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बांसवाड़ा में नवजात को झाड़ियों में फेंक गई मां...एक अन्य मां ने सुनी पुकार तो अस्पताल में कराया भर्ती

बांसवाड़ा में मां की ममता उस वक्त शर्मसार हो गई जब एक अज्ञात महिला अपनी नवजात बेटी को झाड़ियों में छोड़कर चली गई. गनीमत रही कि बच्ची की आवाज सुनकर एक अन्य महिला ने उसे अस्पताल पहुंचाकर जंगली जानवरों का शिकार होने से बचा लिया.

झाड़ियों में मिली नवजात बच्ची
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Published : May 21, 2019, 7:26 AM IST

बांसवाड़ा. मां हमेशा से ममता का प्रतिरूप मानी गई है. अपने बच्चे के लिए मां भगवान तक से भिड़ जाती है. लेकिन जिले में सोमवार को एक मां का निर्दयी रूप देखने को मिला. जन्म के कुछ घंटे बाद अज्ञात महिला अपनी नवजात बच्ची को झाड़ियों में फेंक कर चली गई, गनीमत रही कि नवजात के रोने की आवाज सुनकर पास में ही निवासरत एक महिला की ममता जाग गई और मौके पर पहुंच गई वरना बच्ची जंगली जानवरों का शिकार हो जाती.

उसने बच्ची को प्रतापपुर हॉस्पिटल पहुंचाया. गढ़ी थाना पुलिस ने अज्ञात महिला के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर लिया है. वहीं नवजात को बांसवाड़ा महात्मा गांधी चिकित्सालय रेफर किया गया है जहां उसकी हालत में तेजी से सुधार हो रहा है. जानकारी के अनुसार यह घटना गढ़ी थाना अंतर्गत पारा हेड़ा गांव का है. जहां झाड़ियों में किसी बच्चे के रोने की आवाज सुनकर पास में ही रहने वाली महिला मौके पर पहुंची. उसने नवजात को झाड़ियों में देखकर तत्काल आशा सहयोगिनी रमीला देवी चरपोटा को सूचना दी. 108 की मदद से उसे तत्काल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र प्रतापपुर ले जाया गया.

झाड़ियों में मिली नवजात बच्ची

नवजात का वजन 2 किलो 100 ग्राम निकला जो सामान्य बच्चे से कम माना गया है. प्राथमिक उपचार के बाद बच्ची को बांसवाड़ा रेफर किया गया जहां स्पेशल न्यू बोरन केयर यूनिट में भर्ती कराया गया. उसके स्वास्थ्य में तेजी से सुधार हो रहा है. सीएससी प्रतापपुर के प्रभारी की रिपोर्ट पर गढ़ी थाना पुलिस ने अज्ञात महिला के खिलाफ 12 साल से कम उम्र के बच्चे का जीवन संकट में डालने सहित विभिन्न धाराओं में प्रकरण दर्ज किया है.

बांसवाड़ा. मां हमेशा से ममता का प्रतिरूप मानी गई है. अपने बच्चे के लिए मां भगवान तक से भिड़ जाती है. लेकिन जिले में सोमवार को एक मां का निर्दयी रूप देखने को मिला. जन्म के कुछ घंटे बाद अज्ञात महिला अपनी नवजात बच्ची को झाड़ियों में फेंक कर चली गई, गनीमत रही कि नवजात के रोने की आवाज सुनकर पास में ही निवासरत एक महिला की ममता जाग गई और मौके पर पहुंच गई वरना बच्ची जंगली जानवरों का शिकार हो जाती.

उसने बच्ची को प्रतापपुर हॉस्पिटल पहुंचाया. गढ़ी थाना पुलिस ने अज्ञात महिला के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर लिया है. वहीं नवजात को बांसवाड़ा महात्मा गांधी चिकित्सालय रेफर किया गया है जहां उसकी हालत में तेजी से सुधार हो रहा है. जानकारी के अनुसार यह घटना गढ़ी थाना अंतर्गत पारा हेड़ा गांव का है. जहां झाड़ियों में किसी बच्चे के रोने की आवाज सुनकर पास में ही रहने वाली महिला मौके पर पहुंची. उसने नवजात को झाड़ियों में देखकर तत्काल आशा सहयोगिनी रमीला देवी चरपोटा को सूचना दी. 108 की मदद से उसे तत्काल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र प्रतापपुर ले जाया गया.

