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स्टूडेंट यूनियन इलेक्शन : जेडीबी आर्ट्स की छात्राएं बोली... कॉलेज के पास बिल्डिंग नहीं...कहां पढ़ेंगी 6 हजार स्टूडेंटस - स्टूडेंट यूनियन इलेक्शन

प्रदेश में छात्रसंघ चुनाव की घोषणा के बाद से ही कॉलेज कैंपस में सरगर्मियां शुरू हो गई है. शुक्रवार को ईटीवी भारत ने जेडीबी आर्ट्स कॉलेज में छात्राओं से बात की और जाना कि छात्राओं के कैंपस में क्या-क्या मुद्दे हैं ,जिनको लेकर वे आगामी छात्र संघ चुनाव में वोट करेंगी. बता दें कि कॉलेज में 50 कमरे में 6000 छात्राएं प्रवेशरत हैं.

जेडीबी आर्ट्स की छात्राएं बोली... कॉलेज के पास बिल्डिंग नहीं...कहां पढ़ेंगी 6 हजार स्टूडेंटस
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Published : Aug 9, 2019, 2:45 PM IST

कोटा. प्रदेश में छात्रसंघ चुनाव की घोषणा के बाद से ही कॉलेज कैंपस में सरगर्मियां शुरू हो गई है. शुक्रवार को ईटीवी भारत ने जेडीबी आर्ट्स कॉलेज में छात्राओं से बात की और जाना कि छात्राओं के कैंपस में क्या-क्या मुद्दे हैं ,जिनको लेकर वे आगामी छात्र संघ चुनाव में वोट करेंगी.

जेडीबी आर्ट्स की छात्राएं बोली... कॉलेज के पास बिल्डिंग नहीं...कहां पढ़ेंगी 6 हजार स्टूडेंटस


छात्रा प्रेरणा जायसवाल ने कहा कि कॉलेज के पास अपनी बिल्डिंग भी नहीं है, कॉलेज उधार की बिल्डिंग में चल रही है. कॉलेज के पास केवल 50 कमरे हैं जिनमें 6000 छात्राएं कॉलेज में प्रवेशरत है. उनके बैठने की जगह कॉलेज में नहीं है. छात्राओं ने कहा कि कॉलेज प्रबंधन पीने के पानी की व्यवस्था भी नहीं कर पा रहा है. उन्होंने बताया कि प्रोफेसरों के लिए लिए बाहर से पानी आता है और स्टूडेंट्स को वाटर कूलर का पानी पीना पड़ता है, जिनकी टंकियों में लार्वा तक मिला है. इसके साथ ही छात्राओं ने कहा कि टॉयलेट में भी पानी की व्यवस्था नहीं है और साफ-सफाई भी नहीं है.

पढ़ें - राजस्थानः 27 अगस्त को होंगे छात्र संघ चुनाव.... छात्र नेताओं ने शुरू की कैंपेनिंग

कॉलेज में घूमते आवारा जानवर

छात्राओं ने कहा कि कॉलेज में फर्नीचर टूटा फूटा है. ऐसे में वह बैठ नहीं सकती है. साफ-सफाई भी समय पर नहीं होती है. यहां तक कि आवारा जानवर क्लासों में बैठे रहते हैं. छात्राओं ने कहा कि कॉलेज परिसर में बड़ी-बड़ी घास उगी हुई है. उनमें जहरीले सांप निकलते है.

पढ़ें - चुनावों की घोषणा के बाद प्रशासन सख्त, छात्रसंघ अध्यक्ष सुनील चौधरी ने खाली किया कार्यालय​​​​​​​
एक साथ लगते हैं दो क्लास
छात्रा ने कहा कि कॉलेज में एक साथ दो-दो क्लासेज होते हैं. ऐसे में उनकी एक क्लास छूट जाती है. कॉलेज को चाहिए कि वह टाइम टेबल को ठीक से सेट अप करें ताकि वे दोनों क्लासेज को पढ़ सके.

कहीं फैकल्टी ही नहीं..कहीं ज्यादा

छात्राओं ने कहा कि हिस्ट्री में एक ही फैकल्टी है और वे ही फर्स्ट ईयर से लेकर एमए के स्टूडेंट को पढ़ाती हैं. ज्योग्राफी में भी केवल दो ही फैकल्टी है. जबकि अन्य सब्जेक्ट में फैकल्टी ज्यादा है, लेकिन वे क्लासेज नहीं लेते है.

कोटा. प्रदेश में छात्रसंघ चुनाव की घोषणा के बाद से ही कॉलेज कैंपस में सरगर्मियां शुरू हो गई है. शुक्रवार को ईटीवी भारत ने जेडीबी आर्ट्स कॉलेज में छात्राओं से बात की और जाना कि छात्राओं के कैंपस में क्या-क्या मुद्दे हैं ,जिनको लेकर वे आगामी छात्र संघ चुनाव में वोट करेंगी.

