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सोनभद्र: आयुष्मान कार्ड को जिले के अस्पताल बता रहे फर्जी, जानिए क्यों

उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले में स्वास्थ्य विभाग का एक ऐसा मामला सामने आया है. जहां बच्चे का इलाज कराने गए युवक के पास आयुष्मान भारत के कार्ड को डॉ. ने फर्जी बता दिया. इसके बाद पीड़ित ने जिलाधिकारी से गुहार लगाई है.

आयुष्मान कार्ड को जनपद के अस्पताल बता रहे हैं फर्जी
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Published : Jun 19, 2019, 4:14 PM IST

सोनभद्र: जिले के 115 पिछड़े जिलों में शामिल सोनभद्र स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर हमेशा कहीं न कहीं विवादों में बना ही रहता है. ऐसा ही एक ताजा मामला आयुष्मान कार्ड को लेकर देखने को मिला है. रायपुर थाना क्षेत्र के रहने वाले लालता प्रसाद ने बच्चे को प्राइवेट अस्पताल में भर्ती कराया. उसके बाद जब उन्होंने डॉक्टर को आयुष्मान कार्ड दिखाया तो डॉ. ने उसे फर्जी करार दिया और उनसे इलाज के 15 हजार रुपये ले लिए. इसके बाद लालता प्रसाद ने डॉ. की शिकायत जिलाधिकारी से की.

ईटीवी भारत ने पीड़ित से की बातचीत.

जानिए क्या है पूरा मामला

  • मामला रायपुर थाना क्षेत्र का है जहां पीड़ित लालता प्रसाद अपने बच्चे को दिखाने प्राइवेट अस्पताल में गए और जब उन्होंने डॉ. को आयुष्मान भारत का कार्ड दिखाया तो डॉ. ने उसे फर्जी करार दिया.
  • आयुष्मान कार्ड होने के बावजूद मरीज से पैसे लिए गए.
  • जब मरीज ने डॉ. की शिकायत जिलाधिकारी से की तो उन्होंने नोडल अधिकारी को जांच सौंपी.

मैं अपने बच्चे को लेकर नेशनल बाल चिकित्सालय गया, जहां पर मेरे पास आयुष्मान का कार्ड था. उसको उन्होंने फर्जी बताया और 15 हजार रुपये हमसे ले लिए. इसकी मैंने शिकायत जिला अधिकारी से की तो जिला अधिकारी ने जांच के लिए मुख्य चिकित्सा अधीक्षक के पास भेजा. मैं यहां पर आया हूं और उनको पत्र दे दिया है.

-लालता प्रसाद, पीड़ित

लालता प्रसाद आयुष्मान कार्ड की शिकायत लेकर हमारे पास आए हैं. इसके बारे में जांच करवाई जाएगी. कार्ड को फर्जी बताना गलत है. इसको वेरीफाई करवाया जाएगा. कार्ड रहने के बावजूद अगर पैसा लिया गया है तो यह गलत है. इस पर जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी.

-प्रेम बहादुर गौतम, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक

वह कार्ड उस व्यक्ति का नहीं है. दरअसल उसमें उसके घर वाले का नाम सही नहीं मिल रहा है, जिसकी वजह से वह कार्ड का लाभ नहीं ले पाया. इसके विषय में हम उच्च अधिकारियों को सूचित करेंगे और जैसा निर्देश प्राप्त होगा वैसी कार्रवाई की जाएगी.

-डॉ. सलिल श्रीवास्तव, नोडल अधिकारी, आयुष्मान भारत

सोनभद्र: जिले के 115 पिछड़े जिलों में शामिल सोनभद्र स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर हमेशा कहीं न कहीं विवादों में बना ही रहता है. ऐसा ही एक ताजा मामला आयुष्मान कार्ड को लेकर देखने को मिला है. रायपुर थाना क्षेत्र के रहने वाले लालता प्रसाद ने बच्चे को प्राइवेट अस्पताल में भर्ती कराया. उसके बाद जब उन्होंने डॉक्टर को आयुष्मान कार्ड दिखाया तो डॉ. ने उसे फर्जी करार दिया और उनसे इलाज के 15 हजार रुपये ले लिए. इसके बाद लालता प्रसाद ने डॉ. की शिकायत जिलाधिकारी से की.

ईटीवी भारत ने पीड़ित से की बातचीत.

जानिए क्या है पूरा मामला

  • मामला रायपुर थाना क्षेत्र का है जहां पीड़ित लालता प्रसाद अपने बच्चे को दिखाने प्राइवेट अस्पताल में गए और जब उन्होंने डॉ. को आयुष्मान भारत का कार्ड दिखाया तो डॉ. ने उसे फर्जी करार दिया.
  • आयुष्मान कार्ड होने के बावजूद मरीज से पैसे लिए गए.
  • जब मरीज ने डॉ. की शिकायत जिलाधिकारी से की तो उन्होंने नोडल अधिकारी को जांच सौंपी.

