जयपुर.वरिष्ठ नेता और सीनियर एडवोकेट रहे राम जेठमलानी का निधन हो गया.जेठमलानी का राजस्थान से पुराना नाता रहा है.वह राजस्थान से भाजपा के राज्यसभा सदस्य भी रहे हैं,तो वहीं प्रदेश के चर्चित दारिया एनकाउंटर मामले से भी वह जुड़े रहे हैं और सुप्रीम कोर्ट में उन्होंने ही इस मामले की पैरवी कर मामले में फंसे बीजेपी नेता राजन राठौड़ को राहत दिलाई थी.
राम जेठमलानी की पहचान एक नामी गिरामी वकील के रूप में है बहुत कम लोगों को पता है कि राम जेठमलानी ने 16 साल की उम्र में ही लॉ की पढ़ाई पूरी कर ली थी,लेकिन बालिग ना होने के कारण उन्हें इस दौरान वकालत करने का मौका नहीं मिला लिहाजा 2 साल तक उन्होंने अन्य स्टूडेंट्स को पढ़ाने का काम किया और 18 साल की उम्र में उन्होंने कोर्ट में वकालत भी शुरू की.जेठमलानी सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष भी रहे.
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वहीं एक वकील के रूप में राम जेठमलानी के नाम कई बड़े और चर्चित केशव से जुड़ा है. खासतौर पर अफजल गुरु के साथ ही प्रोफेसर गिलानी का केस राम जेठमलानी नहीं लड़ा और उन्हें बरी भी कराया वहीं राजस्थान के चर्चित दारिया एनकाउंटर मामले में सुप्रीम कोर्ट में भाजपा नेता राजेंद्र राठौड़ की पैरवी भी उन्होंने ही की.
राम जेठमलानी राजस्थान से भाजपा के राज्यसभा सांसद भी रहे अपने 6 साल के कार्यकाल में राम जेठमलानी ने यहां प्रधानमंत्री आदर्श गांव के तहत कोटपूतली के नजदीक एक पंचायत को भी गोद लिया. उसे विकसित ग्राम पंचायतों की श्रेणी में खड़ा किया.राजस्थान में राम जेठमलानी के नजदीक नेता और अधिवक्ताओं में शामिल भाजपा के पूर्व प्रदेश प्रवक्ता एडवोकेट कैलाशनाथ भट्ट उनके जीवन पर प्रकाश डालते हुए कहते हैं कि जेठमलानी एक सच्चे ईमानदार और स्पष्ट वादी वक्ता थे.
वहीं कोर्ट में पीड़ित को न्याय दिलाना वे बखूबी जानते थे भट्ट के अनुसार प्रोफेसर गिलानी से जुड़े मामले में उनके दिए गए सुप्रीम कोर्ट में तर्क आज भी कई केसों में नजीर के रूप में पेश किए जाते हैं. हालांकि कुछ साल पहले भाजपा के नेता अरुण जेटली सहित अन्य वरिष्ठ नेताओं को लेकर दिए गए उनके बयान के चलते पर भाजपा से बाहर कर दिए गए थे.