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अंबेडकर नगरः लापरवाही की भेंट चढ़ा प्रधानमंत्री का यह ड्रीम प्रोजेक्ट - लापरवाही की भेंट चढ़ रहा स्वच्छ भारत मिशन

ग्राम पंचायतों और अधिकारियों की मिलीभगत से शौचालय बनने के पैसे का बंदर बांट हो गया. इन कारण गांवों में बन रहे शौचालय आधे-अधूरे ही रह गए. वहीं मजबूरन लोगों को खुले में शौच करने जाना पड़ रहा है.

अधूरे पड़े गड्ढे.
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Published : Jul 24, 2019, 5:49 PM IST

Updated : Sep 17, 2020, 4:26 PM IST

अंबेडकर नगरः भारत को खुले में शौच मुक्त देश बनाना प्रधानमंत्री का सपना है, जिसके लिए स्वछ भारत मिशन के तहत घर-घर शौचालय पहुंचाने का लक्ष्य है. कागजों में पूरा जिला ओडीएफ यानि कि खुले में शौच मुक्त घोषित हो गया, लेकिन जमीनी हकीकत जस की तस है. आरोप है कि ग्राम पंचायतों और अधिकारियों की मिलीभगत से शौचालयों के बनने के पैसे का बंदरबांट हो गया. गांवों में बन रहे शौचालय आधे-अधूरे ही रह गए. मजबूरन लोगों को खुले में शौच करने जाना पड़ रहा है.

स्वच्छ भारत मिशन योजना का हाल.

कैसा पूरा होगा स्वच्छ भारत का सपना

  • मामला जहांगीरगंज ब्लाक के ग्राम सभा दशरथपुर इटहिया के पुरवा कल्लुपुर का है.
  • गांव में योजना के तहत बन रहे कई दर्जन शौचालय आज भी अधूरे हैं.
  • इन शौचालयों में न तो सीट है और न ही गड्ढे तैयार किए गए हैं.
  • गांव में जो भी शौचालय बनने थे, उनके लिए गड्ढे खोदकर छोड़ दिए गए हैं.

शौचालय का पैसा हड़पने का आरोप

शासन का निर्देश था कि शौचालय बनाने का पैसा लाभार्थियों के खाते में जाय, लेकिन गांव की फिरता देवी ने आरोप लगाया कि ग्राम प्रधान जिलाजीत पैसा लाभार्थियों को देने के बजाय खुद ही डकार गए. वहीं फाइलों में तो इस गांव में शौचालय का निर्माण पूरा है, लेकिन हकीकत में यह योजना यहां पूरी तरह असफल हो रही है.

ग्राम पंचायत दशरथपुर इटहिया में बेस लाइन सर्वे 2012 के अनुसार 162 शौचालय बनना था, जोकि पूर्ण हो चुका है. सर्वे 2018 के अनुसार 35 शौचालय और बनने थे. इसमें से 5 का पैसा जारी हो गया है और 30 का जल्द ही हो जाएगा. 50 से 60 शौचालय जो अधूरे हैं उनकी जांच कराकर दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई होगी.
-राम अशीष चौधरी, डीपीआरओ

अंबेडकर नगरः भारत को खुले में शौच मुक्त देश बनाना प्रधानमंत्री का सपना है, जिसके लिए स्वछ भारत मिशन के तहत घर-घर शौचालय पहुंचाने का लक्ष्य है. कागजों में पूरा जिला ओडीएफ यानि कि खुले में शौच मुक्त घोषित हो गया, लेकिन जमीनी हकीकत जस की तस है. आरोप है कि ग्राम पंचायतों और अधिकारियों की मिलीभगत से शौचालयों के बनने के पैसे का बंदरबांट हो गया. गांवों में बन रहे शौचालय आधे-अधूरे ही रह गए. मजबूरन लोगों को खुले में शौच करने जाना पड़ रहा है.

स्वच्छ भारत मिशन योजना का हाल.

