ETV Bharat / state

डूंगरपुर: बाल विवाह को कहें ना अभियान का आगाज, न्यायाधीश ने कहा- बाल विवाह एक सामाजिक बुराई - Say no to child marriage Dungarpur

जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से शनिवार को बाल विवाह का कहे ना कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इसके माध्यम से लड़के और लड़की की शादी की उम्र के बारे में जानकारी देते हुए बालिका होने पर ही शादी करवाने के निर्देश दिए.

Child marriage prevention,  Say no to child marriage Dungarpur
डूंगरपुर: बाल विवाह को कहें ना
author img

By

Published : Apr 3, 2021, 10:27 PM IST

डूंगरपुर. जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से शनिवार को बाल विवाह का कहे ना कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इसके माध्यम से लड़के और लड़की की शादी की उम्र के बारे में जानकारी देते हुए बालिका होने पर ही शादी करवाने के निर्देश दिए.

बाल विवाह को कहें ना अभियान के तहत जिला न्यायालय परिसर स्थित एडीआर भवन में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण अध्यक्ष एवं जिला एवं सेशन न्यायाधीश भंवरलाल बुगालिया, न्यायाधीश मोटरवान दुर्घटना दावा अधिकरण गोपाल बिजोरीवाल, सचिव अमित सहलोत, न्यायिक मजिस्ट्रेट साक्षी शर्मा, बार ऐसोसिएशन के अध्यक्ष हितेन्द्र पटेल, सचिव पुष्कर चौबीसा की मौजूदगी में बाल विवाह रोकथाम जारूकता कार्यक्रम आयोजित किया.

पढ़ें- सुरंग बनाकर चांदी चुराने का मामला: मुख्य सरगना शेखर अग्रवाल और उसका भांजा जतिन गिरफ्तार

इस अवसर पर बाल विवाह को कहें ना पोस्टर का विमोचन किया गया. कार्यक्रम में राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, सुन्दरपुर में के बच्चे भी शामिल हुए. हृदय संस्थान के संस्थापक ब्रिजेश कुमार सोमपुरा ने अभियान की जानकारी दी. प्रधानाचार्य संतोष शर्मा, संजय चोबीसा, गीता वैष्णव एवं अन्य स्कूल स्टाॅफ उपस्थित की उपस्थिति में बाल विवाह को कहें ना अभियान का शुभारम्भ किया गया.

सचिव अमित सहलोत ने कहा कि बाल विवाह एक सामाजिक बुराई होने के साथ ही कानूनन अपराध भी है, जो बच्चों के बचपन, किशोरावस्था व शिक्षा के अवसर को छीनता है. बाल विवाह से बच्चों का शारीरिक, मानसिक, मनोवैज्ञानिक तथा भावानात्मक विकास पूर्ण रूप से नहीं हो पाता है. उन्होंने लोगो से विवाह को लेकर लोगो को जागरूक होने की अपील की. संचालन संजय चोबीसा द्वारा किया गया.

डूंगरपुर. जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से शनिवार को बाल विवाह का कहे ना कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इसके माध्यम से लड़के और लड़की की शादी की उम्र के बारे में जानकारी देते हुए बालिका होने पर ही शादी करवाने के निर्देश दिए.

बाल विवाह को कहें ना अभियान के तहत जिला न्यायालय परिसर स्थित एडीआर भवन में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण अध्यक्ष एवं जिला एवं सेशन न्यायाधीश भंवरलाल बुगालिया, न्यायाधीश मोटरवान दुर्घटना दावा अधिकरण गोपाल बिजोरीवाल, सचिव अमित सहलोत, न्यायिक मजिस्ट्रेट साक्षी शर्मा, बार ऐसोसिएशन के अध्यक्ष हितेन्द्र पटेल, सचिव पुष्कर चौबीसा की मौजूदगी में बाल विवाह रोकथाम जारूकता कार्यक्रम आयोजित किया.

पढ़ें- सुरंग बनाकर चांदी चुराने का मामला: मुख्य सरगना शेखर अग्रवाल और उसका भांजा जतिन गिरफ्तार

इस अवसर पर बाल विवाह को कहें ना पोस्टर का विमोचन किया गया. कार्यक्रम में राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, सुन्दरपुर में के बच्चे भी शामिल हुए. हृदय संस्थान के संस्थापक ब्रिजेश कुमार सोमपुरा ने अभियान की जानकारी दी. प्रधानाचार्य संतोष शर्मा, संजय चोबीसा, गीता वैष्णव एवं अन्य स्कूल स्टाॅफ उपस्थित की उपस्थिति में बाल विवाह को कहें ना अभियान का शुभारम्भ किया गया.

सचिव अमित सहलोत ने कहा कि बाल विवाह एक सामाजिक बुराई होने के साथ ही कानूनन अपराध भी है, जो बच्चों के बचपन, किशोरावस्था व शिक्षा के अवसर को छीनता है. बाल विवाह से बच्चों का शारीरिक, मानसिक, मनोवैज्ञानिक तथा भावानात्मक विकास पूर्ण रूप से नहीं हो पाता है. उन्होंने लोगो से विवाह को लेकर लोगो को जागरूक होने की अपील की. संचालन संजय चोबीसा द्वारा किया गया.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.