लूणी (जोधपुर). कोरोना महामारी ने पूरे विश्व में पैर पसार लिए हैं, भारत में भी संक्रमित लोगों की संख्या दिनोंदिन बढ़ रही है. ऐसे समय में कॉडियोलॉजी विभाग एम्स के डॉक्टर सुरेंद्र देवड़ा लॉकडाउन के चलते मरीजों को डायबिटीज बीमारी के प्रति जागरूक कर रहे हैं.
ऐसे समय में हृदय रोग, डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों को विशेष सावधानी रखने की जरूरत है. जिन मरीजों को पहले से ही हृदय रोग की समस्या है या हार्ट बाइपास हो रखा है, ऐसे मरीजों को हेल्थ पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. बिना चिकित्सक के सलाह के कोई भी दवा का सेवन बंद नहीं करें, इन दिनों यदि चिकित्सक से नहीं मिल पा रहे हैं और फीट महसूस कर रहे हैं तो भी दवा का सेवन जारी रखें.
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इसके अलावा यदि सीने में दर्द या सांस लेने में तकलीफ है, तो नजदीक के स्वास्थ्य केंद्र में जांच करवाएं. साथ ही किडनी को खराब होने से बचाएं. इस बात के कोई प्रमाण नहीं है कि हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों द्वारा ली जाने वाली दवाई से संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है या फिर कोरोना वायरस तीव्रता बढ़ जाती हैं, इसलिए बिना चिकित्सकीय परामर्श के इन्हें बंद नहीं करें.
इसके अलावा कुछ दर्द निवारक दवाई कोविड-19 से होने वाले नुकसान को बढ़ाते हैं, इन दवाओं से किडनी के खराब होने का खतरा भी बढ़ता है, इसलिए बिना चिकित्सक के सलाह कोई दवा नहीं ले. दर्द ज्यादा हो तो पेरासिटामोल की गोली ले सकते हैं.
इन बातों का रखें ख्याल-
- हार्ट फेलियर मरीज नियमित रूप से वजन घर पर ही नाप ले.
- कितना तरल पदार्थ का सेवन कर रहे हैं, डाइट चार्ट बनाएं.
- जिन मरीजों का हृदय कमजोर हैं, वे तरल पदार्थों पर नमक का सेवन कम करें.
- घर से बाहर निकलते समय मास्क का प्रयोग करें.
- यदि किसी भी तरह की सांस लेने में परेशानी है, तो उसके बारे में चिकित्सक से फोन पर सलाह ले.