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RCSE ने जारी की जनवरी की रैंकिग, प्रदेशभर में शिक्षा के क्षेत्र में चूरू अव्वल - churu news

राजस्थान कॉसिल ऑफ स्कूल एजुकेशन की ओर से जारी की गई रैंकिंग में चूरू 204.6 अंकों के साथ प्रदेश में पहला स्थान प्राप्त किया है. इससे पहले नवम्बर महीने में चूरू 12वें स्थान पर था.

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चूरू शिक्षा में पहले स्थान पर
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Published : Jan 8, 2020, 6:54 PM IST

चूरू. राजस्थान कॉसिल ऑफ स्कूल एजुकेशन की ओर से जनवरी महीने की जारी की गई रैंकिंग में शिक्षा में चूरू ने प्रदेश में पहला स्थान प्राप्त किया है. इससे पहले नवम्बर महीने में चूरू 12वें स्थान पर था. यह स्थान शाला दर्पण पर 43 बिन्दुओं की प्रविष्टि करने में अव्वल रहने पर मिला है. वहीं चूरू 204.6 अंकों के साथ पहले स्थान पर रहा.

प्रदेश में चूरू शिक्षा में पहले स्थान पर

बता दें कि 12वें स्थान से पहले स्थान पर आने के लिए प्रत्येक ब्लॉक लेवल पर त्रिस्तरीय टीम बनाकर काम किया गया. साथ ही समग्र शिक्षा अभियान (समसा) ने त्रिस्तरीय टीम की मॉनीटरिंग की. इसी कारण शाला दर्पण पर अपडेट नहीं करने वाले संस्था प्रधानों ने प्रविष्टियां तय समय पर कर दी है. वहीं अब इस स्थान को बरकरार रखने के लिए लगातार मोनीटरिंग करेंगे.

पढ़ेंः Special: 74 साल की हुई Rajasthan University, लेकिन धीरे-धीरे खोती जा रही है अपनी साख

तीन साल तक रहा था चूरू पहले स्थान पर-

चूरू जिला शिक्षा में जनवरी 2016 से जनवरी 2019 तक तीन साल तक प्रदेश में पहले स्थान पर रहा था. इसी कारण वर्ष 2017 और 2018 में चूरू को राज्य स्तर पर सम्मानित भी किया गया था. इस महीने में जिले की 1343 स्कूलों की मॉनीटरिंग कर शाला दर्पण पोर्टल पर सभी 43 बिन्दुओ की प्रविष्टियां अपडेट करवाई गई है.

इन तीन कारणों से पंहुचे पहले स्थान पर-

  1. समुदाय से 50 हजार या इससे ज्यादा राशि प्राप्त करने वाले स्कूलों ने शाला दर्पण पर प्रविष्टि नहीं की. इस बार 1343 मे से 833 स्कूलों ने फिडिंग कर दी है.
  2. ज्ञान संपर्क पोर्टल पर प्राप्त राशि की फिडिंग भी बहुत कम स्कूल कर रहे थे. इस बार 819 स्कूलों ने फिडिंग की है.
  3. बिजली, पानी की सुविधा और सर्वाधिक आधार कार्ड से जुड़े स्कूलों सहित अन्य बिन्दुओं को शाला दर्पण पर अपडेट करवाया गया है.

चूरू. राजस्थान कॉसिल ऑफ स्कूल एजुकेशन की ओर से जनवरी महीने की जारी की गई रैंकिंग में शिक्षा में चूरू ने प्रदेश में पहला स्थान प्राप्त किया है. इससे पहले नवम्बर महीने में चूरू 12वें स्थान पर था. यह स्थान शाला दर्पण पर 43 बिन्दुओं की प्रविष्टि करने में अव्वल रहने पर मिला है. वहीं चूरू 204.6 अंकों के साथ पहले स्थान पर रहा.

प्रदेश में चूरू शिक्षा में पहले स्थान पर

बता दें कि 12वें स्थान से पहले स्थान पर आने के लिए प्रत्येक ब्लॉक लेवल पर त्रिस्तरीय टीम बनाकर काम किया गया. साथ ही समग्र शिक्षा अभियान (समसा) ने त्रिस्तरीय टीम की मॉनीटरिंग की. इसी कारण शाला दर्पण पर अपडेट नहीं करने वाले संस्था प्रधानों ने प्रविष्टियां तय समय पर कर दी है. वहीं अब इस स्थान को बरकरार रखने के लिए लगातार मोनीटरिंग करेंगे.

