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जयपुर: बोर्ड परीक्षाओं में ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने भी लहराया अपना परचम

एक जमाना था, जब लोग अपनी बेटियों को शिक्षा देना तो दूर, घरों से बाहर तक नहीं निकलने देते थे. लेकिन अब जमाना बदल गया है. आज की बेटियां भी देश और प्रदेश का नाम रोशन कर रही हैं. इस बार के 10वीं और 12वीं बोर्ड की परीक्षाओं में बेटियों ने बाजी मारी है.

जयपुर समाचार, jaipur news
ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने किया नाम रोशन
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Published : Aug 2, 2020, 8:27 PM IST

जयपुर. राजधानी में जहां शहरी क्षेत्र के बच्चों ने अच्छे अंक हासिल किए हैं तो वहीं ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने भी कोई कसर नहीं छोड़ी है. उन्होंने भी अच्छे अंक हासिल कर अपने परिवार और क्षेत्र का नाम रोशन किया है. ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने बोर्ड परीक्षाओं में 95 प्रतिशत से भी ज्यादा अंक हासिल करके नाम रोशन किया है.

इस दौरान आमेर की पायल शर्मा ने 10वीं बोर्ड परीक्षा में 97 प्रतिशत अंक हासिल कर क्षेत्र का नाम रोशन किया है तो तेजपाल मीणा ने 94.67 प्रतिशत, पारुल मीणा ने 92.67 प्रतिशत और कनिका मीणा ने 92.33 प्रतिशत अंक हासिल किए हैं. वहीं, 12वीं बोर्ड परीक्षा में कुसुम लता मीणा ने 93 प्रतिशत अंक हासिल किए हैं तो वहीं कंचन मीणा ने 92.80 प्रतिशत अंक हासिल किए हैं.

ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने किया नाम रोशन

बोर्ड परीक्षाओं में अच्छे अंक हासिल करने वाले बच्चों का आमेर के कूकस इलाके में सम्मान किया गया. ग्रामीणों ने बच्चों की खुशी में शामिल होकर मिठाइयां बांटी और उज्जवल भविष्य की शुभकामनाएं दी. पूरे गांव में जगह-जगह पर बच्चों का स्वागत और सम्मान किया गया. इस दौरान ग्रामीणों ने मालाएं और साफा पहनाकर बच्चों का सम्मान किया.

दूध बेचने वाले की बच्ची ने किया नाम रोशन

10वीं बोर्ड परीक्षा में 97 प्रतिशत अंक हासिल करने वाली पायल शर्मा के पिता दूध बेचने का काम करते हैं. वह दिन-रात मेहनत करके अपनी बेटी को पढ़ाई करवा रहे हैं. बेटी पायल शर्मा ने भी अपने माता-पिता और गांव का नाम रोशन कर उन्हें गौरवान्वित किया है.

पायल के पिता गजानंद शर्मा ने बताया कि पायल सुबह 4 बजे उठकर अपनी पढ़ाई में लग जाती थी और पूरे दिन पढ़ाई करती थी. पायल ने अपनी मेहनत और लगन से यह मुकाम हासिल किया है. ग्रामीणों ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्र में भी लोग जागरूक हो रहे हैं और बच्चियों को शिक्षा दिलवा रहे हैं. गांव में भी सभी चाहते हैं कि बेटियां भी आगे बढ़कर नाम रोशन करें.

अध्यापक कैलाश चंद मीणा ने बताया कि हमें बच्चों का उत्साहवर्धन करना चाहिए, ताकि बच्चे भी हमें अच्छा परिणाम दे. लॉकडाउन होने से स्कूल बंद थे, लेकिन फिर भी बच्चे ऑनलाइन पढ़ाई करके अच्छे अंक लाए हैं. बच्चों ने अपनी मेहनत से स्कूल, अध्यापक, परिवार और गांव का नाम रोशन किया है. उन्होंने कहा कि विशेष तौर पर बालिका शिक्षा को ज्यादा महत्व दिया जाना चाहिए, ताकि कोई भी बालिका शिक्षा से वंचित ना रहे.

जयपुर. राजधानी में जहां शहरी क्षेत्र के बच्चों ने अच्छे अंक हासिल किए हैं तो वहीं ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने भी कोई कसर नहीं छोड़ी है. उन्होंने भी अच्छे अंक हासिल कर अपने परिवार और क्षेत्र का नाम रोशन किया है. ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने बोर्ड परीक्षाओं में 95 प्रतिशत से भी ज्यादा अंक हासिल करके नाम रोशन किया है.

इस दौरान आमेर की पायल शर्मा ने 10वीं बोर्ड परीक्षा में 97 प्रतिशत अंक हासिल कर क्षेत्र का नाम रोशन किया है तो तेजपाल मीणा ने 94.67 प्रतिशत, पारुल मीणा ने 92.67 प्रतिशत और कनिका मीणा ने 92.33 प्रतिशत अंक हासिल किए हैं. वहीं, 12वीं बोर्ड परीक्षा में कुसुम लता मीणा ने 93 प्रतिशत अंक हासिल किए हैं तो वहीं कंचन मीणा ने 92.80 प्रतिशत अंक हासिल किए हैं.

ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों ने किया नाम रोशन

बोर्ड परीक्षाओं में अच्छे अंक हासिल करने वाले बच्चों का आमेर के कूकस इलाके में सम्मान किया गया. ग्रामीणों ने बच्चों की खुशी में शामिल होकर मिठाइयां बांटी और उज्जवल भविष्य की शुभकामनाएं दी. पूरे गांव में जगह-जगह पर बच्चों का स्वागत और सम्मान किया गया. इस दौरान ग्रामीणों ने मालाएं और साफा पहनाकर बच्चों का सम्मान किया.

दूध बेचने वाले की बच्ची ने किया नाम रोशन

10वीं बोर्ड परीक्षा में 97 प्रतिशत अंक हासिल करने वाली पायल शर्मा के पिता दूध बेचने का काम करते हैं. वह दिन-रात मेहनत करके अपनी बेटी को पढ़ाई करवा रहे हैं. बेटी पायल शर्मा ने भी अपने माता-पिता और गांव का नाम रोशन कर उन्हें गौरवान्वित किया है.

पायल के पिता गजानंद शर्मा ने बताया कि पायल सुबह 4 बजे उठकर अपनी पढ़ाई में लग जाती थी और पूरे दिन पढ़ाई करती थी. पायल ने अपनी मेहनत और लगन से यह मुकाम हासिल किया है. ग्रामीणों ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्र में भी लोग जागरूक हो रहे हैं और बच्चियों को शिक्षा दिलवा रहे हैं. गांव में भी सभी चाहते हैं कि बेटियां भी आगे बढ़कर नाम रोशन करें.

अध्यापक कैलाश चंद मीणा ने बताया कि हमें बच्चों का उत्साहवर्धन करना चाहिए, ताकि बच्चे भी हमें अच्छा परिणाम दे. लॉकडाउन होने से स्कूल बंद थे, लेकिन फिर भी बच्चे ऑनलाइन पढ़ाई करके अच्छे अंक लाए हैं. बच्चों ने अपनी मेहनत से स्कूल, अध्यापक, परिवार और गांव का नाम रोशन किया है. उन्होंने कहा कि विशेष तौर पर बालिका शिक्षा को ज्यादा महत्व दिया जाना चाहिए, ताकि कोई भी बालिका शिक्षा से वंचित ना रहे.

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