भीलवाड़ा. बर्ड फ्लू के दस्तक को देखते हुए गहलोत सरकार (Gehlot Government) के निर्देश पर भीलवाड़ा में जिला वन विभाग मुस्तैद नजर आ रहा है. वन विभाग के उप वन संरक्षक ने बर्ड फ्लू से बचने के लिए सर्तकता बरतने का निर्देश जारी किया है.
उप वन संरक्षक देवेंद्र प्रताप सिंह जागावत ने कहा कि पिछले कुछ दिनों से हनुमानगढ़, जोधपुर, बीकानेर, झालावाड़, पाली और बारां सहित अन्य जिलों में बर्ड फ्लू की बीमारी से कौआ और बतख सहित अन्य पक्षियों के मरने की खबरें आ रही हैं. बर्ड फ्लू अर्थात एवियन इनफ्लुएंजा (Avian influenza) एक गंभीर संक्रामक बीमारी है. इसको फैलने से रोकना ही सबसे बड़ा निदान है. इसके लिए समय रहते पक्षियों में इस रोग की पहचान कर सतर्कता बरतना अति आवश्यक है. भीलवाड़ा वन मंडल ने अपने अधीन क्षेत्रीय वन अधिकारियों को निर्देश जारी कर वन क्षेत्रों और उनके बाहर ऐसे स्थान जहां पक्षी वास करते हैं या प्रवास करने आते हैं. उन स्थानों पर विशेष सतर्कता बरतते हुए कार्रवाई करने तथा आर्द्रभूमि (wetland) पर भी विशेष सतर्कता बरतने की बात कही है.
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गौरतलब है कि भीलवाड़ा उप वन संरक्षक ने बर्ड फ्लू के बढ़ते मामले को गंभीरता से लेते हुए कई अधिकारियों संग की. साथ ही रोजाना जिले के हालातों के बारे में अपने मातहत अधिकारियों से जानकारी ले रहे हैं. बता दें कि दिसंबर और जनवरी महीने में भीलवाड़ा में काफी संख्या में प्रवासी पक्षी आते हैं. जहां सबसे ज्यादा प्रवासी पक्षी जिले के चावडिया तालाब में आते हैं इसलिए दूसरे जिले जैसी बर्ड फ्लू की बीमारी यहां न फैले. इसलिए विभाग अभी से मुस्तैद हो गया है.