कोटा. पिछले साल लाखों क्यूसेक पानी कोटा बैराज से सितंबर माह में चंबल नदी में प्रवाहित किया गया था. जिसके चलते कोटा शहर में चंबल नदी के किनारे बसी कुछ कॉलोनियां और बस्तियां जलमग्न हो गई थी. उनमें बाढ़ जैसे हालात थे और लाखों रुपए का नुकसान इन लोगों को भुगतना पड़ा था. कई मकान भी इस बाढ़ में चंबल नदी के तेज प्रवाह के साथ बह गए थे.
बता दें कि सोमवार को जिला प्रशासन की ओर से बाढ़ प्रभावित लोगों के लिए सहायता राशि वितरण कार्यक्रम टैगोर हॉल में आयोजित किया गया. जिसमें प्रदेश के यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने बाढ़ पीड़ित कुछ लोगों को डमी चेक दिए. साथ ही उनका जो बाढ़ राहत राशि का पैसा है वो भी आज या कल में उनके खाते में सीधा चला जाएगा. जिला प्रशासन ने बताया कि 4 हजार 609 बाढ़ पीड़ितों को 17.25 करोड़ रुपए की राशि उनके खाते में डाली जाएगी.
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इस कार्यक्रम के बाद मीडिया से बात करते हुए मंत्री धारीवाल ने कहा कि 3 बार हमने सर्वे करवाया है. जिसमें लोगों को नुकसान हुआ है. उसकी गणना की गई है. इसमें भी कोई एक दो लोग रह गए होंगे तो उनके बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता. वह राशि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और आपदा राहत मंत्री मास्टर भंवरलाल मेघवाल के निर्देश पर इन लोगों को दी जा रही है.
साथ ही उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को मदद के लिए लिखा हुआ है, लेकिन केंद्र ने बाढ़ राहत में कोई राशि नहीं दी है. जब वह राशि आ जाएगी तो प्रदेश के अन्य हिस्सों के बाढ़ पीड़ितों को भी यह दी जाएगी. इस कार्यक्रम के दौरान जिला कलेक्टर ओमप्रकाश कसेरा भी मौजूद रहे.
जिनका पूरा मकान टूटा, उन्हें 95 हजार100 रुपए मिला
तहसीलदार गजेंद्र सिंह ने बताया कि बाढ़ में 1 हजार 456 पक्के और 222 कच्चे मकान जिन लोगों के क्षतिग्रस्त हुए हैं उनको 95 हजार100 रुपए की सहायता राशि दी है. इसके अलावा आंशिक और अत्यधिक क्षतिग्रस्त लोगों को भी राशि दी गई है. साथ ही जिन लोगों के घरेलू कपड़े और बर्तन और घरों का नुकसान हुआ था उन्हें भी सहायता राशि दी जा रही है.
तीन परिवारों ने अपने परिचितों को खोया था. ऐसे में उन्हें भी 4-4 लाख रुपए की सहायता राशि बाटी है. वहीं, जिन लोगों को यह राहत राशि मिली है उनका कहना है कि हमारा सब कुछ लूट गया था और हम सड़क पर आ गए थे. ऐसे में अब हमें राशि दी गई है, थोड़ी राहत मिलेगी. हमारा मकान भी दोबारा बन सकेगा.
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लोगों ने खड़ा कर दिया हंगामा
सहायता राशि के चेक मिलने की सूचना मिलने पर सैकड़ों की संख्या में लोग टैगोर हॉल के बाहर एकत्रित हो गए और उन्होंने कहा कि हमें राशि नहीं दी जा रही है और हंगामा भी खड़ा कर दिया. इस पर तहसीलदार गजेंद्र सिंह खुद बाहर आए और उन्होंने लोगों से समझाइश की और कहा कि हमने अभी सूची चस्पा नहीं की है. सभी लोगों का नाम है. जिन लोगों को यहां बुलाया है. उन्हें भी चेक केवल डमी दिए जा रहे हैं. उनके खाते में ही राशि आएगी और उन्हीं के साथ आप लोगों के खाते में भी राशि आएगी. तब जाकर लोग शांत हुए.