कोटा. सांगोद विधायक भरत सिंह अक्सर अपनी ही सरकार के खिलाफ मुखर होकर बोलते हैं. शनिवार को उन्होंने 23 जनवरी को बारां में होने वाले प्रदर्शन को लेकर कहा कि मैं सत्ता पक्ष का होने के नाते सरकार के समर्थन में यह मांग कर रहा हूं. हमारी सरकार पर जो कलंक है, वह मिट जाए. ताकि पूरी व्यवस्था साफ और लोग अंगुलियां नहीं उठा सकें.
भरत सिंह ने कहा कि मैं सत्ता पक्ष का विधायक हूं. इसी के नाते सरकार के समर्थन में यह मांग रहा हूं. हमारी सरकार पर जो कलंक है, वह मिट जाए. ताकि लोग अंगुलियां नहीं उठा सकें और पूरी व्यवस्था साफ हो जाए. मीडिया ने सवाल किया कि लंबे समय से आप आंदोलन कर रहे हैं. इस सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि मेरी परीक्षा ले रहे हैं, मैं परीक्षा दे रहा हूं. ऑपरेशन के बाद जिस तरह से मरीज स्वस्थ हो जाता है और चमकता है. वैसे ही कांग्रेस से इन बीमारियों को निकालने के बाद चमक जाएगी. इन भ्रष्ट लोगों को हटा देने पर कांग्रेस में निखार आएगा और चमक आएगी.
खरीद-फरोख्त से जिला प्रमुख बनी हैं उर्मिला जैन भाया: भरत सिंह ने कहा कि बारां जिला परिषद में कांग्रेस के पास बहुमत नहीं था. ऐसे में भारतीय जनता पार्टी ने मदद की. जिसमें मंत्री प्रमोद जैन भाया की पत्नी उर्मिला जैन भाया वहां पर जिला प्रमुख बनी हैं. भरत सिंह ने यह भी आरोप लगा दिया कि वहां पर खरीद-फरोख्त का यह क्रम लंबे समय से जारी है. भाजपा और कांग्रेस एक दूसरे की सहयोगी बन जाती हैं. यह उच्च स्तर पर है और निचले स्तर पर जनता परेशान होती है.
राहुल गांधी ने माना कि अवैध खनन में पहाड़ नौंच खाए: भरत सिंह ने कहा कि राहुल गांधी भारत जोड़ो यात्रा के तहत राजस्थान के दौरे पर थे. इस दौरान अलवर में उन्होंने देखा कि पहाड़ी को ही नौंच खाया गया है. अवैध खनन बहुत बड़ी समस्या है. इस पर पार पाना सहज नहीं है. जब विधायक से पूछा गया कि केवल 6 महीने बचे हैं तो उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत मेरी पीड़ा समझते हैं और मैं इस मामले में उनकी मदद ही कर रहा हूं. ताकि अगर वह कोई एक्शन लेते हैं, तो मेरे पत्र और मेरा अभियान कांग्रेस को ताकत देगा.
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वसुंधरा राजे सिंधिया का बीजेपी में घुट रहा दम: भरत सिंह ने कहा कि हमारी पार्टी की विचारधारा है कि किसी को दबाते नहीं हैं व बोलने से रोकते नहीं हैं. राहुल गांधी की भी यही सोच है. मैं कांग्रेस में रहकर अपनी ही पार्टी के नेताओं के खिलाफ बोल रहा हूं, लेकिन भाजपा में ऐसी आजादी नहीं है. भारतीय जनता पार्टी में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया का भी दम घुट रहा है. वसुंधरा राजे सिंधिया बहुत कुछ सोचती हैं, लेकिन बोल नहीं पाती हैं. वर्तमान में प्रधानमंत्री मोदी के सामने भी कोई नेता नहीं बोल पाता. अटल बिहारी वाजपेई के समय के नेता अरुण शौरी और शत्रुघ्न सिन्हा को भी बीजेपी में नहीं बोलने दिया गया. बीजेपी के दरबार में केवल प्रधानमंत्री मोदी बोलते हैं.
विधानसभा सत्र में जाने की जगह करेंगे विरोध प्रदर्शन: भरत सिंह इस बार भी 23 जनवरी से शुरू हो रहे विधानसभा सत्र में जाने की जगह मंत्री प्रमोद जैन भाया के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करेंगे. बीते विधानसभा सत्र में भी उन्होंने इस तरह से ही प्रदर्शन किया था. उनकी मांग बारां जिले के खान के झोपड़िया गांव को कोटा जिले में शामिल करने की है. साथ ही वहां पर हो रहे खनन को उन्होंने अवैध बताया है. भरत सिंह ने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत संकल्प ले रहे हैं कि भ्रष्टाचार मिटाना है. ऐसे में उनकी मुहिम में समर्थन देने के लिए हम लोग आगे आए हैं. मेरा यह मुद्दा है जो कि उनको ही समर्थन करेगा. भरत सिंह ने एक दिन पहले ही मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को एक पत्र में धृतराष्ट्र बताया था.