ETV Bharat / city

नागौर: नगर परिषद में भ्रष्टाचार के आरोप लगने के बाद आयुक्त ने कही ये बात

नागौर के एसडीएम ने नगर परिषद में नियमन की पत्रावली स्टेट ग्रांट पत्रावली पर भूमि रूपांतरण के पट्टों की जांच जारी रहने तक किसी भी तरह की कोई अन्य राशि जमा होने पर रोक लगा दी है. एसडीएम अमित चौधरी के द्वारा जारी पत्र में इस बात का साफतौर पर जिक्र किया गया है कि नगर परिषद में नियमन की पत्रावली और स्टेट ग्रांट के साथ भूमि रूपान्तरण के पत्रावलिओं की जांच जिला कलेक्टर के द्वारा गठित की गई कमेटी के द्वारा की जानी है.

author img

By

Published : Oct 9, 2020, 11:08 PM IST

राजस्थान की खबर  नागौर नगर परिषद  नगर परिषद में भ्रष्टाचार  एसडीएम अमित चौधरी  आयुक्त जोधाराम विश्नोई  पत्रावलियों के निस्तारण पर रोक  nagaur news  rajasthan news  nagaur nagar parishad  Ban on disposal of lettering  Commissioner Jodharam Vishnoi
भ्रष्टाचार के आरोप के बाद आयुक्त आए मिडिया के सामने

नागौर. नगर परिषद में नियमन, भूमि रूपान्तरण, खांचा भूमि और स्टेट ग्रांट से जुड़ी पत्रावलियों के निस्तारण पर फिलहाल रोक रहेगी. ऐसा इसलिए है, क्योंकि नगर परिषद में भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए पार्षदों के द्वारा संभागीय आयुक्त आयुषी मलिक से शिकायत की थी. इसके बाद उपखण्ड अधिकारी नागौर अमित चौधरी के निर्देशोंं के बाद गठित की गई टीम ने नगर परिषद में भ्रष्टाचार के आरोपों के मामले की जांच अब शुरू कर दी है.

इस दौरान नगर परिषद नागौर के द्वारा जांच जारी रहने तक भूमि नियमन की फाइलों के साथ स्टेट ग्रांट के पट्टों की फाइलों और भूमि रूपान्तरण पर विचार नहीं किया जाए. वहीं शिकायत करने वाले नागौर नगर परिषद के पूर्व सभापति श्यामलाल के साथ पूर्व पार्षदों का साफतौर पर कहना है कि सभापति मांगीलाल भाटी के कार्यकाल में नगर परिषद के द्वारा मनमाने तौर पर कार्य करते हुए परिषद को भारी राजस्व का नुकसान पहुंचाया है. उन्होंने बताया कि नियमानुसार नियमन की पत्रावलियों को स्टेट ग्रांट के पट्टे जारी कर नगर परिषद के द्वारा भ्रष्टाचार का बड़ा खेल खेला गया और राजस्व का नुकसान पहुंचा गया है.

यह भी पढ़ें: नागौर: ससुराल गए व्यक्ति ने 2 बच्चों संग हौद में कूदकर की खुदकुशी

उन्होंने कहा कि इस पूरे मामले में अजमेर संभागीय आयुक्त से शिकायत करने के बाद नागौर जिला कलेक्टर के द्वारा तीन सदस्यों की जांच कमेटी बनाई गई है, जिसमें अतिरिक्त जिला कलेक्टर मनोज कुमार नागौर उपखंड अधिकारी अमित चौधरी के साथ पंचायत समिति के लेखाधिकारी की टीम जो कि इस पूरे मामले में जांच कर रही है. वहीx लंबे समय बाद मीडिया से रूबरू हुए नागौर नगर परिषद के आयुक्त जोधाराम विश्नोई ने कहा कि हम कमेटी को जांच में पूरी तरह से सहयोग करेंगे. साथ ही निर्देशों के मुताबिक पत्रावलियों के निस्तारण पर रोक रहेगी.

नागौर. नगर परिषद में नियमन, भूमि रूपान्तरण, खांचा भूमि और स्टेट ग्रांट से जुड़ी पत्रावलियों के निस्तारण पर फिलहाल रोक रहेगी. ऐसा इसलिए है, क्योंकि नगर परिषद में भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए पार्षदों के द्वारा संभागीय आयुक्त आयुषी मलिक से शिकायत की थी. इसके बाद उपखण्ड अधिकारी नागौर अमित चौधरी के निर्देशोंं के बाद गठित की गई टीम ने नगर परिषद में भ्रष्टाचार के आरोपों के मामले की जांच अब शुरू कर दी है.

इस दौरान नगर परिषद नागौर के द्वारा जांच जारी रहने तक भूमि नियमन की फाइलों के साथ स्टेट ग्रांट के पट्टों की फाइलों और भूमि रूपान्तरण पर विचार नहीं किया जाए. वहीं शिकायत करने वाले नागौर नगर परिषद के पूर्व सभापति श्यामलाल के साथ पूर्व पार्षदों का साफतौर पर कहना है कि सभापति मांगीलाल भाटी के कार्यकाल में नगर परिषद के द्वारा मनमाने तौर पर कार्य करते हुए परिषद को भारी राजस्व का नुकसान पहुंचाया है. उन्होंने बताया कि नियमानुसार नियमन की पत्रावलियों को स्टेट ग्रांट के पट्टे जारी कर नगर परिषद के द्वारा भ्रष्टाचार का बड़ा खेल खेला गया और राजस्व का नुकसान पहुंचा गया है.

यह भी पढ़ें: नागौर: ससुराल गए व्यक्ति ने 2 बच्चों संग हौद में कूदकर की खुदकुशी

उन्होंने कहा कि इस पूरे मामले में अजमेर संभागीय आयुक्त से शिकायत करने के बाद नागौर जिला कलेक्टर के द्वारा तीन सदस्यों की जांच कमेटी बनाई गई है, जिसमें अतिरिक्त जिला कलेक्टर मनोज कुमार नागौर उपखंड अधिकारी अमित चौधरी के साथ पंचायत समिति के लेखाधिकारी की टीम जो कि इस पूरे मामले में जांच कर रही है. वहीx लंबे समय बाद मीडिया से रूबरू हुए नागौर नगर परिषद के आयुक्त जोधाराम विश्नोई ने कहा कि हम कमेटी को जांच में पूरी तरह से सहयोग करेंगे. साथ ही निर्देशों के मुताबिक पत्रावलियों के निस्तारण पर रोक रहेगी.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.