पढ़ेंः Special: 74 साल की हुई Rajasthan University, लेकिन धीरे-धीरे खोती जा रही है अपनी साख

तीन साल तक रहा था चूरू पहले स्थान पर-

चूरू जिला शिक्षा में जनवरी 2016 से जनवरी 2019 तक तीन साल तक प्रदेश में पहले स्थान पर रहा था. इसी कारण वर्ष 2017 और 2018 में चूरू को राज्य स्तर पर सम्मानित भी किया गया था. इस महीने में जिले की 1343 स्कूलों की मॉनीटरिंग कर शाला दर्पण पोर्टल पर सभी 43 बिन्दुओ की प्रविष्टियां अपडेट करवाई गई है.

इन तीन कारणों से पंहुचे पहले स्थान पर-

  1. समुदाय से 50 हजार या इससे ज्यादा राशि प्राप्त करने वाले स्कूलों ने शाला दर्पण पर प्रविष्टि नहीं की. इस बार 1343 मे से 833 स्कूलों ने फिडिंग कर दी है.
  2. ज्ञान संपर्क पोर्टल पर प्राप्त राशि की फिडिंग भी बहुत कम स्कूल कर रहे थे. इस बार 819 स्कूलों ने फिडिंग की है.
  3. बिजली, पानी की सुविधा और सर्वाधिक आधार कार्ड से जुड़े स्कूलों सहित अन्य बिन्दुओं को शाला दर्पण पर अपडेट करवाया गया है.
Intro:चूरू। राजस्थान कौंसिल ऑफ स्कूल एजुकेशन की ओर से जनवरी महीने की जारी की गई रैंकिंग में शिक्षा में चूरू जिले ने प्रदेश में पहला स्थान प्राप्त किया है। इससे पहले नवम्बर महीने में चूरू 12वें स्थान पर था। यह स्थान शाला दर्पण पर 43 बिन्दुओं की प्रविष्टि करने में अव्वल रहने पर मिला है। चूरू 204.6 अंकों के साथ पहले स्थान पर रहा।
12वें स्थान से पहले स्थान पर आने के लिए ने प्रत्येक ब्लॉक लेवल पर त्रिस्तरीय टीम बनाकर काम किया। समग्र शिक्षा अभियान (समसा) ने त्रिस्तरीय टीम की मॉनीटरिंग की। इसी कारण शाला दर्पण पर अपडेट नहीं करने वाले संस्था प्रधानों ने प्रविष्टियां तय समय पर कर दी।


Body:: तीन साल तक रहा था चूरू पहले स्थान पर
चूरू जिला शिक्षा में जनवरी 2016 से जनवरी 2019 तक तीन साल तक प्रदेश में पहले स्थान पर रहा था। इसी कारण वर्ष 2017 व 2018 में चूरू को राज्य स्तर पर सम्मानित भी किया गया था। इस महीने में जिले की 1343 स्कूलों की मॉनीटरिंग कर शाला दर्पण पोर्टल पर सभी 43 बिन्दुओ की प्रविष्टियां अपडेट करवाई गई।
: इन तीन कारणों से पंहुचे पहले स्थान पर
1. समुदाय से 50 हजार या इससे ज्यादा राशि प्राप्त करने वाले स्कूलों ने शाला दर्पण पर प्रविष्टि नहीं की। इस बार 1343 मे से 833 स्कूलों ने फिडिंग कर दी।
2. ज्ञान संपर्क पोर्टल पर प्राप्त राशि की फिडिंग भी बहुत कम स्कूल कर रहे थे। इस बार 819 स्कूलों ने फिडिंग की है।
3. बिजली, पानी की सुविधा व सर्वाधिक आधार कार्ड से जुड़े स्कूलों सहित अन्य बिन्दुओं को शाला दर्पण पर अपडेट करवाया गया।



Conclusion:बाइट: रमेश चंद्र पूनिया, एडीपीसी,समग्र शिक्षा अभियान (समसा), चूरू।
जिले के सभी ब्लॉक पर त्रिस्तरीय टीम बनाकर काम किया। शाला दर्पण पर छोड़े गए बिंदुओं को अपडेट करवाया गया। अब इस स्थान को बरकरार रखने के लिए लगातार मोनीटरिंग करेंगे।
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