झाड़ियों में मिली नवजात बच्ची

नवजात का वजन 2 किलो 100 ग्राम निकला जो सामान्य बच्चे से कम माना गया है. प्राथमिक उपचार के बाद बच्ची को बांसवाड़ा रेफर किया गया जहां स्पेशल न्यू बोरन केयर यूनिट में भर्ती कराया गया. उसके स्वास्थ्य में तेजी से सुधार हो रहा है. सीएससी प्रतापपुर के प्रभारी की रिपोर्ट पर गढ़ी थाना पुलिस ने अज्ञात महिला के खिलाफ 12 साल से कम उम्र के बच्चे का जीवन संकट में डालने सहित विभिन्न धाराओं में प्रकरण दर्ज किया है.

Intro:बांसवाड़ाl मां हमेशा से ममता का प्रतिरूप मानी गई हैl अपने बच्चे के लिए मां भगवान तक से भिड जाती है। ऐसे मामले यदा-कदा हमारे सामने भी आते रहते हैं लेकिन बांसवाड़ा जिले में सोमवार को एक मां का निर्दयी रूप बी देखने को मिला। जन्म के कुछ घंटे बाद अज्ञात महिला अपनी नवजात बच्ची को झाड़ियों में फेंक कर जंगली जानवरों के हवाले कर गई। गनीमत रही कि नवजात के रोने की आवाज सुनकर पास में ही निवासरत एक महिला की ममता जाग गई और मौके पर पहुंच गई। उसकी सूचना पर नर्सिंग कर्मियों ने बच्ची को प्रतापपुर हॉस्पिटल


Body:पहुंचाया। गढ़ी थाना पुलिस ने अज्ञात महिला के खिलाफ प्रकरण दर्ज किया है वहीं नवजात को बांसवाड़ा महात्मा गांधी चिकित्सालय रेफर किया गया है जहां उसकी हालत में तेजी से सुधार हो रहा है। जानकारी के अनुसार यह घटना गढ़ी थाना अंतर्गत पारा हेड़ा गांव का है। यहां झाड़ियों में किसी बच्चे के रोने की आवाज सुनकर पास में ही रहने वाली महिला मौके पर पहुंची। उसने नवजात को झाड़ियों में देखकर तत्काल आशा सहयोगिनी रमीला देवी चरपोटा को सूचना दी। 108 की मदद से उसे तत्काल सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र प्रतापपुर ले जाया गया।


Conclusion:नवजात का वजन 2 किलो 100 ग्राम निकला जो सामान्य बच्चे से कम माना गया है। प्राथमिक उपचार के बाद बच्ची को बांसवाड़ा रेफर किया गया जहां स्पेशल न्यू बोरन केयर यूनिट में भर्ती कराया गया। उसके स्वास्थ्य में तेजी से सुधार हो रहा है। सीएससी प्रतापपुर के प्रभारी की रिपोर्ट पर गढ़ी थाना पुलिस ने अज्ञात महिला के खिलाफ 12 साल से कम उम्र के बच्चे का जीवन संकट में डालने सहित विभिन्न धाराओं में प्रकरण दर्ज किया है। थाना प्रभारी गजेंद्र सिंह राव के अनुसार मामले पर अनुसंधान प्रारंभ कर दिया गया है। एसएनसीयू स्टाफ नर्स जयंत पाटीदार के अनुसार नवजात का वजन सामान्य बच्चे के मुकाबले कम है। डॉक्टर ने चेक कर लिया है और अब उसके स्वास्थ्य में सुधार है।

बाइट............ स्टाफ नर्स जयंत पाटीदार
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