बूंदी. कांग्रेस सेवादल ने जिले के सभी अग्रिम संगठनों के जिलाध्यक्षों की बैठक लेकर लोकसभा चुनाव की रणनीति तय की. इस दौरान कोटा-बूंदी लोकसभा से कांग्रेस प्रत्याशी रामनारायण मीणा के समर्थन में प्रचार-प्रसार करने को लेकर पार्टी के नेताओं ने जोर दिया.
इस दौरान कांग्रेस सेवादल के प्रदेश सचिव अमित सूद ने कहा कि हाल ही में ही सुप्रीम कोर्ट ने राहुल गांधी के चौकीदार चोर वाले बयान को लेकर कार्रवाई की बात कही है. साथ ही कहा है कि क्यों न इस बयान पर कार्रवाई हो. इसको लेकर राहुल गांधी ने माफी मांगने की बात कही है. लेकिन बीजेपी वालों को ऐसा लगता है कि उन्होंने बीजेपी से माफी मांगी है. जबकि ऐसा नहीं है राहुल गांधी ने कोर्ट के आदेशानुसार माफी मांगी है. लेकिन हम कांग्रेस कार्यकर्ता हैं और हम चौकीदार को साहूकार नहीं बोलेंगे, हमारे लिए चौकीदार चोर है और चोर ही रहेगा.
बता दें कि बूंदी में कांग्रेस सेवादल लगातार चुनाव में अभियान चलाकर पार्टी के प्रचार-प्रसार में लगी हुई है. इसी कड़ी में मंगलवार को कांग्रेस कमेटी में अल्पसंख्यक मोर्चा, महिला कांग्रेस, महिला कांग्रेस सेवादल, sc-st सहित विभिन्न मोर्चों के जिलाध्यक्षों के साथ मिलकर पार्टी के लिए खड़े प्रत्याशी को जिताने की बात कही है. उन्होंने कोटा-बूंदी लोकसभा सीट से बीजेपी प्रत्याशी ओम बिरला द्वारा किए गए 5 सालों में वादा खिलाफी का आरोप लगाते हुए कहा कि बिरला ने इन 5 सालों में अपनी जेब भरने की पुरजोर कोशिश की है. विकास के नाम पर जनता को धोखा दिया है.
उन्होंने कहा है कि ओम बिरला ने कहा था कि जब तक कोटा में एयरपोर्ट नहीं बनेगा तब तक वे चुनाव नहीं लड़ेंगे. लेकिन इन 5 सालों में यह वादा एक जुमला रह गया और कोटा के अंदर एयरपोर्ट नहीं बन सका. क्या अब ओम बिरला चुनाव लड़ रहे या नहीं यह उनकी बात से साबित होता है कि उन्होंने इतने विकास के दावे किए हैं. एयरपोर्ट की बात से सही साबित हो रहा है कि वह कितना सच बोलते हैं कितना झूठ.
उन्होंने कहा कि जिस तरीके से एक पूंजीवादी बीजेपी नेता के सामने बूंदी जिले का एक छोटा सा कार्यकर्ता रामनारायण मीणा सांसद प्रत्याशी के रूप में खड़ा हुआ है. जो जनता के बीच में जाकर काम कर रहा है. बूंदी शहर को चाहिए कि वह ऐसे नेता को आगे बढ़ाएं और अपनी आवाज को संसद तक पहुंचाए.
आगामी 29 अप्रैल को कोटा-बूंदी लोकसभा सीट के लिए चुनाव होना है. ऐसे में कांग्रेस के रामनारायण मीणा और बीजेपी के ओम बिरला के बीच कड़ी टक्कर है. दोनों पार्टी के नेता आपस में बयानबाजी कर एक दूसरे की आलोचना कर रहे हैं और वोट बढ़ाने की कोशिश कर रहे हैं. वहीं पुरजोर तरीके से दोनों पार्टियों का प्रचार-प्रसार हो रहा है.