जयपुर. प्रदेश में नैनो पेपर लीक एक बड़ा मुद्दा बना गया है, जिसे लेकर विपक्ष सरकार की घेराबंदी कर रहा है. लेकिन सोमवार को भाजपा कार्यालय में पार्टी के प्रदेश प्रभारी अरुण सिंह ने भी एक पेपर लीक कर दिया. हालांकि, ये पेपर लीक किसी परीक्षा से जुड़ा न होकर उस नाम के खुलासे का था, जो आगामी दिनों में पार्टी में शामिल होने वाले हैं. दरअसल, प्रदेश भाजपा प्रभारी अरुण सिंह और अध्यक्ष सीपी जोशी ने राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ पहाड़िया के बेटे ओमप्रकाश पहाड़िया, पूर्व राष्ट्रपति प्रतिभा पाटिल के रिश्ते में भांजे विजेंद्र सिंह, बसपा के प्रदेश महासचिव ओम प्रकाश वर्मा और रिटायर्ड आईएएस चंद्र मोहन मीणा को भाजपा में ज्वाइन करवाया.
वहीं, जब इसकी घोषणा कर रहे थे तो उन्होंने कहा कि डीएस भाटी जो माली समाज के बड़े चेहरे हैं, उन्होंने भी भाजपा ज्वाइन कर ली है. जैसे ही अरुण सिंह ने वीएस भाटी का नाम लिया, वैसे ही उनके साथ खड़े पूर्व मंत्री वासुदेव देवनानी उनके पास आए और कहा कि भाटी आज ज्वाइन नहीं कर रहे हैं. इसके बाद अरुण सिंह ने अपनी गलती सुधार ली. हालांकि, तब तक काफी देर चुका था और कई नाम आउट हो गए. वहीं, चारों नेताओं को टिकट देने के मामले में अरुण सिंह और सीपी जोशी ने साफ कर दिया कि सभी नेता अभी बिना किसी शर्त के पार्टी में शामिल हो रहे हैं और जब टिकट वितरण का समय आएगा तो इस पर भी विचार किया जाएगा.
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हालांकि, प्रदेश प्रभारी अरुण सिंह से जिस तरह से गलतियां हो रही थी, उससे ऐसा लग रहा था कि उन्हें पहले सही से ब्रीफ नहीं की गई थी. यही कारण है कि पहले तो उन्होंने कह दिया कि कांग्रेस के चार नेता भाजपा में शामिल हो रहे हैं. जबकि भाजपा में शामिल होने वाले चार नेताओं में से ओमप्रकाश पहाड़िया और विजेंद्र सिंह ही केवल कांग्रेस से थे. वहीं, पूर्व आईएएस चंद्रमोहन मीणा रिटायर्ड आईएएस पहली बार किसी पार्टी में शामिल हुए तो वहीं ओम प्रकाश वर्मा बसपा के प्रदेश महासचिव थे. ऐसे में चार नहीं, बल्कि कांग्रेस से केवल दो ही नेता भाजपा में शामिल हुए.