जयपुर. दिल्ली निवासी अनंत और अनिल ने ईटीवी भारत से खास बातचीत के दौरान बताया कि किस तरह से उन्हें गैंग के सदस्यों द्वारा किडनैप किया गया और फिर जयपुर में बंधक बनाकर यातनाएं दी गई. दिल्ली निवासी अनंत ने बताया कि किस तरह से उन्हें निवेश का झांसा देकर दिल्ली से जयपुर बुलाया गया और फिर फॉर्च्यूनर गाड़ी में बिठाकर गैंग के सदस्यों द्वारा उनका अपहरण किया गया.
गैंग के शातिर बदमाशों ने पीड़ित की वर्ना गाड़ी भी लूट ली और 1 करोड़ रुपए की फिरौती की मांग की. गैंग के सदस्यों ने पहले दोनों लोगों से 1 करोड़ की कीमत के बिटकॉइन मांगे और जब पीड़ितों ने बिटकॉइन नहीं होने की बात बताई तो फिर एक करोड़ रुपए की राशि मांगी गई. जब पीड़ित लोगों ने अपने परिचितों से बात कर 14 लाख रुपए गैंग के सदस्यों के खाते में ट्रांसफर कराए तो उसके बाद बदमाशों ने पीड़ितों को और भी ज्यादा प्रताड़ित करना शुरू कर दिया. इस दौरान बदमाश अपनी फॉर्च्यूनर गाड़ी में पीड़ितों को वाटिका इलाके के सुनसान क्षेत्र में घुमाते रहे और अनेक बार अपनी गाड़ी की नंबर प्लेट भी चेंज की.
इसके बाद गैंग के शातिर बदमाशों ने दरिंदगी करना शुरू किया. हथौड़े, ब्लेड और कैंची से पीड़ितों के शरीर पर घाव करना शुरू किया. पीड़ित अनिल ने बताया कि गैंग के सदस्यों ने हथौड़े से उसके चेहरे पर अनेक वार किए और आगे के दो दांत भी हथौड़ा मार कर तोड़ दिए. उसके बाद प्लास से उसके दांत खींचकर बाहर निकाल लिए और पेचकस से उसके पूरे शरीर पर घाव कर दिए. इसके बाद सिगरेट से भी उसके हाथ को दागा गया.
वहीं, उंगलियों को प्लास से पकड़कर मोड़ दिया गया और पूरे शरीर पर चमड़ी को प्लास से खींचा गया. इसके बाद गैंग के शातिर बदमाश अगले दिन दोनों पीड़ितों को रोहतक और रेवाड़ी के बीच में गाड़ी से पटक कर फरार हो गए. दोनों पीड़ितों ने अक्टूबर 2018 में सांगानेर सदर थाने में प्रकरण भी दर्ज करवाया, लेकिन पुलिस ने पूरे प्रकरण को हल्के में लिया. वहीं, अब जब जयपुर पुलिस ने गैंग के 7 सदस्यों को गिरफ्तार किया है तो दिल्ली से दोनों पीड़ित वापस जयपुर आए और पुलिस के आला अधिकारियों को आपबीती बताई.