना चाहिए.