अलवर. अलवर नगर परिषद के कमिश्नर पर रिश्वत मांगने का आरोप लगा है. शहर की पॉश कॉलोनी स्कीम नंबर 2 में नगर परिषद कमिश्नर मंगलवार को अवैध निर्माण को देखने गए अलवर नगर परिषद कमिश्नर जोधाराम विश्नोई को लोगों ने घेर लिया. इसके बाद जमकर हंगामा हुआ. इसे देख कमिश्नर अपने कर्मचारियों के साथ मौके से चले गए. हालांकि उनकी गाड़ी मौके पर ही खड़ी रही.
शहर की पॉश कॉलोनी स्कीम दो निवासी नरेंद्र पाल सिंह, किशोर, परमजीत सिंह, विजय गुप्ता का आनंद प्रेम आश्रम पर निर्माण चल रहा था. अवैध निर्माण किए जाने की शिकायत पर कमिश्नर जोधाराम स्कीम नंबर दो पहुंचे. कमिश्नर अवैध निर्माण के काम में लिए जा रहे सामान को जब्त करने लगे. यह सूचना आग की तरह पूरे क्षेत्र में फैल गई. बड़ी संख्या में लोग मौके पर जमा हो गए. इसके बाद मामला गरमा गया. पार्षद देवेंद्र कौर के पति दलविंदर की नगर परिषद के अधिकारियों के साथ बहस हुई. इस दौरान लोगों ने नगर परिषद के कमिश्नर व कर्मचारियों पर रिश्वत लेने के आरोप लगाया. मौके पर माहौल बिगड़ता देख कमिश्नर स्टाफ व अन्य कर्मचारी वहां से निकल लिए. जबकि उनकी गाड़ी मौके पर ही खड़ी रही.
इस पूरे मामले पर नगर परिषद के अधिकारी कुछ भी बोलने से बच रहे हैं. तो वही नगर परिषद कमिश्नर से बात करने का प्रयास किया गया, लेकिन उन्होंने कुछ भी बोलने से मना कर दिया. बता दें कि अलवर नगर परिषद पर हमेशा से रिश्वत के आरोप लगते रहे हैं. अलवर नगर परिषद में सभापति बीना गुप्ता को लाखों रुपए की रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया. तो उसके बाद कांग्रेस नेता व पार्षद नरेंद्र मीणा को रिश्वत के मामले में एसीबी ने गिरफ्तार किया. उसके अलावा भी कई ऐसे रिश्वत के मामले सामने आए. जिसके कारण नगर परिषद की काफी बदनाम हुई, लेकिन उसके बाद भी सरकार का इस ओर कोई ध्यान नहीं है. शहर में विकास कार्य रुके हुए हैं. नगर परिषद की कार्यप्रणाली के खिलाफ पार्षद धरना दे चुके हैं व अधिकारी कर्मचारियों पर गंभीर आरोप लग चुके हैं.
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