आगरा. डॉ भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय द्वारा शुरू किए गए आवासीय परिसर के संस्थानों में स्नातक पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए 40 फीसदी सीटें खाली हैं. ऐसे में आवेदन करने वाले छात्र-छात्राओं को अब प्रवेश के लिए विवि द्वारा फोन करके बुलाया जा रहा है. इसके बावजूद सीटें भर नहीं रही हैं. अधिकतर जो नए पाठ्यक्रम हैं, उनकी स्थिति ज्यादा खराब है. इसको देखते हुए वेब रजिस्ट्रेशन की अंतिम तिथि 20 अक्टूबर से बढ़ाकर 31 अक्टूबर की गई, इसके बाद भी सीटें नहीं भर पाईं.
दरअसल, कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी हिंदी एवं भाषा विज्ञान विद्यापीठ के शैक्षणिक सत्र 2020-21 में शुरू किए जा रहे पाठ्यक्रम बीए ऑनर्स हिंदी की 60 सीटों के सापेक्ष महज 12 छात्र-छात्राओं ने प्रवेश लिया है. अभी भी 48 सीटें खाली पड़ी हैं. विदेशी भाषाओं के सर्टिफिकेट कोर्स की सीटें भी नहीं भर पाई हैं. रशियन में 50 में से 33 सीटें भरी हैं, जबकि 17 खाली हैं. जर्मन भाषा में 50 में से 27 सीटें खाली हैं. फ्रेंच की स्थिति कुछ हद तक ठीक है, जहां 50 में से महज 5 सीटें खाली बची हैं. ललित कला संस्थान में अप्लाइड आर्ट की 40 में से 28 सीटें खाली हैं, वहीं डिप्लोमा इन स्कप्चर की 20 में से 17 सीटें खाली हैं. डिप्लोमा इन परफॉर्मिंग आर्ट की 30 में से 23 सीटें खाली हैं. इसके अलावा डिप्लोमा इन फैशन डिजाइनिंग की 40 में से 11 सीटें, सर्टिफिकेट इन पेंटिंग की 25 में से 16 सीटें, सर्टिफिकेट इन अप्लाइड आर्ट की 25 में से 22 सीटें खाली हैं. केवल बीएफएम में प्रवेश की स्थिति ठीक है. वहीं सेठ पदम चंद जैन संस्थान की 60 में से 50 सीटें भरी हैं.
बीएससी होम साइंस में 93 सीटें हैं खाली
बीएससी होम साइंस में 120 सीटें हैं. इनमें से 27 सीटों पर प्रवेश हुआ है, 93 सीटें अभी भी खाली रह गई हैं. दाऊ दयाल इंस्टीट्यूट ऑफ वोकेशनल एजुकेशन बी वॉक रेने वेबल एनर्जी में 60 सीट हैं, लेकिन मात्र दो सीटों पर प्रवेश हुआ है, 58 सीटें अभी भी खाली हैं. यह भी नया पाठ्यक्रम है. यहां के बाकी पाठ्यक्रमों में प्रवेश की स्थिति ठीक है.
यह कहते हैं कुलपति
कुलपति प्रो. अशोक मित्तल का कहना है कि कुछ पाठ्यक्रम में अभी प्रवेश होने की उम्मीद है. भले ही वेब रजिस्ट्रेशन बंद कर दिया गया हो, लेकिन प्रवेश अभी भी हो रहे हैं. डिग्री व अंकपत्र भी समय से न मिलने से भी आवासीय संस्थानों व कॉलेजों से विद्यार्थी दूरी बना रहे हैं. इन व्यवस्थाओं को दुरुस्त किया जा रहा है.