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आगरा: यूपी बोर्ड ने मासिक शैक्षिक पंचांग किया जारी - उत्तर प्रदेश समाचार

यूपी बोर्ड ने पहली बार 9वीं से लेकर के 12वीं तक की कक्षाओं का मासिक शैक्षिक पंचांग जारी किया है. इसमें यह तय किया गया है कि किस माह में किस विषय का कौन सा पाठ पढ़ाया जाएगा. छात्र-छात्राओं के मूल्यांकन के लिए त्रैमासिक टेस्ट की भी व्यवस्था की गई है.

यूपी बोर्ड ने मासिक शैक्षिक पंचांग किया जारी
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Published : Jul 24, 2019, 6:44 PM IST

आगरा: यूपी बोर्ड हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की परीक्षाओं की स्कीम जारी कर चुका है. परीक्षाएं 18 फरवरी 2020 से 6 मार्च 2020 तक चलेंगी. यूपी बोर्ड ने पहली बार मासिक शैक्षिक पंचांग जारी किया है. इसमें यह तय किया गया है कि किस माह में किस विषय का कौन सा पाठ पढ़ाया जाएगा, जिससे बोर्ड की परीक्षाओं का परिणाम भी बेहतर रहेगा.

जानकारी देते जिला विद्यालय निरीक्षक.

क्या है पूरा मामला

  • यूपी बोर्ड ने पहली बार 9वीं से लेकर 12वीं तक की कक्षाओं का मासिक शैक्षिक पंचांग जारी किया है.
  • इसमें यह तय किया गया है कि किस माह में किस विषय का कौन सा पाठ पढ़ाया जाएगा.
  • छात्र-छात्राओं के मूल्यांकन के लिए त्रैमासिक टेस्ट की भी व्यवस्था की गई है.
  • त्रैमासिक टेस्ट से 10वीं और 12वीं के स्टूडेंट का आंतरिक मूल्यांकन होगा.
  • यूपी बोर्ड ने यह पहल नकल विहीन परीक्षा कराने और अच्छे परीक्षा परिणाम को लेकर की है.

यह नई सोच और नई पहल है. इसके सकारात्मक परिणाम आएंगे. कक्षा 9 से 12वीं तक के जारी किए गए शैक्षिक पंचांग के हिसाब से ही शिक्षकों को विषय वार पढ़ाई कराने के निर्देश दिए गए हैं. इससे छात्रों के त्रैमासिक टेस्ट से उनकी तैयारी का मूल्यांकन किया जा सकेगा.
-रवींद्र कुमार सिंह, जिला विद्यालय निरीक्षक आगरा

आगरा: यूपी बोर्ड हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की परीक्षाओं की स्कीम जारी कर चुका है. परीक्षाएं 18 फरवरी 2020 से 6 मार्च 2020 तक चलेंगी. यूपी बोर्ड ने पहली बार मासिक शैक्षिक पंचांग जारी किया है. इसमें यह तय किया गया है कि किस माह में किस विषय का कौन सा पाठ पढ़ाया जाएगा, जिससे बोर्ड की परीक्षाओं का परिणाम भी बेहतर रहेगा.

जानकारी देते जिला विद्यालय निरीक्षक.

क्या है पूरा मामला

  • यूपी बोर्ड ने पहली बार 9वीं से लेकर 12वीं तक की कक्षाओं का मासिक शैक्षिक पंचांग जारी किया है.
  • इसमें यह तय किया गया है कि किस माह में किस विषय का कौन सा पाठ पढ़ाया जाएगा.
  • छात्र-छात्राओं के मूल्यांकन के लिए त्रैमासिक टेस्ट की भी व्यवस्था की गई है.
  • त्रैमासिक टेस्ट से 10वीं और 12वीं के स्टूडेंट का आंतरिक मूल्यांकन होगा.
  • यूपी बोर्ड ने यह पहल नकल विहीन परीक्षा कराने और अच्छे परीक्षा परिणाम को लेकर की है.

