नई दिल्ली : भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने गुरुवार को (India weather report today) पश्चिमी हिमालयी क्षेत्र और आसपास के मैदानी इलाकों और उत्तर पश्चिमी क्षेत्र में गुरुवार को बारिश/ गरज के साथ बौछारें पड़ने की संभावना जताई है. महाराष्ट्र के विदर्भ के ब्रह्मपुरी में बुधवार को अधिकतम तापमान 45.3 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. गुरुवार को उत्तर-पश्चिम भारत में बारिश/गरज के साथ बारिश की संभावना है, गुरुवार और शुक्रवार को मध्य भारत में और 22 अप्रैल तक पूर्वी भारत में ऐसी ही स्थिति रहने का अनुमान है. आईएमडी ने कहा कि उत्तर-पश्चिम और मध्य भारत में अधिकतम तापमान अगले दो दिनों के दौरान 2-4 डिग्री सेल्सियस गिर जाएगा और उसके बाद बढ़ जाएगा. गुरुवार से जम्मू संभाग, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, मध्य प्रदेश, विदर्भ, छत्तीसगढ़ और झारखंड के अलग-अलग हिस्सों में लू चलने (heat Wave Update ) में कमी की संभावना है. इसका कारण पश्चिमी विक्षोभ के कारण हवा की स्थिति में बदलाव और बादल छाए रहना होगा.
दिल्ली में लू से राहत पर तापमान रहेगा सामान्य से ऊपर : इधर, राष्ट्रीय राजधानी के कुछ भागों में भी लोगों को बुधवार को लू के थपेड़ों का सामना करना पड़ा. हालांकि, बादल छाये रहने और तेज हवा चलने के पूर्वानुमान के साथ गुरुवार को पारा थोड़ा नीचे जाने से राहत की उम्मीद जतायी गई है. सफदरजंग वेधशाला के मुताबिक, दिल्ली के इस बेस स्टेशन में बुधवार को अधिकतम तापमान 41.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जबकि मंगलवार को अधिकतम तापमान 42.6 डिग्री सेल्सियस रहा था. मौसम विभाग के पूर्वानुमान के मुताबिक, दिल्ली में गुरुवार को बूंदा-बांदी के साथ ही आंधी चल सकती है. इस दौरान हवा की गति 40 किलोमीटर प्रतिघंटा तक रह सकती है. एक अधिकारी ने कहा कि लू की स्थिति में राहत मिल सकती है लेकिन अधिकतम तापमान सामान्य से ऊपर रहेगा. उन्होंने कहा कि अगले सप्ताह तक पारा फिर से बढ़कर 42 डिग्री सेल्सियस हो जाएगा.
झारखंड और उससे सटे पश्चिम बंगाल और ओडिशा के क्षेत्रों में चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र : स्काईमेट वेदर की एक रिपोर्ट में पश्चिमी विक्षोभ उत्तरी पाकिस्तान और इससे सटे जम्मू कश्मीर के हिस्सों पर बना हुआ है. अफगानिस्तान के पश्चिमी हिस्सों पर एक और पश्चिमी विक्षोभ बना हुआ है. दक्षिण तमिलनाडु और आसपास के क्षेत्रों पर चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र देखा जा सकता है. एक और चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र झारखंड और उससे सटे गंगीय पश्चिम बंगाल और उत्तरी ओडिशा के क्षेत्रों पर बना हुआ है. एक ट्रफ रेखा दक्षिण छत्तीसगढ़ से तेलंगाना और रायलसीमा होते हुए दक्षिण तमिलनाडु तक फैली हुई है.
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अगले 24 से 48 घंटों के दौरान पंजाब, हरियाणा, दिल्ली के कुछ हिस्सों में आंधी और धूल भरी आंधी चलने की संभावना : स्काईमेट वेदर की एक रिपोर्ट में अगले 24 घंटों के दौरान, असम, मेघालय, अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, मिजोरम और नागालैंड में हल्की से मध्यम बारिश के साथ कुछ स्थानों पर भारी बारिश हो सकती है. तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, उत्तरी तटीय आंध्र प्रदेश, पश्चिमी हिमालय, सिक्किम, हिमालयी पश्चिम बंगाल और पूर्वी बिहार के कुछ हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है. अगले 24 से 48 घंटों के दौरान पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, राजस्थान और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में आंधी और धूल भरी आंधी चलने की संभावना है. झारखंड, दक्षिण गुजरात, महाराष्ट्र, तेलंगाना, मध्य प्रदेश, ओडिशा के कुछ हिस्सों में हल्की बारिश और गरज के साथ बौछारें पड़ सकती हैं.
प्री मानसून गतिविधियों से कई राज्यों में बारिश के आसार, गर्मी से मिलेगी राहत : स्काईमेट वेदर की एक रिपोर्ट के अनुसार मध्य भारत, उत्तर पश्चिम भारत के बाद दूसरा सबसे बड़ा वर्षा की कमी वाला क्षेत्र है. 1 से 19 अप्रैल के बीच, उत्तर पश्चिम भारत में 91% कम वर्षा हुई है जबकि मध्य भारत में 79% की कमी है. गोवा को छोड़कर मध्य भारत के सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में बारिश बहुत ही कम हुई है. लंबे समय तक शुष्क रहने के साथ-साथ शुष्क और गर्म पश्चिमी और उत्तर-पश्चिमी हवाओं के कारण मध्य भारत में तीव्र गर्मी की स्थिति पैदा हो गई है.
महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान और गुजरात में प्री-मानसून गतिविधियां : संभावना है कि महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश के कई हिस्सों और राजस्थान और गुजरात के एक या दो हिस्सों में प्री-मानसून गतिविधियां शुरू हो सकती है. मध्य प्रदेश के मध्य तथा पश्चिमी जिलों सहित पूर्वी राजस्थान में हल्की बारिश हो सकती है. विदर्भ, मराठवाड़ा और मध्य महाराष्ट्र में 21 अप्रैल को आंधी और हल्की वर्षा की गतिविधियां हो सकती हैं. 22 अप्रैल से मध्य प्रदेश, गुजरात और राजस्थान में मौसम शुष्क हो सकता है. साथ ही 24 अप्रैल तक महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में छिटपुट बारिश की गतिविधियां जारी रह सकती हैं. इन पूर्व मानसून गतिविधियों से निश्चित रूप से इन राज्यों से तापमान को कम करने और गर्मी की लहर की स्थिति को कम करने में मदद मिलेगी.
दक्षिण और पूर्वोत्तर भारत के कई इलाकों में हुई बारिश : स्काईमेट वेदर की एक रिपोर्ट में पिछले 24 घंटों के दौरान, असम, मेघालय और मणिपुर में हल्की से मध्यम बारिश के साथ एक दो स्थानों पर भारी बारिश हुई. शेष पूर्वोत्तर भारत, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, सिक्किम, लक्षद्वीप के कुछ हिस्सों, आंतरिक तमिलनाडु, जम्मू कश्मीर, गिलगित-बाल्टिस्तान, मुजफ्फराबाद, आंतरिक कर्नाटक के कुछ हिस्सों और दक्षिण छत्तीसगढ़, तेलंगाना और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के अलग-अलग हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश हुई. हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, दिल्ली और राजस्थान के कुछ हिस्सों में लू से गंभीर लू की स्थिति बनी रही. पंजाब, मध्य प्रदेश, झारखंड, पश्चिमी उत्तर प्रदेश और सौराष्ट्र और कच्छ के कुछ हिस्सों में लू की स्थिति देखी गई.