उदयपुर. कोरोना संक्रमण के कारण उत्पन्न हुई परिस्थितियों की वजह से जन-जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. जहां इस महामारी की जद में आने से लाखों लोगों ने अपनी जान भी गंवाई हैं. जिनका कोरोना गाइडलाइन के अनुसार अंतिम संस्कार किया गया. ऐसे में अब उनकी अस्थियां विसर्जन का इंतजार कर रही है.
जहां कोरोना के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए राज्य सरकार ने लॉकडाउन लगा दिया था. जिसके बाद बस और रेल सेवा भी पूरी तरह से ठप हो गई थी. अनलॉक के बाद कुछ ट्रेन और बसे चली, लेकिन उदयपुर से हरिद्वार जाने वाली बस सेवा शुरू नहीं हो पाई. जिससे हरिद्वार जाने वाले हजारों लोग अपने परिवार जनों की अस्थियों को विसर्जन का इंतजार कर रहे हैं.
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ईटीवी भारत की टीम शहर के अशोक नगर मुक्तिधाम पहुंची, जहां देखा कि करीब 1000 से अधिक अस्थियां पड़ी हुई थी. हालांकि धीरे-धीरे लोग आ रहे है और अस्थियां लेकर जा रहे है. जिनको भी रेल की टिकट मिल रही है, वो आ रहे है और अस्थियां लेकर जा रहे है. वहां मौजूद लोगों ने बताया कि कोरोना के आने से संसाधन बंद होने की वजह से लोग यहां अस्थियां रख कर चले गए है, लेकिन अब अनलॉक होने के बाद धीरे-धीरे लोग लौट रहे हैं. इनमें ज्यादातर वह लोग शामिल हैं, जो अपनी निजी वाहन से हरिद्वार की यात्रा कर रहे हैं.
ऐसे में अभी उन लोगों के लिए समस्या है, जो अपने पर्सनल वाहन से हरिद्वार जाने में सक्षम नहीं है, राजस्थान सरकार ने तो हरिद्वार की बस सेवा को लेकर अनुमति दे रखी है, लेकिन फिलहाल उत्तराखंड सरकार की ओर से बाहर से आने वाली बसों को लेकर किसी तरह की गाइडलाइन जारी नहीं हुई है. ऐसे में उदयपुर से हरिद्वार जाने वाली बस सेवा पूरी तरह से ठप है.
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मुख्य प्रबंधक रोडवेज उदयपुर के महेश उपाध्याय ने बताया कि कोरोना की दूसरी लहर से पहले उदयपुर से हरिद्वार बस जाया करती थी, जिसमें हर रोज यात्री शामिल होते थे, लेकिन अन्य राज्यों की सरकारों की ओर से अनुमति नहीं मिलने की वजह से यह बस सेवा शुरू नहीं हो पाई. ऐसे में फिर बस सेवा शुरू होने का इंतजार है. इन पुण्य आत्माओं को मोक्ष प्रदान के लिए हरिद्वार में विसर्जित किया जा सके. हालांकि उदयपुर से हरिद्वार के लिए रेल सेवा भी है, लेकिन ऐसे में कई लोगों को टिकट नहीं मिलने की वजह से और समय पर नहीं पहुंच पाते हैं.