जयपुर. राजधानी में इन दिनों निजी बस संचालकों की मनमानी के चलते लोग काफी ज्यादा परेशान हैं. यात्रियों का आरोप है कि बस में सीटों को लेकर दबाव बनाया जाता है. यात्रियों के विरोध के बाद उन्हें डराया-धमकाया भी जाता है. यात्रियों से धक्का-मुक्की की जाती है. उनसे बदतमीजी से बोला जाता है. ताजा मामला जयपुर के निजी बस संचालक दशमेश ट्रेवल्स से जुड़ा है.
दरअसल, दशमेश ट्रेवल्स में यात्रियों ने आबूरोड गुजरात के लिए ऑनलाइन टिकट बुक करवाई थी. आबूरोड के लिए रात 9 बजे बस जयपुर से रवाना होती है. लेकिन रात 12:30 बजे तक यात्रियों के लिए बस उपलब्ध नहीं होती है. समय पर बस नहीं पहुंचने पर यात्री अपनी नाराजगी जाहिर करते हैं तो उन्हें गलत तरीके से जवाब दिया जाता है. इस दौरान स्लीपर क्लास सीट के रुपये लेकर बैठने की सीट यात्रियों को दी गई. इस तरह निजी बस संचालक यात्रियों की जेब को खुलेआम काटते हैं. यात्रियों का कहना है कि इसकी शिकायत किए जाने पर पुलिस भी करीब एक घंटे तक नहीं पहुंचती.
रात में यात्रा करने वाले लोगों के मुताबिक राजधानी में इस तरह के हालात बने हुए हैं तो अन्य जिलों में क्या हालत हो सकते हैं. इन हालातों में तो रात को यात्रा करना मुश्किल ही नहीं, खतरनाक भी साबित हो सकता है. इन निजी बस संचालकों पर सरकार की ओर से कोई लगाम नहीं लगाए जाने से मनमानी हो रही है. जरूरत इस बात की है कि सरकार इन निजी बस संचालकों पर रात में यात्रा के दौरान कड़ी नजर बनाए, जिससे यात्री यात्री बेख़ौफ़ होकर सुखद यात्रा यात्रा कर सके.
वहीं, जयपुर प्रादेशिक कार्यालय आरटीओ राजेंद्र वर्मा ने बताया कि विभाग की ओर से निरंतर शहर की आवाजाही बसों की जांच की जाती है. अगर रात में निजी बस संचालकों के द्वारा अवैध रूप से काउंटर सड़कों पर लगा रहे हैं तो इस पर कार्रवाई करेंगे. आरटीओ निजी बस संचालकों को काउंटर लगाने की अनुमति नहीं देता है.