टोंक. जिले के मालपुरा-टोडारायसिंह विधानसभा के लिए कांग्रेस पर्यवेक्षक और जिलाध्यक्ष टिकट की चाह रखने वालों से आवेदन लेने के लिए मालपुरा पंहुचे थे, जहां करीब 30 लोगों ने आवेदन दिए. वहीं, बैठक में स्थानीय उम्मीदवार की मांग को लेकर हंगामा शुरू हो गया. देखते ही देखते हालात एकदम से बेकाबू हो गए और लात-घूंसों का सिलसिला शुरू हो गया. पार्टी पर्यवेक्षक व जिला अध्यक्ष हंगामा की बात को तो स्वीकार कर रहे हैं, लेकिन लात-घूंसे के प्रकरण पर कोई टिप्पणी करने से बच रहे हैं.
इस सीट पर पार्टी को आखिरी बार साल 1993 में जीत मिली थी. बात अगर पिछले 30 सालों की करें तो यहां कभी निर्दलीय तो कभी भाजपा जीत दर्ज करती रही है. अब कांग्रेस इस सीट को निकालने की तैयारी कर रही है और इसके लिए स्थानीय स्तर पर अभी से ही प्रचार को तेज कर दिया गया है. इसके अलावा पर्यवेक्षक नरेश चौधरी और जिलाध्यक्ष हरिप्रसाद बैरवा भी लगातार स्थानीय नेताओं और कार्यकर्ताओं के संपर्क में हैं. बावजूद इसके यहां प्रत्याशी का चयन टेढ़ी खीर बना हुआ है. यही कारण है कि बैठक में स्थानीय प्रत्याशी की मांग के बीच हंगामा देखने को मिला.
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जानें पूरा मामला - कांग्रेस की ओर से शुरू की गई टिकट के लिए आवेदन प्रक्रिया के दौरान स्थानीय व बाहरी के मुद्दे को लेकर पार्टी कार्यकर्ता आपस में लड़ रहे हैं. इसकी बानगी मालपुरा में देखने को मिली. यहां प्रभारी नरेश चौधरी जब आवेदनकर्ताओं से आवेदन ले रहे थे, तभी स्थानीय आवेदनकर्ता रामबाबू चौधरी व उनके समर्थकों ने जयपुर निवासी व मालपुरा की सियासत में पिछले एक दशक से सक्रिय सेवानिवृत आरएएस अधिकारी प्रभाती लाल जाट के आवेदन का विरोध करने लगे.
रामबाबू चौधरी का कहना था कि प्रभाती लाल जाट बाहरी व्यक्ति है. लिहाजा कांग्रेस को चाहिए कि वो सिर्फ स्थानीय के मुद्दे पर ही प्रत्याशी का चयन करे, हालांकि, रामबाबू चौधरी के प्रभाती लाल जाट को बाहरी कांग्रेसी बताए जाने पर जाट के समर्थक भी उग्र हो गए. कुछ ही देर में वहां हालात बिगड़ गए और धक्का-मुक्की होने लगी. इस दौरान मौके पर विधानसभा प्रभारी नरेश चौधरी, जिलाध्यक्ष हरिप्रसाद, ब्लॉक अध्यक्ष गोगाराम जाट और रामप्रसाद साहू मौजूद रहे.