यह नई सोच और नई पहल है. इसके सकारात्मक परिणाम आएंगे. कक्षा 9 से 12वीं तक के जारी किए गए शैक्षिक पंचांग के हिसाब से ही शिक्षकों को विषय वार पढ़ाई कराने के निर्देश दिए गए हैं. इससे छात्रों के त्रैमासिक टेस्ट से उनकी तैयारी का मूल्यांकन किया जा सकेगा.
-रवींद्र कुमार सिंह, जिला विद्यालय निरीक्षक आगरा

Intro:आगरा.
यूपी बोर्ड ने नई सोच और पहल के तहत पहली बार इस साल 9वीं से लेकर के 12वीं तक की कक्षाओं का मासिक शैक्षिक पंचांग जारी किया है. जिसमें यह तय किया गया है कि किस माह में किस विषय के कौन सा पाठ पढ़ाया जाएगा. छात्र-छात्राओं के मूल्यांकन के लिए त्रैमासिक टेस्ट की भी व्यवस्था की गई है. यूपी बोर्ड ने यह पहल नकल विहीन परीक्षा कराने और अच्छे परीक्षा परिणाम को लेकर की है. आगरा मंडल के संयुक्त शिक्षा निदेशक मुकेश अग्रवाल ने इस बारे में सभी जिलों के जिला विद्यालय निरीक्षक और प्रधानाचार्य को बैठक करके बोर्ड के आदेश के मुताबिक, मासिक शैक्षिक पंचांग से ही बच्चों की पढ़ाई कराने के निर्देश दिए हैं. त्रैमासिक टेस्ट से 10वीं और 12वीं के स्टूडेंट का आंतरिक मूल्यांकन होगा, जो उनके लिए बहुत ही जरूरी रहेगा.


Body:यूपी बोर्ड हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की बोर्ड परीक्षाओं की स्कीम भी जारी कर चुका है. परीक्षाएं 18 फरवरी 2020 से 6 मार्च 2020 तक चलेगी. नकल विहीन परीक्षाओं पर सरकार का जोर है. परीक्षा परिणाम बेहतर लाने के लिए ही पहली बार बोर्ड ने
वार्षिक परीक्षाओं से इतने दिन पहले स्कीम जारी कर दी है. इसकी अहम वजह भी यही है कि समय से सिलेबस पूरा हो जाए. विद्यार्थी पढ़ाई के साथ ही रिवीजन कर सकें. मासिक शैक्षिक पंचांग जारी होने से शिक्षकों की जिम्मेदारी तय हो गई है. अब उन्हें क्लास में पढ़ाना ही होगा. तभी मासिक शैक्षिक पंचांग से पढ़ाई हो पाएगी. जिससे बोर्ड की परीक्षाओं का परिणाम भी बेहतर रहेगा.
आगरा के जिला विद्यालय निरीक्षक रवींद्र कुमार सिंह ने बताया कि यह नई सोच और नई पहल है. इसके सकारात्मक परिणाम आएंगे. कक्षा 9 से 12 वीं तक के जारी किए गए शैक्षिक पंचांग के हिसाब से ही शिक्षकों को विषय वार पढ़ाई कराने के निर्देश दिए हैं. इससे विद्यार्थियों को लाभ होगा. शिक्षक पढ़ाई कराकर समय से कोर्स पूरा कराएं. जिससे छात्रों के त्रैमासिक टेस्ट से उनकी तैयारी का मूल्यांकन किया जा सकेगा. यह बहुत अच्छी पहल है.


Conclusion:यूपी बोर्ड ने पहली बार मासिक पाठ्यक्रम का निर्धारण किया गया है. अब शिक्षकों की क्लास से दूरी नहीं चलेगी. न ही छात्र बंक मार सकेंगे. त्रैमासिक टेस्ट से छात्रों का मूल्यांकन होगा. नौवीं और ग्यारहवीं के परीक्षा परिणाम में त्रैमासिक टेस्ट के अंक भी शामिल होंगे.

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रवींद्र कुमार सिंह, जिला विद्यालय निरिक्षक आगरा

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श्यामवीर सिंह
आगरा
8387893357
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