केकड़ी (अजमेर). केकड़ी के सावर में मंगलवार शाम कवरेज करने गए पत्रकार दिनेश जांगीड़ पर किए गए हमले के बाद केकड़ी विधानसभा के पत्रकारों मे रोष व्याप्त है. बुधवार को केकड़ी विधानसभा के पत्रकारों ने विरोध प्रदर्शन करते हुए उपखंड अधिकारी सुरेन्द्र सिंह राजपुरोहित को राज्यपाल, मुख्यमंत्री, चिकित्सा मंत्री, जिला कलेक्टर और एसपी के नाम ज्ञापन सौंपा है. ज्ञापन में पत्रकारों ने बताया, कि सावर के पत्रकार दिनेश जांगीड़ गुलगांव में प्रदर्शन की एक खबर कवरेज करने गए थे.
इस दौरान बजरी माफियाओं ने हथियारों से हमला कर दिया था. हमलें में पत्रकार दिनेश जांगीड़ घायल हो गए थे. इस संबंध में केकड़ी पुलिस थाने में मुकदमा दर्ज कराया गया है. इसके बाद केकड़ी पुलिस ने नामजद एक आरोपी को गिरफ्तार किया है, लेकिन बाकी हमलावर अब भी फरार हैं. इसके चलते क्षेत्र के पत्रकारों में भारी रोष व्याप्त है.
ज्ञापन में पत्रकारों पर आए दिन हो रहे हमले के चलते प्रदेश में पत्रकार सुरक्षा कानून लागू करने की मांग की गई है. पत्रकारों ने उपखंड अधिकारी से मांग की है, कि केकड़ी क्षेत्र के पत्रकारों की सुरक्षा के लिए कोई ठोस कदम उठाएं. उन्होंने अन्य आरोपियों को जल्द गिरफ्तार करने की मांग की है.
ये चेतावनी भी दी है, कि अगर दो दिन में गिरफ्तारी नहीं हुई तो उपखण्ड कार्यालय के बाहर अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन किया जाएगा. इसके बाद पत्रकारों ने पुलिस उपाधीक्षक राजेश वर्मा से मिलकर भी अन्य आरोपियों को गिरफ्तार करने की मांग की है.
इस मौके पर पत्रकार मनोज आहूजा, रमेश पाराशर, दरियावनाथ योगी, सत्यनारायण कहार, हंसराज खारोल, मुकेश नायक, जेपी सोनी, मनोज गुर्जर, सिकन्दर अली,सुरेन्द्र पगारिया,बालमुकुन वैष्णव,ओम प्रकाश आचार्य, इमरान टांक, इकबाल खान, ज्ञाता जैन, उमाशंकर वैष्णव, पवन शर्मा, बालू धाकड़, चन्द्रप्रकाश शर्मा,ज्ञानचंद जांगीड़,ललित नामा,अनिल राठी,विजय पाराशर,समद अली,सुरेश शर्मा,मदन लाल आजाद,जीवराज प्रजापत,शिवप्रकाश सहित अन्य पत्रकार मौजूद रहे.
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बजरी माफियाओं ने सावर पत्रकार दिनेश जांगीड़ पर हमले के बाद अवैध बजरी का खुलेआम बुधवार को भी जारी रहा है. बेखौफ बजरी माफिया दिनभर खुलेआम अवैध बजरी से भरे वाहनों को दौड़ाते नजर आए. हमले के बाद भी बजरी माफियाओं के हौंसले बुलन्द हैं, जिससे यह खेल खुलेआम जारी है.
जिम्मेदार खनिज विभाग, पुलिस विभाग और राजस्व विभाग की कार्यशैली संदिग्ध नजर आई रही है. पत्रकार पर हमले के बाद भी प्रशासन की ओर से कोई कार्रवाई नहीं होना सवालिया निशान खड़े करती है. प्रशासन बजरी माफियाओं के सामने नतमस्तक नजर आ रहा है.
बजरी माफियाओं हौंसले बुलंद
बजरी माफियाओं ने पिछले दिनों टांकावास के पास राजस्व टीम पर हमला करते हुए दो राजस्वकर्मियों को गंभीर घायल कर दिया और सरकारी गाड़ी को नुकसान पहुंचाया था. तभी से ही बजरी माफियाओं के हौसले बुलंद हैं.