बूंदी. राजस्थान में मानसून सक्रिय हो गया है. इसी के साथ बूंदी वन विभाग ने नर्सरी में पौधे लगाना शुरू कर दिया है. जिले की 12 नर्सरी में पौधे लगाए जा रहे हैं. बूंदी के सभी नर्सरी में 3 लाख से अधिक विभिन्न प्रकार के पौधे लगाए गए हैं, जिनमें से सबसे ज्यादा फलदार पौधे हैं.
बता दें कि इस बार वन विभाग ने करीब 6 आयुर्वेदिक पौध की जड़ीबूटी को शामिल किया है. इसके पीछे वन विभाग का मानना है कि वर्तमान में कोरोना वायरस चल रहा है ऐसे में आयुर्वेदिक जड़ी बूटियों के पौधे की कमी सामने आई है. उसी को देखते हुए बूंदी वन विभाग ने फैसला किया है कि बूंदी के सभी नर्सरी में आयुर्वेदिक की आधा दर्जन किस्म रोपी जाएगी और वितरित की जाएगी. ताकि हर इलाके में आयुर्वेदिक जड़ी बूटी के पौधे होंगे तो लोगों का रुझान आयुर्वेद की तरफ भी बढ़ेगा. फलदार पौधे लगने के साथ क्षेत्र में फल की डिमांड भी बढ़ेगी. वहीं बूंदी में अमरूद की मांग अधिक रहती है तो वन विभाग ने इस वर्ष अमरूद के पौधों को भी ज्यादा लगाया है.
डीएफओ सुरेश मिश्रा ने बताया कि बारिश का मौसम शुरू हो गया है और अगले 15 दिन बाद नर्सरी से पौध लगाने का काम पूरा हो जाएगा. कार्य पूरा होने के साथ उसको वितरण करने का काम किया जाएगा. इस बार हरियाली को लेकर विशेष ध्यान दिया गया है. हर वर्ष पौधों की संख्या को पूरा कर लिया जाता है और बारिश होने के साथ ही पौधे लगाना शुरू कर दिया जाता है, ताकि हरियाली की चादर ओढ़ ली जा सके. इस वर्ष के साथ अगले वर्ष के भी पौध अभी से ही लगाना शुरू कर दिया है.
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बता दें कि वन विभाग ने नर्सरी में पिछले वर्ष ढाई लाख पौधे तैयार किए थे. इस बार 50 हजार अधिक बढ़ाकर 3 लाख की पौध नर्सरी को तैयार किया गया है. वर्तमान में वन विभाग के कर्मचारी किसम की संख्या को देखकर नर्सरी में पौधे लगाने का कार्य कर रहे हैं. पौध को नर्सरी की जमीन में लगा दिया गया है. कुछ पौधे तो हल्की बारिश में उपज भी करने लगे हैं.