जयपुर. शहर में अल्जाइमर्स डे के मौके पर शनिवार को ईएसआई मॉडल हॉस्पिटल में जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन भी किया गया. जहां वीडियो के माध्यम से लोगों को इस रोग के बारे में जानकारी दी गई. इस मौके पर मनोरोग विभाग के विभागाध्यक्ष डॉक्टर अखिलेश जैन ने बताया कि आमतौर पर यह बीमारी वृद्धावस्था में देखने को मिलती है. लेकिन धीरे-धीरे युवाओं में भी इसका असर देखने को मिल रहा है.
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इसमें मुख्य रूप से याददाश्त की कमी व्यक्ति को सीखने भाषा समझने निर्णय लेने की क्षमता में लगातार सामंजस्य बिगड़ने लगता है. आंकड़ों की बात करें तो विश्व में हर साल एक करोड़ नए रोगी इस बीमारी के बढ़ रहे हैं तो वहीं भारत में इसका आंकड़ा 40 लाख है. ऐसी संभावना है कि वर्ष 2030 तक इस रोग के मामले 2 वर्ष तक दोगुना और 2050 तक 3 गुना हो जाएंगे.