जेडीबी आर्ट्स की छात्राएं बोली... कॉलेज के पास बिल्डिंग नहीं...कहां पढ़ेंगी 6 हजार स्टूडेंटस


छात्रा प्रेरणा जायसवाल ने कहा कि कॉलेज के पास अपनी बिल्डिंग भी नहीं है, कॉलेज उधार की बिल्डिंग में चल रही है. कॉलेज के पास केवल 50 कमरे हैं जिनमें 6000 छात्राएं कॉलेज में प्रवेशरत है. उनके बैठने की जगह कॉलेज में नहीं है. छात्राओं ने कहा कि कॉलेज प्रबंधन पीने के पानी की व्यवस्था भी नहीं कर पा रहा है. उन्होंने बताया कि प्रोफेसरों के लिए लिए बाहर से पानी आता है और स्टूडेंट्स को वाटर कूलर का पानी पीना पड़ता है, जिनकी टंकियों में लार्वा तक मिला है. इसके साथ ही छात्राओं ने कहा कि टॉयलेट में भी पानी की व्यवस्था नहीं है और साफ-सफाई भी नहीं है.

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कॉलेज में घूमते आवारा जानवर

छात्राओं ने कहा कि कॉलेज में फर्नीचर टूटा फूटा है. ऐसे में वह बैठ नहीं सकती है. साफ-सफाई भी समय पर नहीं होती है. यहां तक कि आवारा जानवर क्लासों में बैठे रहते हैं. छात्राओं ने कहा कि कॉलेज परिसर में बड़ी-बड़ी घास उगी हुई है. उनमें जहरीले सांप निकलते है.

पढ़ें - चुनावों की घोषणा के बाद प्रशासन सख्त, छात्रसंघ अध्यक्ष सुनील चौधरी ने खाली किया कार्यालय​​​​​​​
एक साथ लगते हैं दो क्लास
छात्रा ने कहा कि कॉलेज में एक साथ दो-दो क्लासेज होते हैं. ऐसे में उनकी एक क्लास छूट जाती है. कॉलेज को चाहिए कि वह टाइम टेबल को ठीक से सेट अप करें ताकि वे दोनों क्लासेज को पढ़ सके.

कहीं फैकल्टी ही नहीं..कहीं ज्यादा

छात्राओं ने कहा कि हिस्ट्री में एक ही फैकल्टी है और वे ही फर्स्ट ईयर से लेकर एमए के स्टूडेंट को पढ़ाती हैं. ज्योग्राफी में भी केवल दो ही फैकल्टी है. जबकि अन्य सब्जेक्ट में फैकल्टी ज्यादा है, लेकिन वे क्लासेज नहीं लेते है.

Intro:ईटीवी भारत में गरीबी आर्ट्स कॉलेज में छात्राओं से बात की और उनसे जाने कि कैंपस में क्या मुद्दा उनके हैं. जिन को लेकर वे आगामी छात्र संघ चुनाव में वोट करेंगी. छात्र ने प्रेरणा जायसवाल ने कहा कि कॉलेज के पास अपनी बिल्डिंग में नहीं है, उधार की बिल्डिंग में चल रही है और केवल 50 कमरे में उन्हें दिए हुए हैं. जबकि 6000 छात्राएं कॉलेज में प्रवेशरत है.


Body:कोटा.
छात्रसंघ चुनावों की घोषणा के बाद से ही कैंपस में सरगर्मियां शुरू हो गई है. आज ईटीवी भारत में गरीबी आर्ट्स कॉलेज में छात्राओं से बात की और उनसे जाने कि कैंपस में क्या मुद्दा उनके हैं. जिन को लेकर वे आगामी छात्र संघ चुनाव में वोट करेंगी. छात्र ने प्रेरणा जायसवाल ने कहा कि कॉलेज के पास अपनी बिल्डिंग में नहीं है, उधार की बिल्डिंग में चल रही है और केवल 50 कमरे में उन्हें दिए हुए हैं. जबकि 6000 छात्राएं कॉलेज में प्रवेशरत है. उनके बैठने की जगह कॉलेज में नहीं है. छात्राओं ने कहा कि कॉलेज में पानी की व्यवस्था भी प्रबंधन नहीं कर पा रहा है जबकि सेकंड के लिए कैंपस से पानी आता है और स्टूडेंट्स को वाटर कूलर का पानी पीना पड़ता है. जिनकी टंकियों में लार्वा तक मिला है. इसके साथ ही छात्राओं ने कहा कि टॉयलेट में भी पानी की व्यवस्था नहीं है और साफ-सफाई भी नहीं है.

कॉलेज में घूमते आवारा जानवर
छात्राओं ने कहा कि कॉलेज में फर्नीचर टूटा फूटा है. ऐसे में वह बैठ नहीं सकती है. साफ-सफाई समय पर नहीं होती है. यहां तक कि आवारा जानवर क्लासों में बैठे रहते हैं. छात्राओं ने कहा कि कॉलेज परिसर में बड़ी-बड़ी घास उगी हुई है. उनमें जहरीले सांप निकलते है.


Conclusion:एक साथ दो क्लासेज
एक छात्रा ने कहा कि कॉलेज में एक साथ दोनों क्लासेज होते हैं. ऐसे में उनकी एक क्लास छूट जाती है. कॉलेज को चाहिए कि वह टाइम टेबल को ठीक से सेट अप करें. ताकि वे दोनों क्लासेज को पढ़ सके.

कहीं फैकल्टी नहीं, कहीं ज्यादा
छात्राओं ने कहा कि हिस्ट्री में एक ही फैकल्टी है और वे ही फर्स्ट ईयर से लेकर एमए के स्टूडेंट को पढ़ाती है. ज्योग्राफी में भी केवल दो ही फैकल्टी है. जबकि अन्य सब्जेक्ट में फैकल्टी ज्यादा है, लेकिन वे क्लासेज नहीं लेते है.

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