बाड़मेर. पिछले लंबे समय से बाड़मेर जिले के पैराटीचर्स शिक्षाकर्मी स्थायीकरण एवं मानदेय बढ़ाने की मांग को लेकर अपनी आवाज उठा रहे हैं. इसी क्रम में शुक्रवार को जिले के पैराटीचर्स शिक्षाकर्मी बड़ी संख्या में बाड़मेर जिला मुख्यालय पहुंचे, जहां पर उन्होंने विवेकानंद सर्किल से जिला कलेक्ट्रेट कार्यालय तक मौन जुलूस निकाला और उसके बाद उन्होंने जिला कलेक्टर को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा.
जिले के पैराटीचर्स शिक्षाकर्मी ने कार्यालय पहुंचकर जिला कलेक्टर को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नाम ज्ञापन सौंपकर नियमितीकरण एवं मानदेय बढ़ाने की मांग की मुख्यमंत्री के नाम सौंपा. ज्ञापन में बताया कि पिछले 25 से 35 वर्षों सरकारी सेवा में रहते हुए उनके द्वारा शिक्षा की अलख जगाई जा रही है, लेकिन मानदेय के रूप में उन्हें केवल 7865 रुपए ही वेतन दिया जा रहा है.
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पैराटीचर्स संघ के जिला अध्यक्ष धनाराम सेन ने बताया कि पैराटीचर शिक्षाकर्मी पिछले लंबे समय से मानदेय बढ़ाने की मांग कर रहे हैं. इसको लेकर पैराटीचर्स एवं शिक्षाकर्मी संघ लगातार सरकार का ध्यान आकर्षित करवा रहे हैं, लेकिन बावजूद इसके सरकार कोई ध्यान नहीं दे रही है. उन्होंने कहा कि बढ़ती महंगाई में कम वेतन मिलने के चलते उनके परिवार का पालन पोषण भी करना मुश्किल हो गया है.
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उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने अपने चुनावी घोषणा पत्र में पैराटीचर्स को स्थाई करने की बात कही थी, लेकिन सरकार बनने के बाद वादा पूरा नहीं किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि कुछ दिन पहले ही हमने जिला मुख्यालय पर सरकार की सद्बुद्धि के लिए यज्ञ किया था. उन्होंने चेतावनी दी है कि अगर सरकार ने समय रहते हमारी मांगें पूरी नहीं की तो हम आने वाले दो-तीन दिनों में पैदल ही जयपुर कूच विधानसभा का घेराव करेंगे.