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कोविड वार्ड में शोपीस बने वेंटिलेटर, ऑपरेटर के अभाव में मरीजों को नहीं मिल पा रही सुविधा - Patients are not getting the facility

जैसलमेर में कोरोना लगातार पांव पसार रहा है और लोग अस्पतालों कभी ऑक्सीजन सिलेंडर तो कभी वेंटिलेटर के लिए भटक रहे हैं, लेकिन जैसलमेर के राजकीय जवाहर अस्पताल में वेंटिलेटर होने के बाद भी इसे चलाने वाले ऑपरेटर के अभाव में मरीजों को सुविधा नहीं मिल पा रही है.

वेंटिलेटर बने शोपीस ,ऑपरेटर का अभाव,  मरीजों को नहीं मिल रही सुविधा , Covid Ward in Jaisalmer,  Ventilator becomes showpiece , Government Jawahar Hospital
जैसलमेर में वेंटिलेटर बने शोपीस
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Published : May 18, 2021, 7:51 PM IST

जैसलमेर. कोरोना संक्रमण के बीच जहां देश और प्रदेश के अस्पतालों में वेंटिलेटर के लिए मारामारी मची हुई है और वेंटिलेटर की सख्त आवश्यकता महसूस की जा रही है, वहीं सीमावर्ती जिले जैसलमेर के राजकीय जवाहर अस्पताल में वेंटिलेटर धूल फांक रहे हैं. वेंटिलेटर होते हुए भी मरीजों को इसकी सुविधा नहीं मिल पा रही है. केंद्र सरकार की ओर से अस्पताल को एक दर्जन से अधिक वेंटिलेटर उपलब्ध कराए गए थे, लेकिन यहां इनको चलाने वाला विशेषज्ञ ही नहीं है. ऐसे में अस्पताल के आईसीयू वार्ड में इन वेंटिलेटरों को असेम्बल तो कर दिया गया है, लेकिन उनको ऑपरेट करने के लिए स्टाफ नहीं है. ऐसे में यह जीवन रक्षक मशीनें शो पीस बनी हुई हैं.

जैसलमेर में वेंटिलेटर बने शोपीस

पढ़ें: जयपुर : आरयूएचएस अस्पताल में 28 दिनों से चल रहा संघ का सेवा सहायता शिविर

वैश्विक महामारी कोरोना का इन दिनों जैसलमेर जिले में कहर बढ़ता जा रहा है और लोग इससे अपने आप को अछूता नहीं रख पा रहे हैं. जिले में कोरोना मरीजों की संख्या के साथ-साथ उनकी मौत की खबरें भी आ रही हैं. देशभर में कोरोना काल में वेंटिलेटर की कमी नजर आ रही है और लोगों को अस्पताल में एडमिशन नहीं मिल रहा है लेकिन जैसलमेर के सरकारी अस्पताल में मौजूद वेंटिलेटर का उपयोग तक नहीं हो पा रहा है.

ऑपरेटरों की कमी के चलते अस्पताल प्रशासन इस ओर विशेष ध्यान नहीं दे रहा है. अस्पताल में व्यवस्थाओं को लेकर लगातार जिला प्रशासन, केंद्र व राज्य सरकार चिंतित तो दिखाई दे रही है लेकिन वेंटिलेटर को सुचारु करवाने के लिए कोई गंभीर नहीं दिख रहा है. यदि जिले में वेंटिलेटर को सही ढंग से उपयोग में लिया जाए तो जिले में हो रही मौतों पर ब्रेक लग सकता है.

जैसलमेर. कोरोना संक्रमण के बीच जहां देश और प्रदेश के अस्पतालों में वेंटिलेटर के लिए मारामारी मची हुई है और वेंटिलेटर की सख्त आवश्यकता महसूस की जा रही है, वहीं सीमावर्ती जिले जैसलमेर के राजकीय जवाहर अस्पताल में वेंटिलेटर धूल फांक रहे हैं. वेंटिलेटर होते हुए भी मरीजों को इसकी सुविधा नहीं मिल पा रही है. केंद्र सरकार की ओर से अस्पताल को एक दर्जन से अधिक वेंटिलेटर उपलब्ध कराए गए थे, लेकिन यहां इनको चलाने वाला विशेषज्ञ ही नहीं है. ऐसे में अस्पताल के आईसीयू वार्ड में इन वेंटिलेटरों को असेम्बल तो कर दिया गया है, लेकिन उनको ऑपरेट करने के लिए स्टाफ नहीं है. ऐसे में यह जीवन रक्षक मशीनें शो पीस बनी हुई हैं.

जैसलमेर में वेंटिलेटर बने शोपीस

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ऑपरेटरों की कमी के चलते अस्पताल प्रशासन इस ओर विशेष ध्यान नहीं दे रहा है. अस्पताल में व्यवस्थाओं को लेकर लगातार जिला प्रशासन, केंद्र व राज्य सरकार चिंतित तो दिखाई दे रही है लेकिन वेंटिलेटर को सुचारु करवाने के लिए कोई गंभीर नहीं दिख रहा है. यदि जिले में वेंटिलेटर को सही ढंग से उपयोग में लिया जाए तो जिले में हो रही मौतों पर ब्रेक लग सकता है.

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