श्रीगंगानगर. जिले में हल्की बारिश के बाद धान मंडी में पड़ा लाखों रुपए का गेहूं भीग गया है. बारिश में भीगने के बाद गेहूं बदबू मार रहा है. मंडी में इन दिनों गेहूं सहित अन्य कृषि जिंसों की आवक हो रही है. मंडी में एफसीआई के ढाई लाख थैले गेहूं के खुले में पड़े हुए थे. जिनको समय रहते गोदामों में नहीं रखा गया. हल्की बारिश में भीग जाने से थैलों में रखा गेहूं भी खराब हो गया है.
बारिश होने के बाद मंडी में जगह-2 पानी भर गया. पानी की निकासी के लिए मोटर भी लगा रखी है लेकिन बारिश का पानी अभी भी मंडी में भरा हुआ है. कच्चा आडतिया संघ के पूर्व अध्यक्ष हनुमान गोयल ने बताया कि बारिश से किसानों को भारी नुकसान हुआ है. खुले में पड़े गेहूं, जौ, सरसों व चने की बोली नहीं लगी थी.
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उन्होंने बताया कि खुले मे पड़ी जींस में पानी जाने से जींस की क्वालिटी खराब हुई है. सरसों, जौ, चना, गेहूं सड़कों पर पड़े थे, वह पानी में बह गए हैं. नुकसान बड़ा है आंकलन किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि खुले में जो ढेरीयां हैं, वह किसानों की होती है. इसमें व्यापारी की कोई गारंटी नहीं रहती है. जब तक जींस की बोली होकर थैलों में नहीं भरी जाती तब तक व्यापारी किसी भी प्रकार के नुकसान का जिम्मेदार नहीं होता है.
ऐसे में अब खराब हुए गेहूं को सुखाकर किसान फिर से बेचेगा. लेकिन अचानक हुई बारिश से किसानों को एक बार फिर बारिश के दौरान नुकसान हुआ है. वहीं आडतीया संघ के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि मंडी प्रशासन द्वारा समय पर नालियों की सफाई नहीं कराने से मंडी में पानी रुका हुआ है, जिसके चलते गेहूं, जौ, सरसों, चना खराब हुआ है.