अलवर. केंद्रीय बस स्टैंड पर गुरुवार से रोडवेज कर्मियों का दो दिवसीय धरना प्रदर्शन शुरू हो गया है. रोडवेज कर्मियों ने अपनी लंबित मांगों को सरकार की ओर से पूरा नहीं करने को लेकर नाराजगी जताते हुए चेतावनी दी है कि उनकी मांगें नहीं मानी गई तो दो दिवसीय धरना प्रदर्शन के बाद उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट के क्षेत्र में विरोध रैली निकाली जाएगी.
रोडवेज कर्मचारियों का कहना रहा कि इसके बाद भी सरकार उनकी मांगें नहीं मानती है तो मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के गृह जिले में रोडवेज कर्मियों द्वारा विरोध प्रदर्शन किया जाएगा. कर्मचारियों का कहना है कि भाजपा सरकार के समय रोडवेज को बर्बाद किया गया. उसके बाद कांग्रेस नेताओं ने चुनाव से पूर्व रोडवेज कर्मियों की समस्याओं का समाधान करने का आश्वासन दिया था. लेकिन अब कांग्रेस सरकार भी रोडवेज कर्मियों की सुनवाई नहीं कर रही है. इसलिए रोडवेज कर्मियों को आंदोलन के लिए सड़क पर उतरना पड़ रहा है.
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रोडवेज कर्मियों की 4 मांगें
- रोडवेज में 1500 बसों की खरीद की जाए.
- दूसरी मांग है कि नई भर्ती शीघ्र हो.
- सातवें वेतन मान को शीघ्र लागू किया जाए.
- कार्यरत और रिटायर्ड कर्मचारियों का बकाया भुगतान किया जाए.