चित्तौड़गढ़. कोरोना संक्रमण के एक ही परिसर में अधिक व्यक्ति होने की स्थिति में तेजी से फैलने की संभावना रहती है. जिला मुख्यालय पर भी जिला जेल परिसर में एक साथ 24 संक्रमित सामने आए थे. ऐसे में जेल प्रशासन के साथ ही जिला प्रशासन के अधिकारियों के हाथ फूल गए थे. लेकिन कोविड गाइडलाइन की पालना और एहतियात बरतने के कारण संक्रमण नहीं फैला. इसके बाद जिला जेल में एक भी नया बंदी कोरोना पॉजिटिव नहीं मिला है.
जानकारी के अनुसार चित्तौड़गढ़ जिला जेल में इसी माह एक जेलकर्मी की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी. इसके बाद जिला जेल में रेंडम सैंपलिंग कराई गई थी, जिसने सभी को चौंका दिया था. इसमें एक साथ 24 बंदियों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आ गई. ऐसे में चिकित्सा विभाग के साथ ही जिला प्रशासन के अलावा न्यायिक विभाग भी आश्चर्य में पड़ गया. तत्काल चिकित्सा विभाग की टीम जेल में भेजी गई, जिन्होंने उपचार शुरू किया.
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यहां करीब 450 बंदी बन्द है. कम परिसर में 24 संक्रमित सामने आने के बाद और लोगों में संक्रमण फैलने की संभावना बढ़ गई थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ. जेल प्रशासन ने संक्रमित आए बंदियों को अलग से एक बैरक में रखा. साथ ही चिकित्सा विभाग की और से दी गई दवाओं को समय पर दिया.
संक्रमित बंदियों के संपर्क में ना तो जेल स्टाफ को आने दिया ना ही अन्य बंदियों को. इसके अलावा संक्रमित आए बंदियों के भोजन में भी बदलाव किया. हैवी डाइट दी गई और दोनों समय हल्दी के साथ दूध दिया गया था. दवाएं भी चिकित्सा विभाग की टीम की देख-रेख में दी. इसका परिणाम यह रहा कि जल्दी सभी बंदी कोरोना संक्रमण से मुक्त हो गए.