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Rajasthan Assembly Election 2023 : वसुंधरा समर्थक इन दोनों नेताओं की हुई भाजपा में वापसी, पार्टी ज्वाइन करते ही कही ये बड़ी बात

Rajasthan Assembly Election 2023, भाजपा से निष्कासित नेता अकील अहमद और उनकी बहन राबिया खान की फिर से पार्टी में वापसी हुई है. दोनों बुधवार को उत्तराखंड के मंत्री धन सिंह रावत की मौजूदगी में पार्टी में शामिल हुए.

Rajasthan Assembly Election 2023
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Oct 4, 2023, 5:13 PM IST

भाजपा नेता अकील अहमद

धौलपुर. राजस्थान के धौलपुर विधानसभा क्षेत्र के दो निष्कासित भाजपा नेताओं की फिर से घर वापसी कराई गई. बुधवार को उत्तराखंड के मंत्री व जिला चुनाव प्रभारी धन सिंह रावत की मौजूदगी में अकील अहमद और उनकी बहन राबिया खान ने पार्टी का दामन थामा. साथ ही दोनों नेताओं ने जिले की चारों विधानसभा सीटों को जीतने का दावा किया.

मौके पर मीडियाकर्मियों से रुबरु हुए जिला भाजपा अध्यक्ष सत्येंद्र पाराशर ने बताया कि पूर्व नगर परिषद के चुनाव में अल्पसंख्यक मोर्चा के जिला अध्यक्ष अकील अहमद के साथ उनकी बहन ने पार्टी से बगावत कर निर्दलीय चुनाव लड़ा था. जिसके कारण दोनों को छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था. वहीं, अब दोनों की फिर से घर वापसी कराई गई है. इधर, पार्टी में शामिल होने के बाद अकील अहमद ने कहा कि उनके निर्दलीय चुनाव लड़ने पर भले ही पार्टी ने उन्हें निष्कासित कर दिया हो, लेकिन वो शुरू से ही भाजपा से जुड़े हैं. इसके चलते एक बार फिर से उन्होंने घर वापसी की है.

इसे भी पढ़ें - Rajasthan Politics : सचिन पायलट बोले- चुनाव के समय भ्रष्टाचार का आरोप लगाना आम बात, रेल के मुद्दे को लेकर कही ये बात

वसुंधरा राजे के करीबी माने जाते हैं भाई-बहन : भाजपा नेता अकील अहमद और उनकी बहन राबिया खान पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के बेहद करीबी माने जाते हैं. पिछले नगर परिषद के चुनाव में दोनों को पार्टी ने टिकट नहीं दिया था. ऐसे में दोनों नाराज होकर निर्दलीय चुनाव लड़े थे, जिसके बाद दोनों को पार्टी ने छह साल के लिए निलंबित कर दिया था. भाजपा ज्वाइन करने के बाद अकील अहमद और उनकी बहन राबिया खान ने कहा कि वो और उनका पूरा परिवार पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रभावित है. यही वजह है कि वो अधिक दिनों तक पार्टी से खुद को अलग नहीं रख पाए.

भाजपा नेता अकील अहमद

धौलपुर. राजस्थान के धौलपुर विधानसभा क्षेत्र के दो निष्कासित भाजपा नेताओं की फिर से घर वापसी कराई गई. बुधवार को उत्तराखंड के मंत्री व जिला चुनाव प्रभारी धन सिंह रावत की मौजूदगी में अकील अहमद और उनकी बहन राबिया खान ने पार्टी का दामन थामा. साथ ही दोनों नेताओं ने जिले की चारों विधानसभा सीटों को जीतने का दावा किया.

मौके पर मीडियाकर्मियों से रुबरु हुए जिला भाजपा अध्यक्ष सत्येंद्र पाराशर ने बताया कि पूर्व नगर परिषद के चुनाव में अल्पसंख्यक मोर्चा के जिला अध्यक्ष अकील अहमद के साथ उनकी बहन ने पार्टी से बगावत कर निर्दलीय चुनाव लड़ा था. जिसके कारण दोनों को छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था. वहीं, अब दोनों की फिर से घर वापसी कराई गई है. इधर, पार्टी में शामिल होने के बाद अकील अहमद ने कहा कि उनके निर्दलीय चुनाव लड़ने पर भले ही पार्टी ने उन्हें निष्कासित कर दिया हो, लेकिन वो शुरू से ही भाजपा से जुड़े हैं. इसके चलते एक बार फिर से उन्होंने घर वापसी की है.

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वसुंधरा राजे के करीबी माने जाते हैं भाई-बहन : भाजपा नेता अकील अहमद और उनकी बहन राबिया खान पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के बेहद करीबी माने जाते हैं. पिछले नगर परिषद के चुनाव में दोनों को पार्टी ने टिकट नहीं दिया था. ऐसे में दोनों नाराज होकर निर्दलीय चुनाव लड़े थे, जिसके बाद दोनों को पार्टी ने छह साल के लिए निलंबित कर दिया था. भाजपा ज्वाइन करने के बाद अकील अहमद और उनकी बहन राबिया खान ने कहा कि वो और उनका पूरा परिवार पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रभावित है. यही वजह है कि वो अधिक दिनों तक पार्टी से खुद को अलग नहीं रख पाए.

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