झालावाड़. उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू की गोद ली हुई ग्राम पंचायत के सरपंच कालू लाल भील को रिश्वत लेते झालावाड़ एसीबी ने गिरफ्तार किया है. सरपंच नरेगा में धांधली कर रहा था. एसीबी ने आरोपी सरपंच और उसके दलाल को 20 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है. सरपंच की शिकायत एसीबी में उपसरंपच ने ही की थी.
कैसे पकड़ा गया रिश्वतखोर सरपंच
झालावाड़ की तीतरवासा ग्राम पंचायत को भारत के उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने गोद ले रखा है. यहां का सरपंच कालूलाल भील नरेगा का काम जेसीबी मशीन से करवा रहा था और उसके पैसे मजदूरों के खाते में डालकर उनको कुछ पैसे दे देता था और बाकी के पैसे खुद अपने पास रख लेता था. सरपंच की शिकायत उपसरपंच ने ही एसीबी में की थी. जिसके बाद एसीबी ने सरपंच कालू लाल भील और उसके दलाल रामलाल को 20 हजार की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया.
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झालावाड़ एसीबी के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक भवानी शंकर मीणा ने बताया कि 30 दिसंबर को तीतरवासा ग्राम पंचायत के उपसरपंच रायसिंह गुर्जर ने एसीबी में शिकायत दर्ज करवाई थी कि उनके सरपंच कालूलाल भील ने शोपुर गांव में खाई खुदाने का काम नरेगा के तहत मजदूरों से करवाने की बजाय जेसीबी से करवाया है. जबकि नरेगा में मजदूरों से ही काम करवाना होता है. ऐसे में सरपंच ने जेसीबी से काम करवाते हुए 40 मजदूरों के नाम जुड़वा दिए और मजदूरों की 78000 रुपए की एमबी भर दी.
उपसरपंच ने बताया कि सरपंच ने प्रति मजदूर 500 देते हुए बाकी के पैसे मजदूरों से मेरे द्वारा वापस लेकर आधा-आधा बांटने की योजना बनाई. डील के तहत गुरुवार को उपसरपंच को सरपंच को 20 हजार रुपए देने थे. जब उपसरपंच पैसे सरपंच को देने गया तो सरपंच ने पैसे अपने दलाल रामलाल को देने को कहा जो ईंट का भट्टा चलाता है. एसीबी ने सरपंच कालू लाल भील और उसके दलाल रामलाल को ट्रैप किया और रिश्वत की राशि 20 हजार रुपए भी जप्त कर लिए. दोनों आरोपियों से पूछताछ जारी है.