झुंझुनू. उदयपुरवाटी विधानसभा क्षेत्र के मावता गांव में बजरी खदान में दबने से मजदूर की मौत हो गई. जिसके बाद वहां काम कर रहे मजदूर और ठेकेदार मौके से फरार हो गए. वहीं ग्रामीणों की मदद से मिट्टी में दबे व्यक्ति के शव को बाहर निकाला गया और फिर उसके परिजनों को सूचना दी गई. मृतक के परिजनों ने ठेकेदार के खिलाफ 302 के तहत मुकदमा दर्ज करने और उचित मुआवजा दिलाने की मांग की है.
जानकारी के अनुसार मावता गांव में पिछले काफी समय से खातेदारी की भूमि में अवैध खनन चल रहा है. शनिवार की सुबह लॉकडाउन में बजरी खदान करने वाला ठेकेदार मजदूर को लेकर आ गया और खातेदारी की भूमि में चल रहे अवैध खनन में काम करने के लिए लगा दिया. बजरी खदान में एक दो घंटे काम करने के बाद अचानक मिट्टी का टीला टूटकर ऊपर गिर गया. जिसमें पौख गांव निवासी रणजीत सैनी पुत्र बंसी सैनी दब गया जिससे उसकी मौके पर मौत हो गई. इस दौरान काम कर रहे मजदूर व ठेकेदार मौके से फरार हो गया.
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वहीं ग्रामीणों की मदद से मिट्टी के ठेले में दबे व्यक्ति के शव को 2 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद बाहर निकाला गया. इस दौरान बाहर निकालते समय जेसीबी के पॉकिट में शव आने से पॉकिट में खून लग गया. खून में लथपथ शव को बाहर निकाला गया, लेकिन तब तक मजदूर की मौत हो चुकी थी. सूचना के बाद मजदूर के परिजन व गांव के लोग मौके पर पहुंचे. शव को लेकर धरने पर बैठ गए. उन्होंने मांग करते हुए कहा कि मृतक के घर में एकमात्र अपने माता पिता व अपने बच्चों का सहारा था. मृतक के परिजनों को उचित मुआवजा दिया जाए और ठेकेदार के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया जाए.
इस दौरान मौके पर नवलगढ़ डिप्टी सतपाल सिंह, नायब तहसीलदार सोनू आर्य, उदयपुरवाटी थाना अधिकारी भगवान सहाय मीणा, पचलगी चौकी इंचार्ज राजेंद्र सिंह पहुंचे और धरने पर बैठे लोगों से समझाइश की. पूर्व सरपंच मूलचंद सैनी, मृतक के परिजन व गांव के लोग धरने पर बैठे थे. दोपहर 3 बजे से धरने पर बैठे लोगों के बीच वार्ता चल रही थी, लेकिन देर शाम 6 बजे के बाद समझौता हुआ, जिसमें मृतक के परिजनों को उचित मुआवजा दिलाने के आश्वासन के बाद शव को उठाया गया.