केशोरायपाटन (बूंदी). राजस्थान विधानसभा चुनाव 2023 के तहत भारतीय जनता पार्टी ने केशोरायपाटन विधानसभा सीट से एक बार फिर वर्तमान विधायक चंद्रकांता मेघवाल को मौका दिया है. इससे पहले लगातार दो बार वो रामगंजमंडी से विधायक रहीं थीं, लेकिन 2018 में उनका टिकट बदल दिया गया था. ईटीवी भारत से हुई विशेष बातचीत में राजस्थान की कांग्रेस सरकार पर हमला बोलते हुए उन्होंने कहा कि बूंदी जिले के विधानसभा क्षेत्रों में ही विकास में भेदभाव किया गया है. हिंडोली के विधायक और मंत्री अशोक चांदना पर हमला बोलते हुए उन्होंने कहा कि यह सब सरकार के मंत्री के इशारे पर हुआ है. राजस्थान सरकार ने एक विधानसभा (हिंडौली) क्षेत्र में पांच कॉलेज खोल दिए, जबकि केशोरायपाटन विधानसभा क्षेत्र में एक भी कॉलेज नहीं है. उनका कहना है कि किसानों के साथ भी अत्याचार इस सरकार ने किया है.
कार्यकर्ताओं व जनता की मांग पर बनी प्रत्याशी : चंद्रकांता मेघवाल ने कहा कि भाजपा ने उन्हें तीन बार प्रत्याशी बनाया है. कार्यकर्ताओं और क्षेत्र की जनता ने उन पर विश्वास जताते हुए विधानसभा भेज दिया. सभी कार्यकर्ताओं और जनता की भावनाओं पर वो खरी उतरी हैं. सड़क से लेकर सदन तक उन्होंने संघर्ष किया हैं. कई मुद्दों पर धरने-प्रदर्शन भी किए और सरकार ने उन पर मुकदमे बाजी भी की. इसी के बलबूते पर उन्हें चौथी बार पार्टी ने प्रत्याशी बनाया है. कार्यकर्ताओं और जनता के बलबूते पर एक बार फिर से राजस्थान की विधानसभा में जाउंगीं.
कांग्रेस जड़-मूल से नष्ट होने पर तुली : उन्होंने कहा कि राजस्थान में बीते 5 सालों में कोई सरकार नहीं थी. महज कुर्सी की लड़ाई कांग्रेस के दो नेताओं में चल रही थी. इसी के चलते कांग्रेस में आमजन का विश्वास खो गया और जड़ मूल से ये पार्टी नष्ट होने की स्थिति में आ गई है. अत्याचार, अनाचार, दुराचार व भ्रष्टाचार हमको देखने को मिला है. ये कुर्सी की लड़ाई के लिए जनता को भूल गए. राजस्थान की सरकार ने किसान, बेरोजगारों और पढ़े-लिखे युवाओं के साथ धोखा किया है. पेपर लीक कांड तो दूसरी तरफ सरकार किसानों को ट्रांसफार्मर भी उपलब्ध नहीं करवा पाई. किसान ट्रांसफार्मर के लिए भटक रहा है. डिमांड नोटिस का भारी पैसा इन्होंने जमा कर लिया और अब बोल रहे हैं कि 2 से 5 साल इंतजार करना होगा. दूसरी तरफ बेरोजगारों के साथ भत्ते के नाम पर धोखा किया गया है.
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रामगंज मंडी से भी मांग रही थीं टिकट : चंद्रकांता मेघवाल से जब रामगंजमंडी से टिकट मांगने के मामले पर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि वो नहीं आम जनता और कार्यकर्ता ये प्रयास कर रहे थे कि वो रामगंजमंडी से चुनाव लड़ें. उन्हीं की भावना के अनुरूप उन्होंने पार्टी से टिकट की मांग भी की थी, लेकिन पार्टी का आदेश सर्वोपरि है. उन्होंने मुझे केशोरायपाटन से मैदान में उतारा है, वो वरिष्ठ और शीर्ष नेतृत्व आदेश का पूरा पालन करेंगी, क्योंकि वो भाजपा की सच्ची सिपाही हैं.
अधिकारी रहे हावी, सड़कें नहीं बनवा पाई : प्रत्याशी मेघवाल ने कहा कि भगवान केशोराय की नगरी छोटी काशी केशोरायपाटन नाम से विख्यात है, लेकिन आज भी क्षेत्र में 18-19 सड़कें ऐसी है जो कीचड़ से लथपथ हैं. पंचायत हेड क्वार्टर में सड़कें नहीं है. इस सरकार के शासन में वो यहां सड़कें नहीं बनवा पाई. इसमें ठेकेदारों की भी कमी रही, वो भी आधा अधूरा काम छोड़कर भाग गए, क्योंकि अधिकारियों की ठीक मॉनिटरिंग नहीं थी. भाजपा के पिछले कार्यकाल में स्वीकृत सड़कें पूरी नहीं हो पाई. सरकार ने अधिकारियों को हावी कर दिया और उन्होंने काम नहीं किया. साथ ही, कई क्षेत्रों में लोग फ्लोराइड का पानी पी रहें हैं. पूरा विधानसभा क्षेत्र इस समस्या से जूझ रहा है. नदी में खड्डा खोदकर पानी पिया जा रहा है. उनका लक्ष्य है कि क्षेत्र में हर जगह जल जीवन मिशन से पानी पहुंचाया जाए.
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हमारे विधानसभा क्षेत्र के साथ भेदभाव हुआ : चंद्रकांता मेघवाल ने कहा कि केशोरायपाटन विधानसभा क्षेत्र बहुत बड़ा है. इसके बावजूद एक भी सरकारी कॉलेज यहां नहीं है. एक भी तकनीकी शिक्षा का कॉलेज यहां नहीं है, जबकि यहां कई बड़े कस्बे हैं, जबकि जिले में ही एक विधानसभा क्षेत्र में पांच-पांच कॉलेज खोल दिए गए हैं. इस बीच हिंडोली का नाम उन्होंने नहीं लिया, लेकिन अशोक चांदना पर उन्होंने हमला बोलते हुए कहा कि दो विधानसभाओं में भेदभाव की क्या बात करूं, पूरे राजस्थान के कई विधानसभा क्षेत्रों में भेदभाव हुआ है.
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सरकार का रहा भारी मिसमैनेजमेंट : मेघवाल ने आरोप लगाया कि कांग्रेस नेताओं ने जनता के पैसे को खुर्द-बुर्द करने का काम किया है. कोटा में ही देख लो किस तरह का विकास हुआ है, शुक्र है इस बार ज्यादा पानी कोटा बैराज से नहीं छोड़ा गया. जनता के पैसे का दुरुपयोग किया गया है. जहां पर पैसा लगाना था, वहां नहीं लगाया गया है और जहां वास्तव में आवश्यकता नहीं थी, वहां पर लगाया गया है. सरकार का भारी मिस मैनेजमेंट रहा है.