कैसा पूरा होगा स्वच्छ भारत का सपना

  • मामला जहांगीरगंज ब्लाक के ग्राम सभा दशरथपुर इटहिया के पुरवा कल्लुपुर का है.
  • गांव में योजना के तहत बन रहे कई दर्जन शौचालय आज भी अधूरे हैं.
  • इन शौचालयों में न तो सीट है और न ही गड्ढे तैयार किए गए हैं.
  • गांव में जो भी शौचालय बनने थे, उनके लिए गड्ढे खोदकर छोड़ दिए गए हैं.

शौचालय का पैसा हड़पने का आरोप

शासन का निर्देश था कि शौचालय बनाने का पैसा लाभार्थियों के खाते में जाय, लेकिन गांव की फिरता देवी ने आरोप लगाया कि ग्राम प्रधान जिलाजीत पैसा लाभार्थियों को देने के बजाय खुद ही डकार गए. वहीं फाइलों में तो इस गांव में शौचालय का निर्माण पूरा है, लेकिन हकीकत में यह योजना यहां पूरी तरह असफल हो रही है.

ग्राम पंचायत दशरथपुर इटहिया में बेस लाइन सर्वे 2012 के अनुसार 162 शौचालय बनना था, जोकि पूर्ण हो चुका है. सर्वे 2018 के अनुसार 35 शौचालय और बनने थे. इसमें से 5 का पैसा जारी हो गया है और 30 का जल्द ही हो जाएगा. 50 से 60 शौचालय जो अधूरे हैं उनकी जांच कराकर दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई होगी.
-राम अशीष चौधरी, डीपीआरओ

Intro:स्पेशल स्टोरी

एंकर-भारत को खुले में शौच मुक्त देश बनाना प्रधानमंत्री का सपना है ,जिसके लिए स्वछ भारत मिशन के तहत घर घर शौचालय पहुँचाने का लक्ष्य है ,लेकिन प्रधानमंत्री का यह सपना जिले में चूर चूर हो रहा है ,शौचालय निर्माण में भ्रष्टाचार की ऐसी छाया लगी कि कागजों में पूरा अम्बेडकरनगर जिला ओडीएफ यानि कि खुले में शौच मुक्त घोषित हो गया लेकिन जमीनी धरातल पर हालात जस के तस हैं , ग्राम पंचायतों और अधिकारियों की मिली भगत से शौचालयो के बनने के पैसे का बंदर बाट हो गया और गांवो में बन रहे शौचालय आधे अधूरे ही रह गए ,मजबूरन लोगों को खुले में शौच जा रहे हैं ।


Body:मामला अम्बेडकरनगर जिले के जहांगीरगंज ब्लाक के ग्राम सभा दशरथपुर इटहिया के पुरवा कल्लुपुर का है ।

गांव में वर्षो से बन रहे कई दर्जन शौचालय आज भी अधूरे हैं ,इनमे न तो सीट है न ही गड्ढे तैयार हैं,

शौचालयों के लिये गड्ढे खोद कर छोड़ दिये गए हैं अब बारिश में उसमे मासूमों के गिरने का खतरा है ,

शासन का निर्देश था कि शौचालय बनाने का पैसा लाभार्थियों के खाते में जाय लेकिन यहाँ तो ग्राम प्रधान और ग्राम सचिव मिलकर पैसा लाभार्थियों को देने के बजाय खुद ही डकार गए ,

फाइलों में तो इस गांव में शौचालय का निर्माण पूरा है लेकिन हकीकत में यह योजना यहाँ पूरी तरह फ्लाप हो चुकी है।

बाईट-1 शर्मिला, 2 फिरता देवी


Conclusion:ग्राम पंचायत दशरथपुर इटहिया में बेस लाइन सर्वे 2012 के अनुसार 162 शौचालय बनना था जो कि पूर्ण हो चुका है ,सर्वे 2018 के अनुसार 35 शौचालय और बनना था जिसमे से 5 का पैसा जारी हो गया है और 30 का जल्द ही हो जाएगा,50 से 60 शौचालय जो अधूरे हैं उनकी जांच करा कर दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई होगी।
राम अशीष चौधरी ,डीपीआरओ

अनुराग चौधरी
अम्बेडकरनगर
9451734102
Last Updated : Sep 17, 2020, 4:26 PM IST
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