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करौली में कोविड सहायक भर्ती के युवाओं ने किया हंगामा, चिकित्सा विभाग पर लगाए आरोप - करौली समाचार

करौली में कोविड सहायक भर्ती में जीएनएम अभ्यार्थियों को वरीयता नहीं देने से नाराज जीएनएम डिग्रीधारी युवाओं ने गुरुवार को कलेक्ट्रेट परिसर में विरोध-प्रदर्शन किया. इस दौरान जिला कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर उन्हें भर्ती में शामिल करने की मांग की.

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प्रदर्शन करते अभ्यर्थी
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Published : Jun 10, 2021, 8:55 PM IST

करौली. कोरोना महामारी (Corona Pandemic) रोकथाम के लिए कोविड सहायक भर्ती में बीएससी नर्सिंग अभ्यार्थियों (Nursing Candidate) को मेरिट सूची में वरीयता देने और जीएनएम अभ्यार्थियों को वरीयता नहीं देने से नाराज जीएनएम डिग्रीधारी युवाओं ने गुरुवार को कलेक्ट्रेट परिसर में विरोध-प्रदर्शन किया. इस दौरान जिला कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर उन्हें भर्ती में शामिल करने की मांग की. मांग पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन करने की चेतावनी भी दी.

अभ्यार्थियों ने बताया कि करौली चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की ओर से कोविड हेल्थ कंसल्टेंट एवं कोविड स्वास्थ्य सहायक की भर्ती निकाली गई है. जिसमें कोविड हेल्थ सहायक (Covid Health Assistant) के 635 पदों पर भर्ती होनी है. भर्ती में बीएससी नर्सिंग एवं जीएनएम छात्रों का चयन किया जाना था. मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय की ओर से 9 जून को कोविड हेल्थ सहायक के पद पर 503 पदों पर बीएससी नर्सिंग अभ्यार्थियों का चयन कर सूची जारी की गई है, जबकि भर्ती 635 पदों पर जारी की गई थी.

प्रदर्शन करते अभ्यर्थी

पढ़ें: पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों के लेकर कल प्रदेश भर में कांग्रेस करेगी विरोध प्रदर्शन

अभी भी 132 पदों को खाली रखा गया है. चिकित्सा विभाग पर आरोप लगाते हुए युवाओं ने कहा कि जब जीएनएम छात्रों का चयन ही नहीं करना था तो उनसे फार्म क्यों भरवाए गए, जबकि अन्य जिलों में जीएनएम अभ्यर्थियों की भर्ती की गई है. उसमें बीएससी नर्सिंग हो या जीएनएम छात्र हो सबका कट ऑफ जारी कर चयन किया गया है. करौली मेडिकल विभाग ने जीएनएम छात्रों के साथ नाइंसाफी की गई है. युवाओं ने जिला कलेक्टर और मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को ज्ञापन सौंपते हुए भर्ती प्रक्रिया की जांच करवाने और कट ऑफ से भर्ती करवाए जाने की मांग की है. कोरोना महामारी के मद्देनजर धारा 144 लागू होने के बावजूद विरोध प्रदर्शन के दौरान सोशल डिस्टेंसिंग के नियम की जमकर धज्जियां उड़ाई गई.

करौली. कोरोना महामारी (Corona Pandemic) रोकथाम के लिए कोविड सहायक भर्ती में बीएससी नर्सिंग अभ्यार्थियों (Nursing Candidate) को मेरिट सूची में वरीयता देने और जीएनएम अभ्यार्थियों को वरीयता नहीं देने से नाराज जीएनएम डिग्रीधारी युवाओं ने गुरुवार को कलेक्ट्रेट परिसर में विरोध-प्रदर्शन किया. इस दौरान जिला कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर उन्हें भर्ती में शामिल करने की मांग की. मांग पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन करने की चेतावनी भी दी.

अभ्यार्थियों ने बताया कि करौली चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की ओर से कोविड हेल्थ कंसल्टेंट एवं कोविड स्वास्थ्य सहायक की भर्ती निकाली गई है. जिसमें कोविड हेल्थ सहायक (Covid Health Assistant) के 635 पदों पर भर्ती होनी है. भर्ती में बीएससी नर्सिंग एवं जीएनएम छात्रों का चयन किया जाना था. मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय की ओर से 9 जून को कोविड हेल्थ सहायक के पद पर 503 पदों पर बीएससी नर्सिंग अभ्यार्थियों का चयन कर सूची जारी की गई है, जबकि भर्ती 635 पदों पर जारी की गई थी.

प्रदर्शन करते अभ्यर्थी

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अभी भी 132 पदों को खाली रखा गया है. चिकित्सा विभाग पर आरोप लगाते हुए युवाओं ने कहा कि जब जीएनएम छात्रों का चयन ही नहीं करना था तो उनसे फार्म क्यों भरवाए गए, जबकि अन्य जिलों में जीएनएम अभ्यर्थियों की भर्ती की गई है. उसमें बीएससी नर्सिंग हो या जीएनएम छात्र हो सबका कट ऑफ जारी कर चयन किया गया है. करौली मेडिकल विभाग ने जीएनएम छात्रों के साथ नाइंसाफी की गई है. युवाओं ने जिला कलेक्टर और मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को ज्ञापन सौंपते हुए भर्ती प्रक्रिया की जांच करवाने और कट ऑफ से भर्ती करवाए जाने की मांग की है. कोरोना महामारी के मद्देनजर धारा 144 लागू होने के बावजूद विरोध प्रदर्शन के दौरान सोशल डिस्टेंसिंग के नियम की जमकर धज्जियां उड़ाई गई.

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