नसीराबाद (अजमेर). केंद्र सरकार के रक्षा मंत्रालय के अधीन स्थानीय निकाय छावनी परिषद की ओर से पेट्रोल पंप क्षेत्र में पोस्टल कॉलोनी के निकट पिछले 13 मार्च को केबिन हटाने का नोटिस देने से केबिनधारियों में आक्रोश व्याप्त हो गया. आक्रोशित केबिनधारियों ने मुख्यमंत्री के नाम उपखंड अधिकारी को ज्ञापन सौंपा, जिसमें उन्होंने बताया कि पिछले 13 मार्च को हम लोगों को नोटिस देकर 3 दिन में केबिन हटाने के लिए कहा गया.
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ज्ञापन में बताया गया कि नोटिस में छावनी परिषद ने केबिन धारियों को मटन व्यवसाई बताते हुए केबिन हटाने की बात कही, जबकि केबिनधारी मटन चिकन का व्यवसाय संचालन नहीं करते हैं. इन सभी केबिनों में काफी साल से चाय, सब्जी और फल की दुकानें संचालित हो रही हैं. इस पर हमारा पूरा परिवार हम पर आश्रित है और कोरोना काल के कारण लोग परेशान हैं. कई पीढ़ियों से यहीं अपना गुजर बसर कर रहे हैं. हम दुकानदारों को मटन चिकन व्यवसायी बताकर छावनी परिषद से हटाने का प्रयास कर रहे हैं, जो कि न्याय संगत नहीं है.
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इस दौरान केबिनधारी इमरान ने छावनी परिषद पर आरोप लगाते हुए बताया कि छावनी परिषद केबिन धारियों को मटन व्यवसायी बताकर केबिन हटाने पर आमादा है, जबकि केबिनधारी चाय, फल और सब्जी की दुकानें संचालित करते हैं. मटन चिकन का व्यवसाय करने वाले तो छावनी परिषद की ओर से आवंटित मटन चिकन मार्केट में स्थानांतरित हो चुके हैं और इन केबीनों में कोई मटन चिकन का व्यवसाय नहीं किया जाता. केबिनधारियों ने इस मामले से पूर्व विधायक महेंद्र सिंह गुर्जर को भी अवगत कराया.