अजमेर. रेल विभाग की ओर से अधिकारियों और कर्मचारियों को आवंटित सरकारी बंगलों का जमकर दुरुपयोग किया जा रहा है. कई अधिकारियों और कर्मचारियों ने बंगले और क्वार्टर्स को अन्य लोगों को किराए पर दे दिया. वहीं कई अधिकारियों ने अपने बंगले के बड़े परिसरों को वाहन पार्किंग में तब्दील कर दिया. रेलवे अधिकारी इसे कमाई का जरिया बना रहे हैं. गुरुवार को आरपीएफ की वरिष्ठ इंस्पेक्टर प्रमिला मीणा ने ऐसे बंगलों को चिन्हित कर कार्रवाई की बात कही है. उन्होंने कहा है कि डीआरएम को इस संबंध में पत्र लिखा जाएगा.
वरिष्ठ खण्ड अभियंता (आईओडब्लू ) और आरपीएफ ने जीसीए चौराहे पर स्थित रेलवे के बंगलों पर पहुंचकर उन्हें चिन्हित किया है. रेलवे के कई बंगलों के परिसर में 80 से ज्यादा लग्जरी गाड़ियां पार्क पाई गई. बंगलों और क्वार्टर्स को किराए पर देने के मामले पहले भी कई बार सामने आये हैं, लेकिन अब तो बंगलों और परिसरों का उपयोग पार्किंग के लिए भी किया जा रहा है. बता दें कि अजमेर में ख्वाजा गरीब नवाज का उर्स चल रहा है. यहां हाजरी लगाने बड़ी संख्या में जायरीन आए हुए हैं. इनमें कई सक्षम जायरीन लग्जरी गाड़ियों से आते हैं, पार्किंग के अभाव में वो रेलवे के बंगलों में पार्किंग की नई व्यवस्था शुरू होता देख यहां सशुल्क वाहन पार्क कर रहे हैं. आरपीएफ को यह शिकायत मिली तो गुरुवार को रेलवे के वरिष्ठ खण्ड अभियंता को साथ में लेकर रेलवे वर्कशॉप में आरपीएफ की वरिष्ठ इंस्पेक्टर प्रमिला मीणा मौके पर पहुंची. इसके बाद उन्होंने ऐसे सभी बंगलों को चिन्हित किया, जहां उनका उपयोग सशुल्क पार्किंग के रूप में किया जा रहा है.
मीणा ने बताया कि उर्स के मौके पर शहर में सभी पार्किंग स्थल फुल हो जाते हैं. ऐसे में पार्किंग से जुड़े लोग रेलवे बंगलों में रह रहे रेल अधिकारी और कर्मचारियों से संपर्क करते हैं, और परिसर में बड़ी संख्या में वाहन पार्किंग करवा रहे हैं. यह रेलवे की संपत्ति का दुरुपयोग है. उन्होंने बताया कि ऐसे पांच बंगलें और एक क्वार्टर्स के परिसर में 70 से ज्यादा लग्जरी कारें पार्क पाई गई है.
इसे भी पढ़ें- उर्स 2024 : कायड़ विश्राम स्थली में 80 हजार से भी अधिक जायरीन, दानदाता चला रहे लंगर
डीआरएम को लिखा जाएगा पत्र : चिन्हित बंगलों और क्वार्टर्स के दुरुपयोग के मामले में अजमेर रेल मंडल के महाप्रबंधक ( डीआरएम ) को विभागीय कार्रवाई के लिए लिखा जाएगा. उन्होंने बताया कि यह बंगले और क्वार्टर्स अधिकारी और कर्मचारियों के रहने के लिए आवंटित किए जाते हैं, लेकिन इनका दुरुपयोग करके उन्हें पार्किंग के लिए उपयोग में लिया जा रहा था. यह बंगले जिन अधिकारियों और कर्मचारियों के नाम से आवंटित हैं, उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाएगी.
इस दर से करते हैं वसूली : रेलवे अधिकारियों और कर्मचारियों के बंगलों के परिसर का दुरुपयोग कर वाहन पार्किंग के रूप में इस्तेमाल किया जा रहा है. यहां कार पार्किंग के लिए 150 से 200 रुपए घण्टे से पार्किंग शुल्क वसूला जा रहा था. रेलवे की संपत्ति का कमर्शियल उपयोग हो रहा था.