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मजदूरों के हक पर डाका: मनरेगा मैनेजर ने 4 साल में 34 लाख अपने और पत्नी के खाते में ट्रांसफर किए

धौलपुर में बाड़ी थाना पुलिस ने मनरेगा मैनेजर को गिरफ्तार किया है. दरअसल, मनरेगा मैनेजर मजदूरों के मजदूरी की 34 लाख से अधिक की राशि को अपने और पत्नी के खाते में ट्रांसफर करवाया था. 18 मई 2020 को बाड़ी पंचायत समिति के विकास अधिकारी ने आरोपी के खिलाफ गबन का मामला दर्ज कराया था.

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मजदूरों के हक पर डाका
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Published : Apr 16, 2021, 5:45 PM IST

Updated : Apr 16, 2021, 5:58 PM IST

धौलपुर. बाड़ी थाना पुलिस ने कार्रवाई करते हुए एक मनरेगा मैनेजर को गिरफ्तार किया है. मैनेजर ने मनरेगा मजदूरों के हिस्से की 34 लाख से अधिक की राशि को अपने और अपनी पत्नी के खाते में ट्रांसफर करवा लिया था. मामले को देखते हुए 18 मई 2020 को बाड़ी पंचायत समिति के विकास अधिकारी ने मैनेजर के खिलाफ गबन का मामला दर्ज करवाया था. पुलिस ने अनुसंधान कर आरोपी मैनेजर को गिरफ्तार कर लिया है, जिससे पुलिस पूछताछ कर रही है.

मजदूरों के हक पर डाका

बाड़ी थाना पुलिस के समक्ष दर्ज कराए गए अभियोग में विकास अधिकारी रामजीत सिंह ने बताया, मनरेगा योजना में तैनात मैनेजर सुमित पुत्र शेर सिंह बघेल ने मनरेगा मजदूरों की राशि को अपने पर्सनल एकाउंट में ट्रांसफर करवाया था. आरोपी ने अपने तीन खाते और एक पत्नी के खाते में 34 लाख से अधिक की राशि को गबन कर ट्रांसफर करवाया था. गत वर्ष 2020 में लॉकडाउन के दौरान मनरेगा मजदूरों को रोजगार दिए जा रहे थे. तत्कालीन समय पर मामले के गबन की जानकारी सामने आई थी. मनरेगा मजदूरों ने मजदूरी की राशि नहीं मिलने पर शिकायत भी दर्ज कराई थी. पंचायत समिति प्रशासन ने निजी स्तर पर जब मामले की जांच पड़ताल की तो गबन का मामला सामने आया.

यह भी पढ़ें: अजमेर जिला परिषद की पहली साधारण सभा, मनरेगा के वार्षिक बजट के अनुमोदन सहित कई मुद्दों पर हुई चर्चा

विकास अधिकारी रामजी सिंह ने 18 मई 2020 को नामजद आरोपी सुमित बघेल के खिलाफ 34 लाख से अधिक के गबन का मामला दर्ज कराया था. आरोपी मनरेगा मैनेजर ने गरीब मनरेगा मजदूरों की राशि का गबन किया है. पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्जकर अनुसंधान शुरू किया. पुलिस अनुसंधान में गबन का मामला सही पाए जाने पर शुक्रवार को आरोपी सुमित बघेला को स्थानीय पुलिस ने गिरफ्तार किया है. पुलिस ने बताया, आरोपी मनरेगा मैनेजर को गिरफ्तार कर पूछताछ की जा रही है. न्यायालय के समक्ष आरोपी को पेशकर पीसी रिमांड लिया जाएगा. गबन कर्ता मनरेगा मैनेजर से राशि बरामद की जाएगी.

यह भी पढ़ें: डूंगरपुर: 'पूरा काम-पूरा दाम' अभियान का असर, 200 रुपये के पार पहुंचा मनरेगा का वेज रेट

सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, मनरेगा मैनेजर सुमित साल 2016 से मनरेगा मजदूरों की मजदूरी को हड़प रहा था. आरोपी ने तीन एकाउंट अपने नाम से और एक पत्नी के नाम से खुलवाया था. आरोपी फर्जी मास्टर रोल भरकर चारो बैंक एकाउंट में पैसे ट्रांसफर करता था. आरोपी ने शातिर तरीके से ठगी कर गबन की वारदात को अंजाम दिया. गबन करने का तरीका आरोपी का ऐसा रहा, चार साल तक पंचायत समिति प्रशासन को भनक तक नहीं लग सकी. लिहाजा गरीब मनरेगा मजदूरों की 34 लाख से अधिक की गाढ़ी कमाई को आरोपी हलाल कर गया. फिलहाल, पुलिस आरोपी से गबन की राशि को बरामद करने के प्रयास कर रही है. आरोपी से पुलिस गबन की राशि को बरामद कर पाएगी या नहीं यह बड़ा सवाल है.

