बीकानेर. खाजूवाला में 2 दिन पहले दलित युवती की मौत के मामले में बुधवार रात को सहमति बन गई थी. गुरुवार को युवती के परिजनों ने शव लेने से इनकार कर दिया. खाजूवाला मोर्चरी के बाहर मौजूद परिजनों से पुलिस प्रशासन के अधिकारी समझाइश कर रहे हैं. परिजनों का कहना है कि हमने केवल पोस्टमार्टम के लिए सहमति दी थी, लेकिन जब तक दोनों आरोपी कॉन्स्टेबल को गिरफ्तार नहीं किया जाता, तब तक हम शव नहीं लेंगे. समझौता वार्ता में पूर्व संसदीय सचिव डॉ विश्वनाथ और देहात भाजपा अध्यक्ष जालम सिंह भाटी, भाजपा नेता रवि शेखर मेघवाल और आरएलपी के विजयपाल बेनीवाल सहित अन्य लोग आईजी और एसपी से मिले थे. गुरुवार को भाजपा नेता रवि शेखर मेघवाल परिजनों के साथ डटे हुए हैं. इस बीच पीड़ित परिवार का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. खाजूवाला मोर्चरी के बाहर बड़ी संख्या में आरएसी के जवान तैनात किए गए हैं. मौके पर मौजूद एसडीएम और सीओ परिजनों से समझाइश कर रहे हैं.
खाजूवाला में गतिरोध कायम - इस मामले में फिलहाल गतिरोध कायम है और परिजन दोनों आरोपी कांस्टेबल की गिरफ्तारी नहीं होने तक जहां शव लेने को तैयार नहीं हैं, वहीं पुलिस प्रशासन समझौता वार्ता का हवाला देते हुए परिजनों से समझाइश कर रहा है. बुधवार देर रात हुए समझौते वार्ता में मृतका के परिजनों को 25 लाख रुपए और संविदा पर नौकरी के मुद्दे पर सहमति बनी थी. बाकी मांगों को लेकर आईजी व एसपी ने आश्वासन दिया था. अब परिजन इस बात पर अड़े हुए हैं कि आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद ही शव लिया जाएगा. सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे परिजनों के वीडियो में भी परिजन ये कहते हुए नजर आ रहे हैं कि सहमति की बात केवल पोस्टमार्टम तक थी. न तो उन्हें पैसा चाहिए और न ही कोई नौकरी, बल्कि उनका एक ही उद्देश्य है कि जो दोषी है, उनको सजा मिले.
एसपी तेजस्विनी गौतम ने लिया एक्शन - इस मामले में पुलिस कर्मियों पर आरोप लगने और पुलिसकर्मियों के खिलाफ नामजद मुकदमा होने के बाद एसपी तेजस्विनी गौतम ने एक्शन लेते हुए कांस्टेबल के तबादले किए हैं. इनमें अलग-अलग थाना क्षेत्रों में लंबे समय से जमे कांस्टेबल्स को इधर-उधर किया गया है, जिनमें खाजूवाला थाने से भी सात कॉन्स्टेबल का तबादला किया गया है. यह सभी पिछले 3 साल से एक ही सर्किल में तैनात थे.