जयपुर. व्यावसायिक शिक्षक अपनी मांगों को लेकर शिक्षा संकुल में अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे हैं. धरने पर बैठे शिक्षकों में से एक शिक्षिका की तबीयत बिगड़ जाने से उन्हें एसएमएस अस्पताल ले जाया गया. आपको बता दें प्रदेश के 905 स्कूलों में लगे 1800 से ज्यादा व्यावसायिक प्रशिक्षकों को पिछले 24 महीनों से वेतन नहीं मिला है. साथ ही इनको नियमित ना करते हुए हटाया जा रहा है. जिसका सीधा असर व्यावसायिक शिक्षा ग्रहण कर रहे है करीब डेढ़ लाख विद्यार्थियों पर पड़ रहा है.
कक्षा 9 से 12 तक चलने वाली व्यावसायिक शिक्षा को नए सत्र में पढ़ाने वाले शिक्षक ही नहीं है. दूसरी तरफ इस बार फरवरी में होने वाली बोर्ड परीक्षा को लेकर बच्चों का रजिस्ट्रेशन भी होना शुरू हो गया है, लेकिन विद्यार्थी असमंजस की स्थिति में है कि ये विषय पढ़ाया भी जाएगा या नहीं.
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व्यावसायिक शिक्षा का प्रशिक्षण दे रहे 1800 से ज्यादा शिक्षकों को वेतन नहीं मिलने से प्रशिक्षकों को आर्थिक तंगी से भी गुजरना पड़ रहा है. हालांकि, व्यावसायिक शिक्षकों का मामला उच्च न्यायालय में विचाराधीन है. वहीं इस मामले पर स्कूल शिक्षा परिषद निदेशक डॉ. नरेंद्र गुप्ता ने कहा कि मामला कोर्ट में है, इसमें हम कुछ नहीं कर सकते है. साथ ही शिक्षकों का वेतन एजेंसी के माध्यम से आता है, स्कूल शिक्षा परिषद का काम सिर्फ भरपाई करने का है. एजेंसी ने वेतन नहीं दिया है तो इसमें हम कुछ नहीं कर सकते हैं.
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व्यावसायिक शिक्षा में यह कोर्स हैं शामिल
व्यावसायिक शिक्षा में छात्र-छात्राएं ऑटोमोबाइल, हेल्थ केयर, ट्रेवल एंड टूरिज्म, ब्यूटी एवं कैलकिस, आईटी, रीटेल, एग्रीकल्चर और सिक्योरिटी गार्ड में अपना भविष्य आजमा सकते है.