रामगढ़(अलवर). उपखंड के राजकीय माध्यमिक विद्यालय में मिड डे मील के रूप में मिलावटी दूध की सप्लाई संबंधी शिकायत पर गुरुवार को ग्रामीणों ने जमकर हंगामा किया. ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि स्कूल के बच्चों को दूध के नाम पर यूरिया और तेलीय पदार्थों से बना जहर पिलाया जा रहा है. साथ ही खाना भी हल्की स्तर का सप्लाई किया जा रहा है.
मामला जिला प्रशासन तक पहुंचने के बाद रामगढ़ एसडीएम के निर्देश पर सीबीईओ विनोद धवन तुरंत मौके पर पहुंचे और उन्होंने ग्रामीणों को शांत करवाकर दूध की सप्लाई को रोक देने के निर्देश देते हुए कहा कि मिड डे मील अब स्कूल स्तर पर ही तैयार किया जाएगा.
ग्रामीणों का आरोप था कि स्कूल के बच्चों को दूध के नाम पर जहर पिलाया जा रहा है और दूध के सैंपलों को देसी तरीके से जांचा जाना चाहिए क्योंकि दूध में 4 गुना पानी रहता है जो यूरिया और पॉम ऑयल से बनाया जाता है.
वहीं बगड़ राजपूत ग्राम पंचायत सरपंच हसीना ने एसडीएम के नाम लिखित शिकायत में बताया कि स्कूल में यूरिया और इजी आदि से बनाया हुआ दूध सप्लाई किया जा रहा है.
वहीं दूसरी तरफ इस कार्रवाई से असंतुष्ट अनेक ग्रामीण गुरुवार दोपहर बाद दूध को लेकर रामगढ़ तहसीलदार के पास पहुंच गए. जहां एक बार तहसीलदार धीरेंद्र सोनी द्वारा ग्रामीणों को धमकाने का प्रयास किया गया लेकिन आक्रोशित ग्रामीण नहीं माने तो दूध की जांच के लिए सीएमएचओ को सूचना दी गई. जिस पर खाद्य सुरक्षा विभाग के इंस्पेक्टर विश्वबंधु गुप्ता ने दूध के कई नमूने लिए गए. प्रशासन की अनदेखी के बाद दूध लेकर रामगढ़ तहसील पहुंचे.
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ग्रामीण आजम खान का आरोप था कि एसडीएम और तहसीलदार को सुबह ही पूरे मामले की सूचना देते हुए दूध का सैंपल बढ़ाने को कहा था लेकिन दोपहर तक तहसीलदार पहुंचे. वहीं एसडीएम दूध को लेकर तहसील में आए तो तहसीलदार ने यह कहते हुए धमकाया कि तुमने दूध बदल दिया होगा. काफी जिद्द बहस के बाद जांच करवाने को राजी हुए.