धौलपुर. बाड़ी थाना पुलिस ने कार्रवाई करते हुए एक मनरेगा मैनेजर को गिरफ्तार किया है. मैनेजर ने मनरेगा मजदूरों के हिस्से की 34 लाख से अधिक की राशि को अपने और अपनी पत्नी के खाते में ट्रांसफर करवा लिया था. मामले को देखते हुए 18 मई 2020 को बाड़ी पंचायत समिति के विकास अधिकारी ने मैनेजर के खिलाफ गबन का मामला दर्ज करवाया था. पुलिस ने अनुसंधान कर आरोपी मैनेजर को गिरफ्तार कर लिया है, जिससे पुलिस पूछताछ कर रही है.

मजदूरों के हक पर डाका

बाड़ी थाना पुलिस के समक्ष दर्ज कराए गए अभियोग में विकास अधिकारी रामजीत सिंह ने बताया, मनरेगा योजना में तैनात मैनेजर सुमित पुत्र शेर सिंह बघेल ने मनरेगा मजदूरों की राशि को अपने पर्सनल एकाउंट में ट्रांसफर करवाया था. आरोपी ने अपने तीन खाते और एक पत्नी के खाते में 34 लाख से अधिक की राशि को गबन कर ट्रांसफर करवाया था. गत वर्ष 2020 में लॉकडाउन के दौरान मनरेगा मजदूरों को रोजगार दिए जा रहे थे. तत्कालीन समय पर मामले के गबन की जानकारी सामने आई थी. मनरेगा मजदूरों ने मजदूरी की राशि नहीं मिलने पर शिकायत भी दर्ज कराई थी. पंचायत समिति प्रशासन ने निजी स्तर पर जब मामले की जांच पड़ताल की तो गबन का मामला सामने आया.

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विकास अधिकारी रामजी सिंह ने 18 मई 2020 को नामजद आरोपी सुमित बघेल के खिलाफ 34 लाख से अधिक के गबन का मामला दर्ज कराया था. आरोपी मनरेगा मैनेजर ने गरीब मनरेगा मजदूरों की राशि का गबन किया है. पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्जकर अनुसंधान शुरू किया. पुलिस अनुसंधान में गबन का मामला सही पाए जाने पर शुक्रवार को आरोपी सुमित बघेला को स्थानीय पुलिस ने गिरफ्तार किया है. पुलिस ने बताया, आरोपी मनरेगा मैनेजर को गिरफ्तार कर पूछताछ की जा रही है. न्यायालय के समक्ष आरोपी को पेशकर पीसी रिमांड लिया जाएगा. गबन कर्ता मनरेगा मैनेजर से राशि बरामद की जाएगी.

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सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, मनरेगा मैनेजर सुमित साल 2016 से मनरेगा मजदूरों की मजदूरी को हड़प रहा था. आरोपी ने तीन एकाउंट अपने नाम से और एक पत्नी के नाम से खुलवाया था. आरोपी फर्जी मास्टर रोल भरकर चारो बैंक एकाउंट में पैसे ट्रांसफर करता था. आरोपी ने शातिर तरीके से ठगी कर गबन की वारदात को अंजाम दिया. गबन करने का तरीका आरोपी का ऐसा रहा, चार साल तक पंचायत समिति प्रशासन को भनक तक नहीं लग सकी. लिहाजा गरीब मनरेगा मजदूरों की 34 लाख से अधिक की गाढ़ी कमाई को आरोपी हलाल कर गया. फिलहाल, पुलिस आरोपी से गबन की राशि को बरामद करने के प्रयास कर रही है. आरोपी से पुलिस गबन की राशि को बरामद कर पाएगी या नहीं यह बड़ा सवाल है.

Last Updated : Apr 16, 2021, 5:58 PM IST
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