कोटा. इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जॉइंट एंट्रेंस एग्जाम का परिणाम और अप्रैल अटेम्प्ट का स्कोर कार्ड जल्द ही जारी हो सकते हैं. नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने प्रोविजनल आंसर की जारी की थी, जिस पर आपत्ति भी नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने मांगी थी. इन आपत्तियों का निस्तारण करने के बाद नेशनल टेस्टिंग एजेंसी परिणाम जारी करेगी. इसके साथ जेईई एडवांस्ड की पात्रता भी जारी कर दी जाएगी. इस साल रिजल्ट में आल इंडिया रैंक पर एक ही विद्यार्थी रहेगा, क्योंकि दो विद्यार्थियों के एनटीए स्कोर में टाई लगने पर ऐसे मापदण्ड तय किए गए हैं कि एक से अधिक विद्यार्थियों की आल इंडिया रैंक 1 आना संभव नहीं है, जबकि बीते साल 2022 में आल इंडिया रैंक-1 पर 18 विद्यार्थी थे.
निजी कोचिंग इंस्टीट्यूट के कॅरियर काउंसलिंग एक्सपर्ट अमित आहूजा ने बताया कि जेईई मेन जनवरी अटेम्प्ट में कुछ विद्यार्थी ऐसे भी हैं, जिनके 300 में से 300 अंक के परफेक्ट स्कोर आ रहे हैं. ऐसे ही अप्रैल सेशन में भी कुछ विद्यार्थी ऐसे हो सकते हैं, जिनका 300 में से 300 अंक हों. इन विद्यार्थियों के आल इंडिया रैंक निकालने के लिए सबसे अंतिम मापदण्ड के रूप में एज व जेईई-मेन एप्लीकेशन नंबर का आरोही क्रम होगा. ऐसे में जिन विद्यार्थियों के 300 अंक आने के साथ 100 पर्सेन्टाइल भी है, उन विद्यार्थियों की रैंक इसी आधार पर जारी की जाएगी. ऐसे में यह संभावना बिल्कुल न्यूनतम हो जाती है कि दो विद्यार्थियों की आयु के साथ आवेदन क्रमांक भी समान हो.
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एनटीए स्कोर में टाइ लगने के बाद एआईआर निर्धारण के मापदण्ड : अमित आहूजा के अनुसार 2023 में पहली बार विद्यार्थियों के हायर एनटीए स्कोर में टाई लगने पर रैंक के निर्धारण के लिए 9 मापदंड निर्धारित किए गए हैं, जिसमें यदि दो विद्यार्थियों के टोटल एनटीए स्कोर समान आते हैं तो ऑल इंडिया रैंक निर्धारण में सर्वप्रथम मैथेमेटिक्स का एनटीए स्कोर देखा जाएगा. यह समान होने पर फिजिक्स, इसके बाद कैमेस्ट्री का एनटीए स्कोर, फिर सही और गलत उत्तरों की संख्या का अनुपात देखा जाएगा.
इस स्थिति में टाइ लगने पर विषयवार मैथेमेटिक्स के सही व गलत उत्तरों की संख्या का अनुपात, यहां भी टाइ लगने पर फिजिक्स के सही और गलत उत्तरों की संख्या का अनुपात, उसमें टाइ लगने पर कैमेस्ट्री के सही एवं गलत उत्तरों की संख्या का अनुपात देखा जाएगा. उपरोक्त सभी मापदण्डों में भी टाइ लगने की स्थिति में जिस विद्यार्थी की आयु ज्यादा होगी, उसे आल इंडिया रैंक में प्राथमिकता दी जाएगी. आयु के मापदण्ड के स्तर पर ही भी यदि टाइ की स्थिति बनती है आवेदन क्रमांक के आरोही क्रम को प्राथमिकता दी जाएगी.