मैं अपने बच्चे को लेकर नेशनल बाल चिकित्सालय गया, जहां पर मेरे पास आयुष्मान का कार्ड था. उसको उन्होंने फर्जी बताया और 15 हजार रुपये हमसे ले लिए. इसकी मैंने शिकायत जिला अधिकारी से की तो जिला अधिकारी ने जांच के लिए मुख्य चिकित्सा अधीक्षक के पास भेजा. मैं यहां पर आया हूं और उनको पत्र दे दिया है.

-लालता प्रसाद, पीड़ित

लालता प्रसाद आयुष्मान कार्ड की शिकायत लेकर हमारे पास आए हैं. इसके बारे में जांच करवाई जाएगी. कार्ड को फर्जी बताना गलत है. इसको वेरीफाई करवाया जाएगा. कार्ड रहने के बावजूद अगर पैसा लिया गया है तो यह गलत है. इस पर जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी.

-प्रेम बहादुर गौतम, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक

वह कार्ड उस व्यक्ति का नहीं है. दरअसल उसमें उसके घर वाले का नाम सही नहीं मिल रहा है, जिसकी वजह से वह कार्ड का लाभ नहीं ले पाया. इसके विषय में हम उच्च अधिकारियों को सूचित करेंगे और जैसा निर्देश प्राप्त होगा वैसी कार्रवाई की जाएगी.

-डॉ. सलिल श्रीवास्तव, नोडल अधिकारी, आयुष्मान भारत

Intro:anchor... जनपद के 115 पिछड़े जिलों में शामिल सोनभद्र स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर हमेशा कहीं ना कहीं विवादों में बना ही रहता है ऐसा ही एक मामला देखने को मिला रायपुर थाना क्षेत्र के रहने वाले लालता प्रसाद अपनी बहु की डिलीवरी के बाद बच्चे को लेकर एक प्राइवेट अस्पताल में गए और उन्होंने वहां पर बच्चे को भर्ती कराया इसके बाद उन्होंने आयुष्मान कार्ड को दिखाया तो वहां के डॉक्टरों ने कहा कि यह आयुष्मान कार्ड फर्जी है जिसके बाद घबराकर की इज्जत की जिलाधिकारी के पास है और जिलाधिकारी ने चिकित्सा अधीक्षक को जांच के लिए भेज दिया


Body:vo... जनपद में इसके पहले भी अभी आयुष्मान कार्ड को लेकर जनपद का एक जाना माना प्राइवेट है सरकार चर्चा में आया था जहां पर आयुष्मान कार्ड होने के बावजूद भी मरीज से पैसे लिए गए इसकी शिकायत जब नोडल अधिकारी को हुई तो उन्होंने जांच करने की बात कही वहीं लालता प्रसाद का कहना है कि मैं अपने बच्चे को लेकर नेशनल बाल चिकित्सालय गया जहां पर मेरे पास आयुष्मान का कार्ड था उसको उन्होंने फर्जी बताया और ₹15000 हमसे ले लिए इसकी मैंने इसकी शिकायत जिला अधिकारी के पास की तो जिला अधिकारी ने जांच के लिए मुख्य चिकित्सा अधीक्षक के पास भेजा मैं यहां पर आया हूं और उनको पत्र दे दिया हूं

vo.. इस मामले में मुख्य चिकित्सा अधीक्षक का कहना है कि लालता प्रसाद आयुष्मान कार्ड की शिकायत लेकर हमारे पास आए हैं इसके बारे में जांच करवाई जाएगी कार्ड को फर्जी बताना गलत है इसको वेरीफाई करवाया जाएगा कार रहने के बावजूद अगर पैसा लिया गया है तो यह गलत है इस पर जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी

byte... प्रेम बहादुर गौतम मुख्य चिकित्सा अधीक्षक जिला अस्पताल सोनभद्र कोट पहने हुए




Conclusion:vo.. वहीं इस मामले को लेकर जनपद के आयुष्मान के नोडल अधिकारी का कहना है कि वह कार्ड उस व्यक्ति का नहीं है दरअसल उसमें उसके घर वाले किसी का नाम मिला नहीं हो रहा है जिसकी वजह से वह कार्ड का लाभ नहीं ले पाया इसके विषय में हम उच्च अधिकारियों को सूचित करेंगे और जैसा निर्देश प्राप्त होगा वैसी कार्यवाही की जाएगी

byte... डॉक्टर सलिल श्रीवास्तव नोडल अधिकारी आयुष्मान भारत सोनभद्र हाफ नीला शर्ट पहने हुए
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